अगर अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या होता है

  1. गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करें? – ElegantAnswer.com
  2. Navratri Akhand Jyoti
  3. Chaitra Navratri 2023: नवरात्रि में आखिर क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? जान लें इसका महत्व और नियम
  4. Navratri 2022: जलाते हैं अखंड ज्योति तो जरूर जानें ये नियम, गलती से बुझ जाए तो करें यह उपाय
  5. नवरात्रि 2022 : नवरात्रि में अगर गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करे
  6. Navratri 2022: जलाते हैं अखंड ज्योति तो जरूर जानें ये नियम, गलती से बुझ जाए तो करें यह उपाय
  7. Chaitra Navratri 2023: नवरात्रि में आखिर क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? जान लें इसका महत्व और नियम
  8. गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करें? – ElegantAnswer.com
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गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करें? – ElegantAnswer.com

इसे सुनेंरोकेंअखंड ज्योत में दीपक की लौ बाएं से दाएं की तरफ जलनी चाहिए. इस प्रकार का जलता हुआ दीपक आर्थिक प्राप्‍ति का सूचक होता है. ऐसा दीपक वास्तु दोष, क्लेश, तनाव, गरीबी आदि सभी प्रकार की समस्याओं को दूर करता है. अगर आपकी अखंड ज्योति बिना किसी कारण के स्वयं बुझ जाए तो इसे अशुभ माना जाता है. नवरात्रि की पूजा कब करें? इसे सुनेंरोकेंNavratri 2021 date: नवरात्रि के इन नौ दिनों में मॉं दुर्गा के नौ अलग-अलग रूपों की उपासना की जाती है और बड़ी संख्या में लोग इस दौरान व्रत रखते हैं. चलिए जानते है कि इस साल कब शुरू हो रहा है नवरात्रि का त्योहार और क्या है घटस्थापना का शुभ मुहूर्त. Navratri 2021 in October : 13 अक्टूबर को दुर्गाअष्टमी की पूजा की जाएगी. अखंड ज्योत जलाने से क्या लाभ होता है? इसे सुनेंरोकेंकहा जाता है कि मां की कृपा पाने के लिए अखंड ज्योत एक बड़ा ही महत्वपूर्ण चरण है, जिन घरों में नवरात्र के दौरान अखंड ज्योत जलाकर देवी की पूजा अर्चना की जाती है वहां मां की कृपा हमेशा बरसती रहती है। इतना ही नहीं जिस घर में नवरात्र की अखंड ज्योत जलती है वहां धर्म और भक्ति की बयार बहती है और नकारात्मकता हावी नहीं होती। नवरात्र में क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? इसे सुनेंरोकेंमिट्टी के दीपक में अखंड ज्योति जलाने से आर्थिक समृद्धि आती है और चारों दिशाओं में आपकी कीर्ति का बखान होता है। नवरात्रि में दीपक जलाए रखने से घर-परिवार में सुख-शांति एवं पितृ शांति रहती है। नवरात्रि में घी एवं सरसों के तेल का अखंड दीपक जलाने से त्वरित शुभ कार्य सिद्ध होते हैं। नव दुर्गा व्रत कैसे रहते हैं? नवरात्रि 2018: कैसे करें व्रत-उपवास और माता जी की पूजा, नवरात्रि के दौरान इन बातों का रखें ध्यान • नवरात्रि के पह...

Navratri Akhand Jyoti

हेल्लो दोस्तों शारदीय नवरात्र 7 अक्टूबर 2021, गुरुवार से शुरू हो चुके हैं, जो कि 14 अक्टूबर को समाप्त होंगे। नवरात्रि में अखंड ज्योत जलाने का विशेष महत्व होता है. मान्यता है कि अखंड ज्योति (Navratri Akhand Jyoti) जलने से मां दुर्गा प्रसन्न होती है और अपने भक्तों को आशीर्वाद प्रदान करती हैं. नवरात्रि में अखंड ज्योति जलाने से पहले कुछ नियमों के बारे में आपको जानना जरूरी है. दुर्गा पूजा में आपसे कोई भूल न हो इसके लिए आज इस संस्करण हम आपको बताएंगे क्या है अखंड ज्योति और आखिर क्यों जलाई जाती है साथ ही शारदीय नवरात्रि पर कैसे जलाएं अखंड ज्योति। ये भी पढ़िए : • • • • • • अखंड ज्योति क्या है : दोस्तों अखंड ज्योति में जलने वाला दीपक दिन-रात जलता रहता है। मान्यता है कि अखंड दीपक व्रत की समाप्ति तक बुझना नहीं चाहिए। ज्योतिषशास्त्र के अनुसार, नवरात्रि के दौरान मां के समक्ष अखंड ज्योति जलाने के पीछे एक अहम वजह बताई जाती है। माना जाता है कि जिस तरह घोर अंधेरे में एक छोटा-सा दीपक विपरीत परिस्थितियों में रहकर अपने आस-पास का अंधेरा दूर कर उस जगह को रोशनी से भर देता है, उसी तरह माता के भक्त भी मां की आस्था के सहारे अपने जीवन के अंधकार को मिटा सकते हैं। वैसे तो नवरात्रि के दिनों में लगभग हर हिंदू घर में मां की पूजा, आराधना के साथ अखंड ज्योति जलाता है, लेकिन इसी के साथ साथ यदि आप मां को प्रसन्न करने के लिए उनके समक्ष 9 मिट्टी के दीपों में अखंड ज्योति जलाएं, तो उससे विशेष फल मिलता है। Navratri Akhand Jyoti क्यों जलाते हैं अखंड दीपक? नवरात्रि के दौरान माता रानी को खुश करने के लिए श्रद्धालु कलश स्थापना, अखंड ज्योत, माता की चौकी करके पूजन-अर्चन करते हैं। नवरात्रि के दौरान घर में कलश स्थापना की जात...

Chaitra Navratri 2023: नवरात्रि में आखिर क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? जान लें इसका महत्व और नियम

Chaitra Navratri 2023: चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को नवरात्रि का त्योहार मनाया जाता है. चैत्र नवरात्रि 22 मार्च 2023 यानी आज से प्रारंभ हो चुकी है. साथ ही आज से हिंदू नव संवत्सर 2080 की भी शुरुआत हो चुकी है. नवरात्रि में पूरे 9 दिनों तक मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा उपासना की जाती है. हर साल नवरात्रि पर माता रानी का आगमन विशेष वाहन पर होता है, जिसका महत्व बेहद खास है. इस साल नवरात्रि पर माता रानी नौका में सवार होकर आई हैं. नवरात्रि में मां दुर्गा के सामने अखंड ज्योति प्रज्जवलित की जाती है. बता दें कि नवरात्रि के दौरान अखंड ज्योति के कुछ नियम भी होते हैं. अगर उन नियमों का पालन किया जाए तो माता रानी का आशीर्वाद प्राप्त होता है. अखंड ज्योति का महत्व (Akhand Jyoti importance) मान्यताओं के अनुसार, घरों में कलश स्थापना के बाद अखंड ज्योति प्रज्जवलित की जाती है. अखंड ज्योति का मतलब है ऐसी ज्योति जो खंडित ना हो. अखंड ज्योति से घर में खुशहाली आती है और माता का आशीर्वाद प्राप्त होता है और मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. बताया जाता है कि नवरात्रि में अखंड ज्योति का बुझना अशुभ होता है. समय-समय पर दीपक में तेल डालना होता है और उसे हवा से बचाकर रखना होता है. अखंड ज्योति के नियम (Akhand Jyoti niyam) नवरात्रि में अखंड ज्योति प्रज्वलित का पहला नियम यह है कि ज्योति की देखरेख के लिए कोई ना कोई उसके पास जरूर होना चाहिए. ज्योति प्रज्वलित का मतलब होता है कि नौ दिन मां आपके घर में विराजमान हैं. अखंड ज्योति प्रज्जवलित करने से पहले मां की आराधना करें. ज्योति प्रज्जवलित करने के लिए कलश या फिर चौकी का प्रयोग करें. अगर चौकी पर ज्योति प्रज्जवलित कर रहे हैं तो उस पर लाल कपड़ा बिछाएं और अगर ...

Navratri 2022: जलाते हैं अखंड ज्योति तो जरूर जानें ये नियम, गलती से बुझ जाए तो करें यह उपाय

डीएनए हिंदी:इस महीने 26 सितंबर से शारदीय नवरात्रि का पावन पर्व शुरू हो रहा है. आश्विन माह की नवरात्रि ( Shardiya Navratri 2022)में माता की प्रतिमा औऱ झांकियां सजाई जाती है और पूरे विधि-विधान से देवी के अलग अलग रूपों की पूजा-आराधना की जाती है. हिंदू धर्म मे हर पूजा के दौरान अखंड ज्योति जलाई जाती है. कोई भी शुभ कार्य करने से पहले देवी देवताओं की पूजा के साथ अखंड ज्योति (Akhand Jyoti) जलाई जाती है. हिंदू धर्म मे अखंड ज्योति का विशेष महत्व है शास्त्रों में अखंड ज्योति जलाने के कई नियम हैं, साथ ही वास्तु शास्त्र के अनुसार भी घर में दीपक जलाने से घर में सकारात्मकता बनी रहती है. अखंड ज्योति की मान्यता (Akhand Jyoti Benefits and Importance in Navratri ) धार्मिक मान्यताओं के अनुसार दीपक जलाना शुभ माना जाता है इससे जीवन के अंधकार दूर होते हैं और घर में प्रकाश पनपता है. यह भी माना जाता है कि घर मे ज्योति जलाने से नकारात्मकता दूर भागती है और सकारात्मक ऊर्जा आती है. शारदीय नवरात्रि में पूरे 9 दिनों तक अखंड ज्योति जलाई जाती है. मान्यताओं के अनुसार अखंड ज्योति को माता का रूप माना जाता है और इसकी पूजा की जाती है. यह भी पढ़ें- अखंड ज्योति जलाने से पहले इन खास बातों का रखें ध्यान (Navratri Akhand Jyoti) घर मे अखंड ज्योति जलाने के बाद सात्विक भोजन करें और किसी भी प्रकार की अपवित्र चीज का सेवन न करें. यह भी पढ़ें- अखंड ज्योति हमेशा जलती रहनी चाहिए. अखंड ज्योति को हवा से बचाकर रखने के लिए कांच के कवर से ढक देना चाहिए. दीपक के बुझ जाने पर पूजा के सामान्य दिए से इसे दोबारा जला सकते हैं. (Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करत...

नवरात्रि 2022 : नवरात्रि में अगर गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करे

हिंदू धर्म में शारदीय नवरात्रि का विशेष महत्व होता है. इन 9 दिनों में मां दुर्गा की पूजा की जाती हैं. हिंदू धर्म ग्रंथों के मुताबिक़, इस 9 दिन मां दुर्गा धरती पर निवास करती हैं और भक्तों की हर मनोकामना पूरी होने का आशीर्वाद प्रदान करती हैं. चूँकि इन 9 दिनों में हर जगह मां दुर्गा मौजूद रहती हैं. इस लिए यह समय अति शुभ होता है और इस दौरान हर शुभ कार्य किये जाते हैं. मान्यता है कि इस दौरान किये गए सारे कार्य शुभ फलदायी होते हैं.बता दे लोग इस दिन विधि विधान से पूजा करते है । 9 दिनो तक अंखड ज्योत जलाई जाती है ।

Navratri 2022: जलाते हैं अखंड ज्योति तो जरूर जानें ये नियम, गलती से बुझ जाए तो करें यह उपाय

डीएनए हिंदी:इस महीने 26 सितंबर से शारदीय नवरात्रि का पावन पर्व शुरू हो रहा है. आश्विन माह की नवरात्रि ( Shardiya Navratri 2022)में माता की प्रतिमा औऱ झांकियां सजाई जाती है और पूरे विधि-विधान से देवी के अलग अलग रूपों की पूजा-आराधना की जाती है. हिंदू धर्म मे हर पूजा के दौरान अखंड ज्योति जलाई जाती है. कोई भी शुभ कार्य करने से पहले देवी देवताओं की पूजा के साथ अखंड ज्योति (Akhand Jyoti) जलाई जाती है. हिंदू धर्म मे अखंड ज्योति का विशेष महत्व है शास्त्रों में अखंड ज्योति जलाने के कई नियम हैं, साथ ही वास्तु शास्त्र के अनुसार भी घर में दीपक जलाने से घर में सकारात्मकता बनी रहती है. अखंड ज्योति की मान्यता (Akhand Jyoti Benefits and Importance in Navratri ) धार्मिक मान्यताओं के अनुसार दीपक जलाना शुभ माना जाता है इससे जीवन के अंधकार दूर होते हैं और घर में प्रकाश पनपता है. यह भी माना जाता है कि घर मे ज्योति जलाने से नकारात्मकता दूर भागती है और सकारात्मक ऊर्जा आती है. शारदीय नवरात्रि में पूरे 9 दिनों तक अखंड ज्योति जलाई जाती है. मान्यताओं के अनुसार अखंड ज्योति को माता का रूप माना जाता है और इसकी पूजा की जाती है. यह भी पढ़ें- अखंड ज्योति जलाने से पहले इन खास बातों का रखें ध्यान (Navratri Akhand Jyoti) घर मे अखंड ज्योति जलाने के बाद सात्विक भोजन करें और किसी भी प्रकार की अपवित्र चीज का सेवन न करें. यह भी पढ़ें- अखंड ज्योति हमेशा जलती रहनी चाहिए. अखंड ज्योति को हवा से बचाकर रखने के लिए कांच के कवर से ढक देना चाहिए. दीपक के बुझ जाने पर पूजा के सामान्य दिए से इसे दोबारा जला सकते हैं. (Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करत...

Chaitra Navratri 2023: नवरात्रि में आखिर क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? जान लें इसका महत्व और नियम

Chaitra Navratri 2023: चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को नवरात्रि का त्योहार मनाया जाता है. चैत्र नवरात्रि 22 मार्च 2023 यानी आज से प्रारंभ हो चुकी है. साथ ही आज से हिंदू नव संवत्सर 2080 की भी शुरुआत हो चुकी है. नवरात्रि में पूरे 9 दिनों तक मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा उपासना की जाती है. हर साल नवरात्रि पर माता रानी का आगमन विशेष वाहन पर होता है, जिसका महत्व बेहद खास है. इस साल नवरात्रि पर माता रानी नौका में सवार होकर आई हैं. नवरात्रि में मां दुर्गा के सामने अखंड ज्योति प्रज्जवलित की जाती है. बता दें कि नवरात्रि के दौरान अखंड ज्योति के कुछ नियम भी होते हैं. अगर उन नियमों का पालन किया जाए तो माता रानी का आशीर्वाद प्राप्त होता है. अखंड ज्योति का महत्व (Akhand Jyoti importance) मान्यताओं के अनुसार, घरों में कलश स्थापना के बाद अखंड ज्योति प्रज्जवलित की जाती है. अखंड ज्योति का मतलब है ऐसी ज्योति जो खंडित ना हो. अखंड ज्योति से घर में खुशहाली आती है और माता का आशीर्वाद प्राप्त होता है और मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. बताया जाता है कि नवरात्रि में अखंड ज्योति का बुझना अशुभ होता है. समय-समय पर दीपक में तेल डालना होता है और उसे हवा से बचाकर रखना होता है. अखंड ज्योति के नियम (Akhand Jyoti niyam) नवरात्रि में अखंड ज्योति प्रज्वलित का पहला नियम यह है कि ज्योति की देखरेख के लिए कोई ना कोई उसके पास जरूर होना चाहिए. ज्योति प्रज्वलित का मतलब होता है कि नौ दिन मां आपके घर में विराजमान हैं. अखंड ज्योति प्रज्जवलित करने से पहले मां की आराधना करें. ज्योति प्रज्जवलित करने के लिए कलश या फिर चौकी का प्रयोग करें. अगर चौकी पर ज्योति प्रज्जवलित कर रहे हैं तो उस पर लाल कपड़ा बिछाएं और अगर ...

गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करें? – ElegantAnswer.com

इसे सुनेंरोकेंअखंड ज्योत में दीपक की लौ बाएं से दाएं की तरफ जलनी चाहिए. इस प्रकार का जलता हुआ दीपक आर्थिक प्राप्‍ति का सूचक होता है. ऐसा दीपक वास्तु दोष, क्लेश, तनाव, गरीबी आदि सभी प्रकार की समस्याओं को दूर करता है. अगर आपकी अखंड ज्योति बिना किसी कारण के स्वयं बुझ जाए तो इसे अशुभ माना जाता है. नवरात्रि की पूजा कब करें? इसे सुनेंरोकेंNavratri 2021 date: नवरात्रि के इन नौ दिनों में मॉं दुर्गा के नौ अलग-अलग रूपों की उपासना की जाती है और बड़ी संख्या में लोग इस दौरान व्रत रखते हैं. चलिए जानते है कि इस साल कब शुरू हो रहा है नवरात्रि का त्योहार और क्या है घटस्थापना का शुभ मुहूर्त. Navratri 2021 in October : 13 अक्टूबर को दुर्गाअष्टमी की पूजा की जाएगी. अखंड ज्योत जलाने से क्या लाभ होता है? इसे सुनेंरोकेंकहा जाता है कि मां की कृपा पाने के लिए अखंड ज्योत एक बड़ा ही महत्वपूर्ण चरण है, जिन घरों में नवरात्र के दौरान अखंड ज्योत जलाकर देवी की पूजा अर्चना की जाती है वहां मां की कृपा हमेशा बरसती रहती है। इतना ही नहीं जिस घर में नवरात्र की अखंड ज्योत जलती है वहां धर्म और भक्ति की बयार बहती है और नकारात्मकता हावी नहीं होती। नवरात्र में क्यों जलाते हैं अखंड ज्योति? इसे सुनेंरोकेंमिट्टी के दीपक में अखंड ज्योति जलाने से आर्थिक समृद्धि आती है और चारों दिशाओं में आपकी कीर्ति का बखान होता है। नवरात्रि में दीपक जलाए रखने से घर-परिवार में सुख-शांति एवं पितृ शांति रहती है। नवरात्रि में घी एवं सरसों के तेल का अखंड दीपक जलाने से त्वरित शुभ कार्य सिद्ध होते हैं। नव दुर्गा व्रत कैसे रहते हैं? नवरात्रि 2018: कैसे करें व्रत-उपवास और माता जी की पूजा, नवरात्रि के दौरान इन बातों का रखें ध्यान • नवरात्रि के पह...

नवरात्रि 2022 : नवरात्रि में अगर गलती से अखंड ज्योति बुझ जाए तो क्या करे

हिंदू धर्म में शारदीय नवरात्रि का विशेष महत्व होता है. इन 9 दिनों में मां दुर्गा की पूजा की जाती हैं. हिंदू धर्म ग्रंथों के मुताबिक़, इस 9 दिन मां दुर्गा धरती पर निवास करती हैं और भक्तों की हर मनोकामना पूरी होने का आशीर्वाद प्रदान करती हैं. चूँकि इन 9 दिनों में हर जगह मां दुर्गा मौजूद रहती हैं. इस लिए यह समय अति शुभ होता है और इस दौरान हर शुभ कार्य किये जाते हैं. मान्यता है कि इस दौरान किये गए सारे कार्य शुभ फलदायी होते हैं.बता दे लोग इस दिन विधि विधान से पूजा करते है । 9 दिनो तक अंखड ज्योत जलाई जाती है ।

Navratri Akhand Jyoti

हेल्लो दोस्तों शारदीय नवरात्र 7 अक्टूबर 2021, गुरुवार से शुरू हो चुके हैं, जो कि 14 अक्टूबर को समाप्त होंगे। नवरात्रि में अखंड ज्योत जलाने का विशेष महत्व होता है. मान्यता है कि अखंड ज्योति (Navratri Akhand Jyoti) जलने से मां दुर्गा प्रसन्न होती है और अपने भक्तों को आशीर्वाद प्रदान करती हैं. नवरात्रि में अखंड ज्योति जलाने से पहले कुछ नियमों के बारे में आपको जानना जरूरी है. दुर्गा पूजा में आपसे कोई भूल न हो इसके लिए आज इस संस्करण हम आपको बताएंगे क्या है अखंड ज्योति और आखिर क्यों जलाई जाती है साथ ही शारदीय नवरात्रि पर कैसे जलाएं अखंड ज्योति। ये भी पढ़िए : • • • • • • अखंड ज्योति क्या है : दोस्तों अखंड ज्योति में जलने वाला दीपक दिन-रात जलता रहता है। मान्यता है कि अखंड दीपक व्रत की समाप्ति तक बुझना नहीं चाहिए। ज्योतिषशास्त्र के अनुसार, नवरात्रि के दौरान मां के समक्ष अखंड ज्योति जलाने के पीछे एक अहम वजह बताई जाती है। माना जाता है कि जिस तरह घोर अंधेरे में एक छोटा-सा दीपक विपरीत परिस्थितियों में रहकर अपने आस-पास का अंधेरा दूर कर उस जगह को रोशनी से भर देता है, उसी तरह माता के भक्त भी मां की आस्था के सहारे अपने जीवन के अंधकार को मिटा सकते हैं। वैसे तो नवरात्रि के दिनों में लगभग हर हिंदू घर में मां की पूजा, आराधना के साथ अखंड ज्योति जलाता है, लेकिन इसी के साथ साथ यदि आप मां को प्रसन्न करने के लिए उनके समक्ष 9 मिट्टी के दीपों में अखंड ज्योति जलाएं, तो उससे विशेष फल मिलता है। Navratri Akhand Jyoti क्यों जलाते हैं अखंड दीपक? नवरात्रि के दौरान माता रानी को खुश करने के लिए श्रद्धालु कलश स्थापना, अखंड ज्योत, माता की चौकी करके पूजन-अर्चन करते हैं। नवरात्रि के दौरान घर में कलश स्थापना की जात...