कर्नाटक चुनाव नतीजे

  1. कर्नाटक चुनाव: अमित शाह बोले
  2. कर्नाटक चुनाव नतीजे: कांग्रेस हेड क्वार्टर पर हनुमान बन कर पहुंचा कार्यकर्ता, बंटने लगे मोतीचूर के लड्डू
  3. Telangana Politics: कांग्रेस पर गरम, बीजेपी पर नरम, कौन सा राजनीतिक दांव खेल रहे हैं के चंद्रशेखर राव?
  4. We Didnt Act Like PM Modi BJP Leader CT Ravi On Defeat In Karnataka Elections
  5. राहुल गांधी को एक और मामले में मानहानि का नोटिस, सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार भी फंसे
  6. We Didnt Act Like PM Modi BJP Leader CT Ravi On Defeat In Karnataka Elections
  7. कर्नाटक चुनाव नतीजे: कांग्रेस हेड क्वार्टर पर हनुमान बन कर पहुंचा कार्यकर्ता, बंटने लगे मोतीचूर के लड्डू
  8. कर्नाटक चुनाव: अमित शाह बोले
  9. राहुल गांधी को एक और मामले में मानहानि का नोटिस, सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार भी फंसे
  10. Telangana Politics: कांग्रेस पर गरम, बीजेपी पर नरम, कौन सा राजनीतिक दांव खेल रहे हैं के चंद्रशेखर राव?


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कर्नाटक चुनाव: अमित शाह बोले

नई दिल्ली: कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 10 मई को एक ही चरण में हुआ था. आज अब से कुछ देर में इसके नतीजे आने शुरू हो जाएंगे और ये देखना दिलचस्प होगा कि यहां मोदी मैजिक चलेगा या फिर कर्नाटक की जनता ने अपने 38 सालों के इतिहास को एकबार फिर दोहराया है. हालांकि, एग्जिट पोल में कांग्रेस को बढ़त मिलती हुई दिखाई गई है. लेकिन किसका होगा कर्नाटक ये अबसे कुछ देर में मतदाताओं द्वारा ईवीएम में दर्ज उनके मत से ही सामने आएगा. कर्नाटक में 73.19 प्रतिशत (3.88 करोड़) का रिकॉर्ड मतदान दर्ज किया गया है जो 1957 में मैसूर राज्य से अलग किए जाने के बाद सबसे अधिक मतदान बताया जा रहा है. भारत निर्वाचन आयोग (ईसीआई) के अनुसार, राज्य भर के 58,282 मतदान केंद्रों पर मतदान हुआ, जिसमें 5.23 करोड़ पंजीकृत मतदाता हैं. कर्नाटक में 224 विधानसभा क्षेत्रों में से 36 अनुसूचित जाति (एससी) और 15 अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए आरक्षित हैं. कर्नाटक में इस बार का सीधा मुकाबला बीजेपी और कांग्रेस के बीच रहा है. दोनों पार्टियों ने सत्ता में आने के लिए अपना पूरा जोर लगाया है. अच्छी पत्रकारिता मायने रखती है, संकटकाल में तो और भी अधिक दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं हम इसे तभी जारी रख सकते हैं अगर आप हमारी रिपोर्टिंग, लेखन और तस्वीरों के लिए हमारा सहयोग करें. अभी सब्सक्राइब करें Live Updates: 7:00 PM:भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा ने ट्वीट कर कहा, भाजपा कर्नाटक की जनता के जनादेश को विनम्रता से स्वीकार करती है. मैं के मेहनती कार्यकर्ताओं को धन्यवाद देता हूं. नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा जनता की बेहतरी के लिए काम करती रहेगी और सक्रिय रूप से रचनात...

कर्नाटक चुनाव नतीजे: कांग्रेस हेड क्वार्टर पर हनुमान बन कर पहुंचा कार्यकर्ता, बंटने लगे मोतीचूर के लड्डू

नई दिल्ली: कर्नाटक विधानसभा चुनाव की मतगणना के शुरुआती रुझानों में कांग्रेस ने शनिवार को तीन अंकों का आंकड़ा छू लिया. इसके साथ ही कांग्रेस हेड क्वार्टर दिल्ली से लेकर बंगलुरु तक पार्टी कार्यकर्ता झूमने और गुलाल खेलने लगे हैं. सुबह 10 बजे तक के ताजा चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार, कांग्रेस 100 सीटों पर आगे चल रही है जबकि भाजपा 68 सीटों पर आगे है. जद (एस) 24, कल्याण राज्य प्रगति पक्ष और सर्वोदय कर्नाटक पक्ष में एक-एक सीट पर आगे चल रहा है, जबकि शुरुआती रुझानों में तीन निर्दलीय उम्मीदवार आगे चल रहे हैं. 10 मई को मतदान समाप्त होने के बाद आए एग्जिट पोल में त्रिशंकु विधानसभा की भविष्यवाणी की गई थी, जिसमें कुछ ने कांग्रेस को बहुमत के साथ सत्ता में लौटते हुए दिखाया था. अधिकांश एग्जिट पोल ने भविष्यवाणी की थी कि भाजपा आधे रास्ते के निशान, 113 से कम हो जाएगी. बुधवार को हुए विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को कर्नाटक में स्पष्ट बढ़त मिलने की उम्मीद है, जिसमें चार एग्जिट पोल ने उसे पूर्ण बहुमत दिया है और कुछ ने पार्टी को लाभ के साथ त्रिशंकु विधानसभा की भविष्यवाणी की है. ऐसे में जेडी(एस) किंगमेकर की भूमिका निभा सकता है. हालांकि, जेडी (एस) नेता एचडी कुमारस्वामी ने शनिवार को कहा कि क्लिफहैंगर के मामले में सरकार के गठन के लिए अभी तक उनसे संपर्क नहीं किया गया है, उन्होंने कहा कि वह एक अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद कर रहे हैं. अच्छी पत्रकारिता मायने रखती है, संकटकाल में तो और भी अधिक दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं हम इसे तभी जारी रख सकते हैं अगर आप हमारी रिपोर्टिंग, लेखन और तस्वीरों के लिए हमारा सहयोग करें. अभी सब्सक्राइब करें मतगणना से ...

Telangana Politics: कांग्रेस पर गरम, बीजेपी पर नरम, कौन सा राजनीतिक दांव खेल रहे हैं के चंद्रशेखर राव?

डीएनए हिंदी: तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव के कांग्रेस को निशाना बनाने और बीजेपी पर चुप रहने की नई रणनीति से इस साल के अंत में राज्य में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले राजनीतिक गलियारों में अटकलें तेज कर दी हैं. पिछले एक सप्ताह के दौरान मुख्यमंत्री केसीआर ने राज्य में तीन जनसभाओं को संबोधित किया और सभी में कांग्रेस पार्टी की आलोचना की, लेकिन, बीजेपी को छोड़ दिया. हालांकि केसीआर की इस नई रणनीति पर कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने कोई हैरानी नहीं जताई. उनका मानना है कि केसीआर का बीजेपी के साथ हमेश गुप्त समझौता रहा है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री मोहम्मद अली शब्बीर ने कहा, 'कर्नाटक चुनावों में कांग्रेस की जीत के बाद, बीजेपी और बीआरएस ने खुद को एक कदम पीछे खींच लिया है. केसीआर अब कांग्रेस को एक ऐसी पार्टी के रूप में देखते हैं, जो उन्हें हरा सकती है.' इसे भी पढ़ें- BJP पर नरम, कांग्रेस पर गरम हैं केसीआर मोहम्मद अली शब्बीर ने कहा है कि उन्हें आश्चर्य नहीं है कि केसीआर ने बीजेपी को बख्शते हुए अपने हमलों के लिए कांग्रेस पार्टी को निशाना बनाना शुरू कर दिया है. एक सप्ताह में निर्मल, नागरकुर्नूल और गडवाल में हुई जनसभाओं में केसीआर के भाषणों ने राजनीतिक गलियारों को चकित कर दिया है. इन सभाओं में केसीआर ने कांग्रेस पर तो खूब हमला किया, लेकिन बीजेपी की आलोचना करने से परहेज किया. बदल गए हैं राजनीतिक तौर-तरीके केसीआर के भाषणों की विषय-वस्तु, लहजा और तेवर नवंबर-दिसंबर 2023 में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले उनकी रणनीति में बदलाव का संकेत देते हैं. क्या BRS और KCR के बीच हुआ है समझौता? शब्बीर ने कहा, यह और कुछ नहीं, बल्कि बीआरएस और बीजेपी के बीच समझौते का हिस्सा है...

We Didnt Act Like PM Modi BJP Leader CT Ravi On Defeat In Karnataka Elections

बेंगलुरु: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के महासचिव सी टी रवि ने सोमवार को कहा कि पार्टी कर्नाटक विधानसभा चुनाव इसलिए हार गई, क्योंकि वह दक्षिणी राज्य में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की तरह राष्ट्रीय स्तर पर काम नहीं कर सकी और चुनाव से पहले सही विमर्श तय करने में भी विफल रही. गोवा में संवाददाता सम्मेलन में रवि ने कहा कि कर्नाटक में विधानसभा चुनाव के नतीजे में कई कारक शामिल थे. कांग्रेस ने पिछले महीने कर्नाटक विधानसभा चुनाव में 224 सदस्यीय सदन में 130 से अधिक सीटों पर जीत हासिल की. भाजपा ने 2018 में 100 से अधिक सीटें जीती थीं, लेकिन इस बार पार्टी 66 सीटों पर ही जीत दर्ज कर सकी. उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा अपना वोट सुरक्षित करने में कामयाब रही है. गारंटी कार्ड (कांग्रेस द्वारा किए गए चुनाव पूर्व वादे) के कारण, हमें प्रत्येक मतदान केंद्र में 100-200 वोट का नुकसान हुआ.'' गोवा, महाराष्ट्र और तमिलनाडु के प्रभारी महासचिव ने कहा कि भाजपा कर्नाटक चुनावों में उचित ‘विमर्श तय' नहीं कर सकी, जो दक्षिणी राज्य में उसके नुकसान के कारणों में से एक था. रवि ने कहा, ‘‘भाजपा कर्नाटक में सत्ता बरकरार रखने में विफल रही क्योंकि हम प्रधानमंत्री (राष्ट्रीय स्तर पर) की तरह काम नहीं कर सके.'' उन्होंने आरोप लगाया कि यह विपक्षी दल हैं जो देश के शीर्ष उद्योगपतियों के लिए काम कर रहे हैं, जबकि भाजपा गरीब समर्थक है. रवि ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी सुधार करने वाले, बदलाव करने वाले और कायाकल्प करने वाले हैं. विपक्ष उन पर बेबुनियाद आरोप लगा रहा है. प्रधानमंत्री ने कभी अडाणी और अंबानी के लिए काम नहीं किया. यह विपक्षी दल हैं जो अडाणी और अंबानी के लिए काम कर रहे हैं.'' रवि ने आरोप लगाया कि 2004-2014 के बीच कांग्रेस शासन भ्...

राहुल गांधी को एक और मामले में मानहानि का नोटिस, सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार भी फंसे

June 14, 2023 | 05:40 pm 1 मिनट में पढ़ें भाजपा की शिकायत पर राहुल गांधी को मानहानि का नोटिस भेजा गया है कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने अखबार में विज्ञापन देकर भाजपा पर 40 प्रतिशत कमीशन लेने का आरोप लगाया था। इसी के खिलाफ एक भाजपा नेता ने मानहानि का मामला दायर किया था। अब कर्नाटक की अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने राहुल, कर्नाटक के मुख्यमंत्री क्या है मामला? कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान 5 मई, 2023 को कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस समिति (KPCC) ने अखबारों में एक विज्ञापन छपवाया था। इसमें दावा किया गया था कि उस समय की भाजपा सरकार कथित तौर पर 40 प्रतिशत भ्रष्टाचार में शामिल थी और पिछले 4 साल में राज्य के खजाने से 1.5 लाख करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है। इस विज्ञापन के खिलाफ याचिकाकर्ता ने अपनी शिकायत में क्या कहा? केशवप्रसाद ने अपनी शिकायत में कहा है कि ये दावा पूरी तरह से बेबुनियाद, पक्षपातपूर्ण और अपमानजनक है और इस विज्ञापन में किए गए दावे झूठे हैं, जिसके वजह से भाजपा की छवि को नुकसान पहुंचा है। उन्होंने इसकी शिकायत पूर्व और मौजूदा सांसदों और विधायकों से जुड़े आपराधिक मामलों की सुनवाई के लिए गठित विशेष कोर्ट में की थी। आज कोर्ट ने सुनवाई कर समन जारी किया है। 27 जुलाई को अगली सुनवाई अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 499 (मानहानि) और धारा 500 (मानहानि के लिए सजा) के तहत पक्षों को समन भेजा है। मामले पर अगली सुनवाई अब 27 जुलाई को होगी। इसी दिन बयान होंगे और शपथ पत्र दाखिल किए जाएंगे। बता दें कि राहुल पर इस वक्त मानहानि के कम से कम 4 मामले चल रहे हैं। इनमें राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) और प्रधानमंत...

We Didnt Act Like PM Modi BJP Leader CT Ravi On Defeat In Karnataka Elections

बेंगलुरु: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के महासचिव सी टी रवि ने सोमवार को कहा कि पार्टी कर्नाटक विधानसभा चुनाव इसलिए हार गई, क्योंकि वह दक्षिणी राज्य में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की तरह राष्ट्रीय स्तर पर काम नहीं कर सकी और चुनाव से पहले सही विमर्श तय करने में भी विफल रही. गोवा में संवाददाता सम्मेलन में रवि ने कहा कि कर्नाटक में विधानसभा चुनाव के नतीजे में कई कारक शामिल थे. कांग्रेस ने पिछले महीने कर्नाटक विधानसभा चुनाव में 224 सदस्यीय सदन में 130 से अधिक सीटों पर जीत हासिल की. भाजपा ने 2018 में 100 से अधिक सीटें जीती थीं, लेकिन इस बार पार्टी 66 सीटों पर ही जीत दर्ज कर सकी. उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा अपना वोट सुरक्षित करने में कामयाब रही है. गारंटी कार्ड (कांग्रेस द्वारा किए गए चुनाव पूर्व वादे) के कारण, हमें प्रत्येक मतदान केंद्र में 100-200 वोट का नुकसान हुआ.'' गोवा, महाराष्ट्र और तमिलनाडु के प्रभारी महासचिव ने कहा कि भाजपा कर्नाटक चुनावों में उचित ‘विमर्श तय' नहीं कर सकी, जो दक्षिणी राज्य में उसके नुकसान के कारणों में से एक था. रवि ने कहा, ‘‘भाजपा कर्नाटक में सत्ता बरकरार रखने में विफल रही क्योंकि हम प्रधानमंत्री (राष्ट्रीय स्तर पर) की तरह काम नहीं कर सके.'' उन्होंने आरोप लगाया कि यह विपक्षी दल हैं जो देश के शीर्ष उद्योगपतियों के लिए काम कर रहे हैं, जबकि भाजपा गरीब समर्थक है. रवि ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी सुधार करने वाले, बदलाव करने वाले और कायाकल्प करने वाले हैं. विपक्ष उन पर बेबुनियाद आरोप लगा रहा है. प्रधानमंत्री ने कभी अडाणी और अंबानी के लिए काम नहीं किया. यह विपक्षी दल हैं जो अडाणी और अंबानी के लिए काम कर रहे हैं.'' रवि ने आरोप लगाया कि 2004-2014 के बीच कांग्रेस शासन भ्...

कर्नाटक चुनाव नतीजे: कांग्रेस हेड क्वार्टर पर हनुमान बन कर पहुंचा कार्यकर्ता, बंटने लगे मोतीचूर के लड्डू

नई दिल्ली: कर्नाटक विधानसभा चुनाव की मतगणना के शुरुआती रुझानों में कांग्रेस ने शनिवार को तीन अंकों का आंकड़ा छू लिया. इसके साथ ही कांग्रेस हेड क्वार्टर दिल्ली से लेकर बंगलुरु तक पार्टी कार्यकर्ता झूमने और गुलाल खेलने लगे हैं. सुबह 10 बजे तक के ताजा चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार, कांग्रेस 100 सीटों पर आगे चल रही है जबकि भाजपा 68 सीटों पर आगे है. जद (एस) 24, कल्याण राज्य प्रगति पक्ष और सर्वोदय कर्नाटक पक्ष में एक-एक सीट पर आगे चल रहा है, जबकि शुरुआती रुझानों में तीन निर्दलीय उम्मीदवार आगे चल रहे हैं. 10 मई को मतदान समाप्त होने के बाद आए एग्जिट पोल में त्रिशंकु विधानसभा की भविष्यवाणी की गई थी, जिसमें कुछ ने कांग्रेस को बहुमत के साथ सत्ता में लौटते हुए दिखाया था. अधिकांश एग्जिट पोल ने भविष्यवाणी की थी कि भाजपा आधे रास्ते के निशान, 113 से कम हो जाएगी. बुधवार को हुए विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को कर्नाटक में स्पष्ट बढ़त मिलने की उम्मीद है, जिसमें चार एग्जिट पोल ने उसे पूर्ण बहुमत दिया है और कुछ ने पार्टी को लाभ के साथ त्रिशंकु विधानसभा की भविष्यवाणी की है. ऐसे में जेडी(एस) किंगमेकर की भूमिका निभा सकता है. हालांकि, जेडी (एस) नेता एचडी कुमारस्वामी ने शनिवार को कहा कि क्लिफहैंगर के मामले में सरकार के गठन के लिए अभी तक उनसे संपर्क नहीं किया गया है, उन्होंने कहा कि वह एक अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद कर रहे हैं. अच्छी पत्रकारिता मायने रखती है, संकटकाल में तो और भी अधिक दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं हम इसे तभी जारी रख सकते हैं अगर आप हमारी रिपोर्टिंग, लेखन और तस्वीरों के लिए हमारा सहयोग करें. अभी सब्सक्राइब करें मतगणना से ...

कर्नाटक चुनाव: अमित शाह बोले

नई दिल्ली: कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 10 मई को एक ही चरण में हुआ था. आज अब से कुछ देर में इसके नतीजे आने शुरू हो जाएंगे और ये देखना दिलचस्प होगा कि यहां मोदी मैजिक चलेगा या फिर कर्नाटक की जनता ने अपने 38 सालों के इतिहास को एकबार फिर दोहराया है. हालांकि, एग्जिट पोल में कांग्रेस को बढ़त मिलती हुई दिखाई गई है. लेकिन किसका होगा कर्नाटक ये अबसे कुछ देर में मतदाताओं द्वारा ईवीएम में दर्ज उनके मत से ही सामने आएगा. कर्नाटक में 73.19 प्रतिशत (3.88 करोड़) का रिकॉर्ड मतदान दर्ज किया गया है जो 1957 में मैसूर राज्य से अलग किए जाने के बाद सबसे अधिक मतदान बताया जा रहा है. भारत निर्वाचन आयोग (ईसीआई) के अनुसार, राज्य भर के 58,282 मतदान केंद्रों पर मतदान हुआ, जिसमें 5.23 करोड़ पंजीकृत मतदाता हैं. कर्नाटक में 224 विधानसभा क्षेत्रों में से 36 अनुसूचित जाति (एससी) और 15 अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए आरक्षित हैं. कर्नाटक में इस बार का सीधा मुकाबला बीजेपी और कांग्रेस के बीच रहा है. दोनों पार्टियों ने सत्ता में आने के लिए अपना पूरा जोर लगाया है. अच्छी पत्रकारिता मायने रखती है, संकटकाल में तो और भी अधिक दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं हम इसे तभी जारी रख सकते हैं अगर आप हमारी रिपोर्टिंग, लेखन और तस्वीरों के लिए हमारा सहयोग करें. अभी सब्सक्राइब करें Live Updates: 7:00 PM:भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा ने ट्वीट कर कहा, भाजपा कर्नाटक की जनता के जनादेश को विनम्रता से स्वीकार करती है. मैं के मेहनती कार्यकर्ताओं को धन्यवाद देता हूं. नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा जनता की बेहतरी के लिए काम करती रहेगी और सक्रिय रूप से रचनात...

राहुल गांधी को एक और मामले में मानहानि का नोटिस, सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार भी फंसे

June 14, 2023 | 05:40 pm 1 मिनट में पढ़ें भाजपा की शिकायत पर राहुल गांधी को मानहानि का नोटिस भेजा गया है कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने अखबार में विज्ञापन देकर भाजपा पर 40 प्रतिशत कमीशन लेने का आरोप लगाया था। इसी के खिलाफ एक भाजपा नेता ने मानहानि का मामला दायर किया था। अब कर्नाटक की अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने राहुल, कर्नाटक के मुख्यमंत्री क्या है मामला? कर्नाटक विधानसभा चुनाव के दौरान 5 मई, 2023 को कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस समिति (KPCC) ने अखबारों में एक विज्ञापन छपवाया था। इसमें दावा किया गया था कि उस समय की भाजपा सरकार कथित तौर पर 40 प्रतिशत भ्रष्टाचार में शामिल थी और पिछले 4 साल में राज्य के खजाने से 1.5 लाख करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है। इस विज्ञापन के खिलाफ याचिकाकर्ता ने अपनी शिकायत में क्या कहा? केशवप्रसाद ने अपनी शिकायत में कहा है कि ये दावा पूरी तरह से बेबुनियाद, पक्षपातपूर्ण और अपमानजनक है और इस विज्ञापन में किए गए दावे झूठे हैं, जिसके वजह से भाजपा की छवि को नुकसान पहुंचा है। उन्होंने इसकी शिकायत पूर्व और मौजूदा सांसदों और विधायकों से जुड़े आपराधिक मामलों की सुनवाई के लिए गठित विशेष कोर्ट में की थी। आज कोर्ट ने सुनवाई कर समन जारी किया है। 27 जुलाई को अगली सुनवाई अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 499 (मानहानि) और धारा 500 (मानहानि के लिए सजा) के तहत पक्षों को समन भेजा है। मामले पर अगली सुनवाई अब 27 जुलाई को होगी। इसी दिन बयान होंगे और शपथ पत्र दाखिल किए जाएंगे। बता दें कि राहुल पर इस वक्त मानहानि के कम से कम 4 मामले चल रहे हैं। इनमें राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) और प्रधानमंत...

Telangana Politics: कांग्रेस पर गरम, बीजेपी पर नरम, कौन सा राजनीतिक दांव खेल रहे हैं के चंद्रशेखर राव?

डीएनए हिंदी: तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव के कांग्रेस को निशाना बनाने और बीजेपी पर चुप रहने की नई रणनीति से इस साल के अंत में राज्य में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले राजनीतिक गलियारों में अटकलें तेज कर दी हैं. पिछले एक सप्ताह के दौरान मुख्यमंत्री केसीआर ने राज्य में तीन जनसभाओं को संबोधित किया और सभी में कांग्रेस पार्टी की आलोचना की, लेकिन, बीजेपी को छोड़ दिया. हालांकि केसीआर की इस नई रणनीति पर कांग्रेस पार्टी के नेताओं ने कोई हैरानी नहीं जताई. उनका मानना है कि केसीआर का बीजेपी के साथ हमेश गुप्त समझौता रहा है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री मोहम्मद अली शब्बीर ने कहा, 'कर्नाटक चुनावों में कांग्रेस की जीत के बाद, बीजेपी और बीआरएस ने खुद को एक कदम पीछे खींच लिया है. केसीआर अब कांग्रेस को एक ऐसी पार्टी के रूप में देखते हैं, जो उन्हें हरा सकती है.' इसे भी पढ़ें- BJP पर नरम, कांग्रेस पर गरम हैं केसीआर मोहम्मद अली शब्बीर ने कहा है कि उन्हें आश्चर्य नहीं है कि केसीआर ने बीजेपी को बख्शते हुए अपने हमलों के लिए कांग्रेस पार्टी को निशाना बनाना शुरू कर दिया है. एक सप्ताह में निर्मल, नागरकुर्नूल और गडवाल में हुई जनसभाओं में केसीआर के भाषणों ने राजनीतिक गलियारों को चकित कर दिया है. इन सभाओं में केसीआर ने कांग्रेस पर तो खूब हमला किया, लेकिन बीजेपी की आलोचना करने से परहेज किया. बदल गए हैं राजनीतिक तौर-तरीके केसीआर के भाषणों की विषय-वस्तु, लहजा और तेवर नवंबर-दिसंबर 2023 में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले उनकी रणनीति में बदलाव का संकेत देते हैं. क्या BRS और KCR के बीच हुआ है समझौता? शब्बीर ने कहा, यह और कुछ नहीं, बल्कि बीआरएस और बीजेपी के बीच समझौते का हिस्सा है...