प्रेगनेंसी में सर्दी का इलाज

  1. गले में दर्द की वजह से खाने
  2. प्रेगनेंसी के दौरान सर्दी
  3. प्रेगनेंसी में थायराइड के कारण, लक्षण और इलाज
  4. प्रेगनेंसी में सर्दियों से बचने के लिए 10 टिप्स
  5. प्रेगनेंसी के दौरान खांसी के लिए 10 प्रभावशाली घरेलू उपचार व इलाज
  6. बच्चों में सर्दी, खांसी तथा जुखाम का इलाज
  7. प्रेगनेंसी में सिर दर्द के 23 घरेलू उपाय


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गले में दर्द की वजह से खाने

Written by |Updated : June 10, 2023 3:30 PM IST • • • • • Throat Pain Remedies : सर्दी हो या गर्मी, कुछ लोगों को लगभग हर सीजन में कोल्ड या फिर एलर्जी की परेशानी हो जाती है। इस स्थिति में कभी-कभी गले में काफी ज्यादा दर्द रहता है। अगर आपको भी ठंड-गर्म जैसी चीजें खाने या फिर एलर्जी के कारण गले में दर्द होता है, तो इस स्थिति में आपको डॉक्टर से उचित सलाह लेने की जरूरत है। वहीं, गले में संक्रमण या फिर एलर्जी की समस्या बढ़ने पर आप कुछ असरदार नुस्खों को भी आजमा सकते हैं। आज हम आपको इस लेख में कुछ ऐसे आसान से नुस्खे बताएंगे, जिससे आप गले में दर्द की परेशानी को दूर कर सकते हैं। आइए जानते हैं गले में दर्द या खराश होने पर क्या करें? नमक से करें गरारे गले में दर्द की परेशानी होने पर नमक के पानी से आप गरारे कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले 1 गिलास पानी लें। इसमें 1 चुटकी नमक डालें। अब इस पानी से करीब 2 से 3 मिनट तक अच्छे से गरारा करें। इससे गले में दर्द और खराश की परेशानी से छुटकारा मिल सकता है। मुलेठी का करें सेवन गलें में दर्द और खराश की परेशानी होने पर मुलेठी का सेवन कर सकते हैं। इसमें संक्रमण और बैक्टीरियल समस्याओं को कम करने का गुण होता है। इसके लिए सबसे पहले मुलेठी का टुकड़ा लें। अब इसे मुंह में डालकर धीरे-धीरे चूसें। ऐसा करने से गले में दर्द और सूजन की समस्या कम होगी। Also Read • • • तुलसी की पत्तियां गले में दर्द और खराश से राहत पाने के लिए तुलसी की पत्तियां फायदेमंद होती है। तुलसी की पत्तियों को चबाने से आपको दर्द से आराम मिल सकता है। इसमें एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-संक्रमण गुण होता है, जो गले में दर्द को आराम कर सकता है। इसके लिए 10 से 15 तुलसी की पत्तियों को चबाएं। इससे तुरंत आर...

प्रेगनेंसी के दौरान सर्दी

गर्भावस्था के दौरान महिलाओं की रोग प्रतिरोधक क्षमता काफी कम हो जाती है। महिलाओं को सेहत से जुड़ी कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इस समय महिलाओं के शरीर में कई तरह के बदलाव होते हैं। थोड़ी-सी लापरवाही से उन्हें रोग जकड़ लेता है। ऐसे में गर्भवती महिलाओं को सर्दी-खांसी होना सबसे आम बात है। ऐसे कई आयुर्वेदिक उपाय (home remedies for Cough and cold in pregnancy) हैं, जो गर्भावस्था की खांसी में बहुत फायदेमंद होते हैं। गर्भवती महिलाओं के लिए ये घरेलू उपचार बहुत लाभदायक हैं। क्या आप जानते हैं कि गर्भवती महिलाओं की खांसी का इलाज घर पर भी कर सकते हैं? गर्भावस्था की खांसी सामान्य तौर पर 5-7 दिन में थोड़ा परहेज और घरेलू उपचार करने से ठीक हो जाती है। आपको बताते हैं कि गर्भावस्था के दौरान जब आपको सर्दी-खांसी हो जाए, तो आपको इसका क्या इलाज करना चाहिए। Contents • 1 खांसी क्या है? (What is Cough During Pregnancy in Hindi?) • 2 खांसी के प्रकार (Types of Cough in Pregnancy) • 2.1 खांसी के अन्य प्रकार • 3 गर्भावस्था में खांसी होने के कारण (Causes of Cough During Pregnancy) • 4 गर्भावस्था में सूखी खाँसी होने के कारण (Dry Cough in Pregnancy) • 5 गर्भावस्था की खांसी के लक्षण (Symptoms of Cough in Pregnancy) • 6 गर्भावस्था में खांसी होने पर आजमाएं ये घरेलू उपचार (Home Remedies for Cough in Pregnancy in Hindi) • 6.1 गर्भावस्था में खांसी का इलाज हल्दी से (Turmeric: Home Remedies for Cough During Pregnancy in Hindi) • 6.2 तुलसी एवं पुदीना से गर्भावस्था के दौरान की खांसी का इलाज (Tulsi and Pudina: Home Remedies for Cough and Cold During Pregnancy in Hindi) • 6.3 अदरक के सेवन से गर्भावस्था में खांस...

प्रेगनेंसी में थायराइड के कारण, लक्षण और इलाज

एक महिला की जिंदगी में प्रेगनेंसी को सबसे संवेदनशील समय माना गया है। इस दौरान कई शारीरिक समस्याओं का जोखिम बना रहता है, जिसमें एक नाम थायराइड की समस्या भी है। ऐसे में, गर्भावस्था में थायराइड से बचने के लिए इससे जुड़ी जानकारी का होना जरूरी है। यही वजह है कि स्टाइलक्रेज के इस लेख में हम गर्भावस्था में थायराइड के कारण, लक्षण और इससे जुड़ी कई जरूरी जानकारी साझा कर रहे हैं, ताकि महिलाओं को गर्भावस्था में थायराइड प्रभाव से बचने में मदद मिल सके। पूरी जानकारी के लिए लेख को अंत तक जरूर पढ़ें। विषय सूची • • • • • • • • गर्भावस्था में थायराइड क्या है – Thyroid During Pregnancy in Hindi थायराइड कुछ और नहीं, बल्कि एक ग्रंथि है। यह दिखने में तितली जैसी होती है और गले में मौजूद होती है। थायराइड ग्रंथि का काम थायराइड हार्मोन बनाना होता है। यह हार्मोन शरीर की कई गतिविधियों की गति को नियंत्रित करने का काम करता है, जिसमें शरीर में कैलोरी बर्न और दिल धड़कने की प्रक्रिया आदि शामिल हैं। वहीं, नीचे जानिए प्रेगनेंसी में हाइपरथायराइडिज्म यानी जरूरत से अधिक थायराइड के उत्पादन के कारण ( • ऑटोइम्यून डिसऑर्डर जैसे ग्रेव्स डिजीज। ग्रेव्स डिजीज में इम्यून सिस्टम थायराइड ग्रंथि पर अटैक करता है और अधिक थायराइड हार्मोन का कारण बनता है। • • आयोडीन की अधिकता वाले खाद्य पदार्थों का सेवन। • थायराइड से जुड़ी • अंडाशय से जुड़े ट्यूमर की वजह से भी ऐसा हो सकता है। प्रेगनेंसी में हाइपोथायरायडिज्म के कारण : नीचे जानिए प्रेगनेंसी में हाइपोथायरायडिज्म यानी जरूरत से कम थायराइड के उत्पादन के कारण : • ऑटोइम्यून डिसऑर्डर जैसे हाशिमोटो की बीमारी। इस बीमारी में इम्यून सिस्टम थायराइड ग्रंथि पर अटैक करता है, जिससे उसमें सूजन ...

प्रेगनेंसी में सर्दियों से बचने के लिए 10 टिप्स

सर्दियों में गर्भवती महिलाओं की कठिनाइयां कभी-कभी बढ़ जाती हैं। उन्हें ठंडी हवा की वजह से इन्फेक्शन, खांसी व जुकाम जल्दी होता है और ठंड भी ज्यादा लगती है। इसके परिणामस्वरूप महिलाओं को दर्द व पीड़ा अधिक होती है पर गर्भावस्था में दवाइयां लेने की सलाह नहीं दी जाती है। यदि महिलाएं गर्भावस्था के दौरान मौसम में बदलाव होने से पहले ही देखभाल की पूरी तैयारी कर लें तो इससे काफी मदद मिल सकती है। 1. सर्दियों में जैकेट पहन कर रखें सर्दियों में कम्फर्टेबल और वॉर्म रहना सबसे ज्यादा जरूरी है। इस समय आपको शरीर में गर्माहट के लिए नया जैकेट जरूर लेना चाहिए। सर्दियों में गर्भावस्था के दौरान पहनने के लिए मैटरनिटी कोट खरीदने से अच्छा है कि आप किसी स्टोर से एक जैकेट खरीदें जो सर्दियों में आपको कोजी रखती है और गर्माहट भी देती है। यद्यपि हो सकता है आपको नियमित कोट पहनना अच्छा लगता हो पर यदि आप अपनी फिटिंग का जैकेट पहनती हैं तो इससे आप हेल्दी रहेंगी और बहुत ज्यादा सर्दी से आपका बचाव होगा। 2. ढेर सारा पानी पिएं सर्दियों में बहुत ज्यादा ठंड पड़ने की वजह से आप पानी कम पी सकती हैं या भूल भी जाती होंगी पर यह गर्भवती महिलाओं के लिए बिलकुल भी अच्छा नहीं है। जैसे कि हम जानते हैं कि सर्दियों में सूखी हवा चलती है जिसकी वजह से इन दिनों में हमारे शरीर को ज्यादा पानी की जरूरत होती है। यदि आप पानी की जगह कोई और ड्रिंक पीती हैं तो इससे आपको कोई भी फायदा नहीं होगा। वैसे इस समय आप नारियल का पानी और जूस पी सकती हैं पर खुद को हाइड्रेटेड रखने के लिए पानी पीना बेहतरीन तरीका है। यदि आपको लगता है कि पानी पीने के लिए आपको रिमाइंडर की जरूरत है तो आप मोबाइल फोन में रिमाइंडर लगा सकती हैं। आपको रोजाना कितना पानी पीना है यह भी आप...

प्रेगनेंसी के दौरान खांसी के लिए 10 प्रभावशाली घरेलू उपचार व इलाज

गर्भावस्था के दौरान खांसी की समस्या किसी भी प्रकार की चिंता का विषय तब तक नहीं है जब तक गर्भ में पल रहे शिशु पर इसका प्रभाव नहीं पड़ता है। यद्यपि इस अवधि में सर्दी, जुकाम व खांसी जैसी समस्याओं को ठीक करने के लिए दवाओं के सेवन से भी बच्चे को नुकसान पहुँच सकता है। इसलिए इसका खासतौर पर खयाल रखा जाना चाहिए। गर्भावस्था के दौरान शारीरिक परिवर्तन आपकी इम्युनिटी सिस्टम की कार्य क्षमता को प्रभावित कर सकते हैं और यही कारण है कि इस दौरान आप सर्दी, खांसी व जुकाम जैसी समस्याओं से ग्रसित होती हैं। गर्भावधि में सर्दी व खांसी की दवाएं, जैसे टॉइलेनॉल से गर्भ में पल रहे शिशु को ए.डी.एच.डी. (अटेंशन डेफिसिट हाइपरएक्टिविटी डिसऑर्डर) का खतरा हो सकता है। अपने शिशु को किसी भी प्रकार की समस्या या असुविधा से बचाने के लिए गर्भावस्था के दौरान दवाओं का सेवन अत्यधिक सावधानी और डॉक्टर की सलाह के अनुसार ही करें। गर्भावस्था के दौरान खांसी के लिए 10 सरल प्राकृतिक उपचार 1. लहसुन लहसुन में एंटी-ऑक्सडेंट, एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-वायरल, एंटी-बायोटिक गुण इसे अनेक रोगों के लिए एक बेहतरीन प्राकृतिक उपचार बनाते हैं। कच्चे लहसुन में मौजूद एक प्रकार का पीला व तैलीय पदार्थ अत्यधिक प्रभावी एंटी-बैक्टीरियल होता है जो सर्दी व खांसी जैसी समस्याओं को खत्म करने में मदद करता है। गर्भावस्था के दौरान यदि आप सर्दी व खांसी से ग्रसित हैं तो थोड़ा सा कच्चा लहसुन खाएं। इसका स्वाद भले ही अच्छा न हो किंतु यह आपकी सर्दी, खांसी व सीने की जकड़न को खत्म करने में निश्चित रूप से मदद कर सकता है। लहसुन में कच्चे स्वाद को कम करने के लिए आप इसे काटकर शहद के साथ भी ले सकती हैं। खांसी को प्रभावी रूप से खत्म करने के लिए इसे दिनभर में कम से कम 3 बार ल...

बच्चों में सर्दी, खांसी तथा जुखाम का इलाज

Category: शिशु रोग बच्चों में सर्दी, खांसी तथा जुखाम का इलाज By: Salan Khalkho | ☺4 min read खांसी और जुकाम आमतौर पर सर्दी के वायरस के संक्रमण के कारण होता है। ये आम तौर पर अपने आप दूर हो जाते हैं, और एंटीबायोटिक दवाएं आमतौर पर किसी काम की नहीं होती हैं। पेरासिटामोल या इबुप्रोफेन कुछ लक्षणों को कम कर सकते हैं। ध्यान रखें की आप के बच्चे को पर्याप्त मात्रा में पीने मिल रहा है। Table of contents • • • • • • • • • • • बच्चों में सर्दी होना सबसे आम बीमारियों में से एक है। हर साल यह किसी भी अन्य बीमारी की तुलना में बच्चों को अधिक परेशां करता है। भारत में हर साल लाखों लोगों को सर्दी होती है। ज़्यादातर बच्चों को साल में कम से कम 6 से 8 बार सर्दी-जुकाम होता है। जो बच्चे डेकेयर तथा स्कूल जाते हैं उन्हें सर्दी होने की सम्भावना अधिक रहती है। 6 साल की उम्र के बाद सर्दी, खांसी और जुखाम, बच्चों को कम होती है। बच्चों को पतझड़ और ठण्ड मौसम के दौरान जखन, खांसी और सर्दी होने की संभावना अधिक रहती है। जुकाम तब होता है जब बच्चा सर्दी के वायरस के संपर्क में आता है और उसकी वजह से नाक और गले की परत में जलन (सूजन) हो जाता है। सर्दी 200 से अधिक विभिन्न वायरस के कारण हो सकती है। लेकिन ज्यादातर सर्दी-जुकाम राइनोवायरस के कारण होता है। सर्दी बच्चे को तब लगती है जब,आपके बच्चे किसी ऐसे व्यक्ति के संपर्क में आते हैं जो सर्दी के वायरस से पहले से संक्रमित हो। हवा के माध्यम से - यदि सर्दी-जुकाम से संक्रमित व्यक्ति छींकता या खांसता है, तो थोड़ी मात्रा में वायरस हवा के संपर्क में आ जाता है। फिर अगर आपका बच्चा उस हवा में सांस लेता है, तो वायरस आपके बच्चे की नाक में पहुँच जाता है। सीधे संपर्क से - इसका मतलब है कि...

प्रेगनेंसी में सिर दर्द के 23 घरेलू उपाय

हमने आपसे प्रेगनेंसी में सिर दर्द के कारण और लक्षण को लेकर बात की है हमें कब डॉक्टर से मिलना चाहिए इस संबंध में बात की है इसके इलाज पर भी चर्चा की है आज हम प्रेगनेंसी के दौरान सिर दर्द होने पर कौन-कौन से घरेलू उपाय हम अपना सकते हैं इस विषय पर चर्चा करेंगे . प्रेगनेंसी के दौरान बल्कि शुरुआती समय में सिर दर्द, शरीर के अंदर हार्मोन परिवर्तन के कारण भी होता है. इस प्रकार के होने वाले दर्द में ज्यादा कुछ नहीं किया जा सकता है. आप अपने जीवन शैली को थोड़ा सा संयमित और सुचारू रूप से चलाते हैं तो कुछ आराम महसूस होता है, और भी बहुत सी छोटी-छोटी बातें हैं जिन्हें आप आजमाएंगे तो आपको अपने सर दर्द में काफी राहत महसूस होगी. इन्हें भी पढ़ें : इन्हें भी पढ़ें : इन्हें भी पढ़ें : इन्हें भी पढ़ें : शरीर के अंदर पानी की कमी के कारण भी सिरदर्द की समस्या नजर आती है. इसलिए आप अगर सिर दर्द की समस्या से ग्रसित हैं तो आप भरपूर मात्रा में पानी पीजिए और गर्भावस्था के दौरान हाइड्रेट रहने की आवश्यकता होती ही है. प्रेगनेंसी के दौरान सिर दर्द, सिर की नलिकाओं के फैलाव के कारण भी होता है ऐसे में ठंडे पानी की सिकाई काफी फायदा देती है. तोलिया को ठंडे पानी में डूबा कर उसे अपने सिर पर रखे फायदा होगा. अगर आपको फायदा नजर नहीं आ रहा है तो ऐसा हो सकता है कि आपके सिर की नलिका सिकुड़ गई हो, कम रक्त परिसंचरण के कारण भी सिर दर्द होता है. इसलिए ऐसे में गर्म पानी से सिकाई करना फायदेमंद होता है. सिर दर्द होने पर भाप लेना अभी काफी फायदेमंद रहता है. एक बर्तन में पानी को गर्म कीजिए. जब उसमें से भाप निकलने लगे तो, एक तौलियाअपने सिर पर डालकर कुछ देर तक आप अपने सांसों के द्वारा भाप लीजिए. यह सिर दर्द में फायदा करता है. प्रेगने...