पर्यावरण संरक्षण पर कविता

  1. विश्व पर्यावरण दिवस पर कविता – World Environment Day Poem in Hindi – Vishwa Paryavaran Diwas Kavita – Hindi Jaankaari
  2. ख्याल रखे : Best Hindi Motivational Blog जो रखे ख्याल आपकी खुशियों का
  3. पर्यावरण पर दोहे
  4. समाज सुधार, पर्यावरण संरक्षण, युवाओं की आवाज और कविताओं का भंडार योगेश शर्मा के साथ
  5. 10+ Best Poem on Environment in Hindi
  6. पर्यावरण संरक्षण पर कविता इन हिंदी। Poem on Environment Pollution in Hindi
  7. पर्यावरण पर दो उत्कृष्ट कविता (Environment Poem In Hindi)


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विश्व पर्यावरण दिवस पर कविता – World Environment Day Poem in Hindi – Vishwa Paryavaran Diwas Kavita – Hindi Jaankaari

World Environment Day 2020: पर्यावरण हमारे मनुष्य जीवन के लिए एक बहुत ही महत्वपूर्ण उपहार है जो की हमे हमारे भगवान् से मिला है| पर्यावरण की वजह से ही मानव जीवन का अस्तित्व है| इसी की वजह से हमे हमारे सुख सुविधा और जीवन शायली की लगभग साड़ी सुविधा मिल रही है| मानव को जीवन प्रदान करने के बावजूद आज के समय में पर्यावरण का नुक्सान हो रहा है जिसकी वजह से प्रदुषण और कई प्रकार के संकट मानव जीवन पर मंडरा रहे है|आज के इस पोस्ट में हम आपको पर्यावरण पर बाल कविता, प्रकृति और पर्यावरण पर कविता, पर्यावरण पर दोहे, पर्यावरणावर कविता, पर्यावरण पर नारा लेखन, पर्यावरण दिवस पर काव्य , विश्व पर्यावरण संरक्षण दिवस, आदि की जानकारी देंगे जिसे आप अपने निबंध या भाषण में इसतमाल कर सकते है| विश्व पर्यावरण दिवस कविता 2020 विश्व पर्यावरण दिवस कब मनाया जाता है: विश्व पर्यावरण दिवस 5 जून 2020 को विश्व भर में UN द्वारा मनाया जाता है|आइये देखें अक्सर class 1, class 2, class 3, class 4, class 5, class 6, class 7, class 8, class 9, class 10, class 11, class 12 के बच्चो को कहा जाता है विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर कविता लिखें| जिसके लिए हम पेश कर रहे हैं World Environment day Par Kavita, करके ऐसा काम दिखा दो, जिस पर गर्व दिखाई दे। इतनी खुशियाँ बाँटो सबको, हर दिन पर्व दिखाई दे। हरे वृक्ष जो काट रहे हैं, उन्हें खूब धिक्कारो, खुद भी पेड़ लगाओ इतने, धरती स्वर्ग दिखाई दे।। करके ऐसा काम दिखा दो… कोई मानव शिक्षा से भी, वंचित नहीं दिखाई दे। सरिताओं में कूड़ा-करकट, संचित नहीं दिखाई दे। वृक्ष रोपकर पर्यावरण का, संरक्षण ऐसा करना, दुष्ट प्रदूषण का भय भू पर, किंचित नहीं दिखाई दे।। करके ऐसा काम दिखा दो… हरे वृक्ष से वायु-प्रदूषण...

ख्याल रखे : Best Hindi Motivational Blog जो रखे ख्याल आपकी खुशियों का

सबसे सस्ता और अच्छा होस्टिंग (Cheapest & Best Web Hosting Paln In Hindi) Web Hosting Review in Hindi – khayalrkhe.com एक educational website है और यहाँ पर आपके के साथ education से जुड़ी लगभग हर तरह की जानकारी share की जाती है और, इसी वजह से मैं self web hosting companies या best web hosting companies […] पर्यावरण प्रदूषण पर निबंध – Environmental Pollution Essay in Hindi पर्यावरणीय प्रदूषण क्या है ? पर्यावरण प्रदूषण का अर्थ Environmental Pollution Essay in Hindi: कुदरत ने हरे-भरे पर्यावरण का साथ हमें आशीर्वाद स्वरूप दिया है, जो हमारे जीवन के लिए अत्यंत आवश्यक चीजों में से एक है। यदि हम यह आशीर्वाद खो देंगे तो हम एक […] विश्व पर्यावरण संरक्षण दिवस (डब्ल्यूईडी) पर विशेष भाषण और निबंध – 5 Jun World Environment Day Speech & Essay in Hindi Vishwa Paryavaran Diwas Speech 2020 : विश्व पर्यावरण दिवस (ईको दिवस) पर्यावरण संरक्षण हेतु, सारी दुनिया में मनाया जाने वाला एक पर्यावरणपूरक उत्सव का दिन है। यह प्रकृति को समर्पित दुनिया के सबसे बड़े उत्सवों में […] रबीन्द्रनाथ टैगोर का जीवन परिचय – Rabindranath Tagore Biography in Hindi Rabindranath Tagore in Hindi : गीतांजलि के लेखक तथा राष्ट्रीय गान (जन गण मन) के उद्गाता श्री रबीन्द्रनाथ ठाकुर का जन्म बड़े उथल-पुथल वाले राजनैतिक माहौल में हुआ था। ब्रिटिश हुकूमत के खिलाफ आवाज उठाना इस खराब माहौल की सबसे बड़ी वजह थी। दुर्भाग्यवश 10 […] Quotes on Success In Hindi – जिंदगी में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करने वाले सुविचार, स्टेटस, इमेज.. Motivational Thoughts; Quotes on Success In Hindi – दोस्तों ! मनोविज्ञान की माने तो किसी कार्य को पूरा करने की सामर्...

पर्यावरण पर दोहे

सूचना: दूसरे ब्लॉगर, Youtube चैनल और फेसबुक पेज वाले, कृपया बिना अनुमति हमारी रचनाएँ चोरी ना करे। हम कॉपीराइट क्लेम कर सकते है पर्यावरण पर दोहे – पर्यावरण से सम्बन्धित इन दोहों में मनुष्य के द्वारा प्रकृति के साथ की जा रही अत्यधिक छेड़छाड़ पर चिंता व्यक्त की गई है। यदि अब भी हमने प्रकृति का अन्धाधुन्ध दोहन नहीं रोका तो आने वाले समय में हमें विनाश के भयावह दृश्य देखने पड़ेंगे। आज पर्यावरण – प्रदूषण के कारण मानव का जीवन संकट में पड़ गया है, अतः हमें पर्यावरण का संरक्षण कर धरती के समस्त प्राणियों को बचाने की सोचना चाहिए। पर्यावरण पर दोहे बसा रहे हैं बस्तियाँ, जंगल घने उजाड़। जानबूझ पर्यावरण, हम ही रहे बिगाड़।। धरती को पोला किया, खनिज निकाल – निकाल। जिस पर हम बैठे हुए, काट रहे वह डाल।। उद्योगों की चिमनियाँ, धुँआ उगल दिन-रात। शुद्ध हवा पर कर रहीं, जमकर के आघात।। बहते जल को रोककर, बनते उँचे बांध। मर जाती इससे नदी, देकर हमें सड़ांध।। खोदें नहीं पहाड़ को, काटें नहीं सुरंग। होता इससे चेहरा, कुदरत का बदरंग।। पानी पर्वत वायु वन, पशु-पक्षी की जान। इन्हें बचाएँ तो बचे, धरती पर इंसान।। अगर हादसों से नहीं, लेते हैं हम सीख। बर्बादी के दृश्य ही, हमें पड़ेंगे दीख।। कोटा, राजस्थान के रहने वाले सुरेश चन्द्र "सर्वहारा" जी स्वैच्छिक सेवानिवृत्त अनुभाग अधिकारी (रेलवे) हैं। सुरेश जी एक वरिष्ठ कवि और लेखक हैं। ये संस्कृत और हिंदी में परास्नातक हैं। इनकी कई काव्य पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं जिनमें नागफनी, मन फिर हुआ उदास, मिट्टी से कटे लोग आदि प्रमुख हैं। इन्होंने बच्चों के लिए भी साहित्य में बहुत योगदान दिया है और बाल गीत सुधा, बाल गीत सुमन, बच्चों का महके बचपन आदि पुस्तकें भी लिखी हैं।

समाज सुधार, पर्यावरण संरक्षण, युवाओं की आवाज और कविताओं का भंडार योगेश शर्मा के साथ

🙏 वंदे मातरम जय श्री राम🙏 सभी प्रदेशवासियों को हिंदी दिवस की हार्दिक बधाई अपने विचारों की कुछ पंक्तियां::- हिंदी भाषा नहीं है संस्कारों का ज्ञान है, हिंदी अपवाद नहीं पूरे विश्व की शान है। हिंदी मेरे अमरनाथ का ज्ञान है, हिंदी संस्कृत का सुध्द ज्ञान है।।अंग्रेजी को खत्म करो हिंदी को राष्ट्रभाषा घोषित करो, हिंदू हिंदुओं के संस्कारों का सम्मान करो। हमारी संस्कृति का सम्मान करो, मोदी हिंदी को लेकर अपनी प्रतिज्ञा पूरी करो, पूरे विश्व में हिंदी का गुणगान करो।। हिंदी में वेद पुराणों को समझाएंगे, पूरे विश्व में घर-घर जाकर हिंदी अलख जगायेंगे।विश्व पटल पर हिंदी का परचम फरायेंगे, अंग्रेजी सभ्यता को खत्म अब करवा देंगे।। आओ मिलकर दुनिया को अपना इतिहास पढ़ाते हैं, आओ मिलकर दुनिया को अपने संस्कारों का ज्ञान करते हैं।आओ मिलकर हिंदी और भगवा परचम विश्व पटल पर लहराते हैं, आओ मिलकर अपना इतिहास एक नया बनाते हैं।।।। वंदे मातरम जय श्री राम।। वंदे मातरम जय श्री राम।। मरुभूमि का अपवाद खत्म करना है...... हम सबको मिलकर हरा भरा राजस्थान बनाना है.....पर्यावरण प्रेमी योगेश शर्मा सम्पर्क करें:- 8949 ना बाबर चाहिए ना हुमायूं चाहिए, ना अकबर चाहिए ना औरंगजेब चाहिए। हमें तो अपनी धरती पर राणा प्रताप चाहिए, हमें शिवाजी चाहिए हमें गौरी को मारने वाला पृथ्वी राज चाहिए।। इतिहास के पन्नों में हुई भूल फिर से नहीं दोहराएंगे, जरूरत पड़ी तो राणा प्रताप के भाले की ताकत फिर से दिखाएंगे। वीर शिवाजी की तलवारों का फिर से दिखा देंगे, अब किसी भी हिंदू में मानसिंह नहीं पनपने देंगे।। अब कोई पद्मावती जौहर नहीं करेगी, अब कोई हाडी रानी अपना शीस नहीं कटेगी। राजस्थान की माटी में हर माता एक राणा प्रताप देंगी, यह वीर भूमि फिर हिंदुस्त...

10+ Best Poem on Environment in Hindi

विषय सूची • • • • • • • • • • • एक जैसा हर समय वातावरण होता नहीं एक जैसा हर समय वातावरण होता नहीं अर्चना के योग्य हर इक आचरण होता नहीं जूझना कठिनाइयों की बाढ़ से अनिवार्य है मात्र चिन्तन से सफलता का वरण होता नहीं मिल सका किसको भला नवनीत मन्थन के बिना दुख बिना चुपचाप सुख का अवतरण होता नहीं लाख हो शृंगार नारी के लिए सव व्यर्थ है पास में यदि शीलता का आभरण होता नहीं जल रहा हो जब वियोगी मन विरह की आग में यत्न कितना भी करो पर विस्मरण होता नहीं व्याकरण के बंधनों में ग्रंथ सारे ही बंधे प्यार कितना भी करो पर विस्मरण होता नहीं मैं अकेला ही चलूंगा लक्ष्य के पथ पर अभय अब किन्हीं क़दमों का मुझसे अनुसरण होता नहीं नित नए परिधान बदले सभ्यता चाहे कोई क्या महत्ता लाज का यदि आवरण होता नहीं तन भले ही मिल सकें पर मन नहीं मिलते कभी जब तलक है प्रेम रस का संचरण होता नहीं जो न आँसू की कहानी सुन द्रवित होता ‘मधुप’ वह निरा पाषाण है, अन्तः करण होता नहीं -महावीर प्रसाद ‘मधुप’ पर्यावरण पर छोटी कविता पर्यावरण को बचाना हमारा ध्येय हो सबके पास इसके लिए समय हो पर्यावरण अगर नहीं रहेगा सुरक्षित हो जायेगा सबकुछ दूषित भले ही आप पेड़ लगाये एक पूरी तरह करे उसकी देखरेख सौर उर्जा का करे सब उपयोग कम करे ताप विद्युत् का उपभोग रासायनिक खाद का कम करे छिडकाव भूमि को प्रदूषित होने से बचाव कचड़ो का समुचित रीती से करो निपटारा फैक्ट्रियो में जब सौर यन्त्र लगाई जाएँगी वायु प्रदुषण में अपने आप कमी आएँगी तब जाकर पर्यावरण प्रदुषण में कमी आएँगी आधी बीमारिया अपने आप चली जाएगी Image: poem on environment in hindi कसम खाते है (Paryavaran Par Kavita) मिलकर आज ये कसम खाते हैं, पर्यावरण को स्वच्छ बनाते है। मिलकर आज ये कसम खाते हैं, प्...

पर्यावरण संरक्षण पर कविता इन हिंदी। Poem on Environment Pollution in Hindi

पर्यावरण संरक्षण पर कविता इन हिंदी। Poem on Environment Pollution in Hindi. मित्रो आज के आर्टिकल में पर्यावरण संरक्षण के मुद्दे पर कुछ कवितायें प्रकाशित की गयी हैं। यह कवितायें वृक्षारोपण, जल-चक्र , वायु प्रदुषण और जल प्रदूषण जैसे मुद्दों पर ध्यान आकर्षित करती हैं। इन सभी कविताओं को आप पढ़े और और पर्यावरण संरक्षण में सहयोग दे। पर्यावरण पर कविता ताजगी की चाह में हम घुटते जा रहे हैं, जीवनदायिनी हवा को विषैला बना रहे हैं, भारत का ताज हिमालय समझो इसे देवालय, क्यों हम दानव, हरियाली के देव को सता रहे हैं ? भारत नदियों की धरती जो हमने मटमैली कर दी, क्यों कुदरत की इस जन्नत को दोजख बना रहे हैं ? सुरसा के मुख सी आबादी करें जंगलों की बर्बादी, कैसे नीर की तलाश में पशु-पक्षी छटपटा रहे हैं ? 10 line essay,281,10 Lines in Gujarati,1,Aapka Bunty,3,Aarti Sangrah,3,Aayog,3,Agyeya,4,Akbar Birbal,1,Antar,26,anuched lekhan,50,article,17,asprishyata,1,Bahu ki Vida,1,Bengali Essays,135,Bengali Letters,20,bengali stories,12,best hindi poem,13,Bhagat ki Gat,2,Bhagwati Charan Varma,3,Bhishma Shahni,6,Bhor ka Tara,1,Biography,140,Biology,2,Boodhi Kaki,1,Buddhapath,2,Chandradhar Sharma Guleri,2,charitra chitran,94,chhand,1,Chief ki Daawat,3,Chini Feriwala,3,chitralekha,6,Chota jadugar,3,Claim Kahani,2,Countries,10,Dairy Lekhan,1,Daroga Amichand,2,Demography,10,deshbhkati poem,3,Dharmaveer Bharti,10,Dharmveer Bharti,1,Diary Lekhan,7,Do Bailon ki Katha,1,Dushyant Kumar,1,Eidgah Kahani,5,essay,726,Essay on Animals,1,festival poems,4,French Essays,1,funny hindi poem,1,funny hindi story,3,Gaban,12,Geograph...

पर्यावरण पर दो उत्कृष्ट कविता (Environment Poem In Hindi)

यह हमको सब कुछ देती है | माँ जैसी ममता को देकर , अपने बच्चों को सेती है || भौतिकवादी जीवन में , हमनें जगती को भुला दिया | कर रहें प्रकृति से छेड़छाड़ , हम ने सबको है रुला दिया || हो गयी प्रदूषित वायु आज , हम स्वच्छ हवा को तरस रहे | वृक्षों के कटने के कारण , अब बादल भी न बरस रहे || वृक्ष काट – काटकर हम ने , माँ धरती को विरान कर डाला | बनते अपने में होशियार , अपने ही घर में डाका डाला || बहुत हो गया बन्द करो अब , धरती पर अत्याचारों को | संस्कृति का सम्मान न करते , भूले शिष्टाचार को || Loading... आओ हम सब संकल्प ले , धरती को हरा – भरा बनायेगे | वृक्षारोपण का पुनीत कार्य कर , पर्यावरण को शुद्ध बनायेगे || आगे आने वाली पीढ़ी को , रोगों से मुक्ति करेगे हम | दे शुद्ध भोजन , जल , वायु आदि , धरती को स्वर्ग बनायेगे || जन – जन को करके जागरूक , जन – जन से वृक्ष लगवायेगे | चला – चला अभियान यही , बसुधा को हरा बनायेगे || जब देखेगे हरी भरी जगती को , तब पूर्वज भी खुश हो जायेंगे | कभी कभी ही नहीं सदा हम , पर्यावरण दिवस मनायेगे || हरे भरे खूब पेड़ लगाओ , धरती का सौंदर्य बढाओ | एक बरस में एक बार ना , 5 जून हर रोज मनाओ || **** पर्यावरण पर एक नम्र निवेदन कविता / पोएम – Environment Poem in Hindi Paryavaran par kavita in hindi न नहर पाटो , न तालाब पाटो , बस जीवन के खातिर न वृक्ष काटो। ताल तलैया जल भर लेते , प्यासों की प्यास , स्वयं हर लेते। सुधा सम नीर अमित बांटो , न नहर पाटो , न तालाब पाटो , स्नान करते राम रहीम रमेश , रजनी भी गोते लगाये। क्षय करे जो भी इन्हें , तुम उन सब को डाटो , न नहर पाटो , न तालाब पाटो , नहर का पानी बड़ी दूर तक जाये , गेहूं चना और धान उगाये। फिर गेंहू से सरसों अलग छाटों , न नहर पाट...