शिवा महादेवा

  1. शिव


Download: शिवा महादेवा
Size: 67.28 MB

शिव

इस लेख में अतिरिक्त संदर्भ अथवा स्रोतों की आवश्यकता है। कृपया विश्वसनीय स्रोत जोड़कर (2017) स्रोत खोजें: · · · · शिव शांति, विनाश, समय, योग, ध्यान, नृत्य, प्रलय और वैराग्य के देवता, सृष्टि के संहारकर्ता और जगतपिता अन्य नाम नीलकंठ, महादेव, शंकर, पशुपतिनाथ, नटराज, संबंध निवासस्थान ॐ नमः शिवाय अस्त्र जीवनसाथी भाई-बहन संतान सवारी शंकर या महादेव आरण्य संस्कृति जो आगे चल कर सनातन शिव धर्म नाम से जाने जाते है में सबसे महत्वपूर्ण देवताओं में से एक है। शंकर जी को भगवान शिव को रूद्र नाम से जाना जाता है रुद्र का अर्थ है रुत् दूर करने वाला अर्थात दुखों को हरने वाला अतः भगवान शिव का स्वरूप कल्याण कारक है। रुद्राष्टाध्यायी के पांचवे अध्याय में भगवान शिव के अनेक रूप वर्णित हैं रूद्र देवता को स्थावर जंगम सर्व पदार्थ रूप, सर्व जाति मनुष्य देव पशु वनस्पति रूप मानकर के सर्व अंतर्यामी भाव एवं सर्वोत्तम भाव सिद्ध किया गया है इस भाव का ज्ञाता होकर साधक अद्वैतनिष्ठ बनता है। संदर्भ रुद्राष्टाध्यायी पृष्ठ संख्या 10 अनुक्रम • 1 शिव स्वरूप • 1.1 शिव स्वरूप सूर्य • 1.1.1 शिव पुराण • 1.2 शिव स्वरूप शंकर जी • 1.3 शिवलिंग • 2 शिव के नंदी गण • 3 शिव की अष्टमूर्ति • 4 व्यक्तित्व • 5 पूजन • 6 अनेक नाम • 7 शिवरात्रि • 8 महाशिवरात्रि • 9 शिव महापुराण • 10 कैलाश मानसरोवर • 11 इन्हें भी देखें • 12 सन्दर्भ • 13 बाहरी कड़ियाँ शिव स्वरूप शिव स्वरूप सूर्य जिस प्रकार इस ब्रह्माण्ड का ना कोई अंत है, न कोई छोर और न ही कोई शूरुआत, उसी प्रकार शिव अनादि है सम्पूर्ण ब्रह्मांड शिव के अंदर समाया हुआ है जब कुछ नहीं था तब भी शिव थे जब कुछ न होगा तब भी शिव ही होंगे। शिव को महाकाल कहा जाता है, अर्थात समय। शिव अपने इस स्वरूप द्...