2022 की धनतेरस कब है

  1. धनतेरस कब है ? धनतेरस की पूजा विधि क्या है
  2. धनतेरस 2022 कब है (Dhanteras 2022) शुभ मुहुर्त पूजा विधि क्या है?
  3. Dhanteras 2022 धनतेरस 22 या 23 अक्टूबर कब है जानिए सही तिथि और शुभ मुहूर्त
  4. Dhanteras 2022: साल 2022 में कब है धनतेरस? नोट कर लें तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व
  5. Dhanteras 2022 Date When Is Dhanteras 2022 Kab Hai Dhantrayodashi Puja Muhurt Significance


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धनतेरस कब है ? धनतेरस की पूजा विधि क्या है

इस बार आश्विन मास की अमावस्या को सूर्य ग्रहण के कारण दीपावली का पर्व 25 की जगह 24 अक्टूबर को मनाया जाएगा. धनतेरस की तिथि भी इसी मान से बदल गई है. आइए जानते हैं कब है धनतेरस का पर्व और कैसे करें कुबेरदेव को प्रसन्न। दिवाली के पांच दिवसीय पर्व की शुरुआत धनतेरस से हो रही है. इस दिन भगवान धन्वंतरि, कुबेर और यमदेव की पूजा की जाती है। कब है धनतेरस 2022: 22वें शनिवार को द्वादशी तिथि सुबह 6.02 बजे तक रहेगी, जिसके बाद त्रयोदशी शुरू होगी. त्रयोदशी अगले दिन शाम 06.03 बजे तक रहेगी। ऐसे में कुछ लोग 22 की रात को धनतेरस मनाएंगे और कुछ लोग उदयतिथि के अनुसार 23 अक्टूबर 22 रविवार को इसे मनाएंगे. कई विद्वानों के अनुसार धनतेरस 23 अक्टूबर को है और नरक चतुर्दशी भी इसी दिन होगी। और धनतेरस की पूजा विधि नीचे लिखी गयी है • भगवान् शंकर ने रावण के सौतेले भाई कुबेर को ‘धनपाल’ होने का वरदान दिया था। इसलिए कुबेर को सुख-समृद्धि का देवता माना जाता है। • देवताओं के कोषाध्यक्ष कुबेर देव की पूजा करने से धन संबंधी सभी समस्याएं भी दूर हो जाती हैं। • धनतेरस से पहले उत्तर दिशा को साफ सुथरा रखें। घर की उत्तर दिशा में भगवान कुबेर का वास होता है। कहा जाता है कि अगर • इस दिशा को वास्तु के अनुसार रखा जाए तो व्यक्ति अपार धन और संपत्ति का मालिक बन सकता है। • इसलिए उत्तर दिशा में हरे तोते का चित्र लगाने से वहां के दोष समाप्त हो जाते हैं और शुभ फल की प्राप्ति होने लगती है। • धन के देवता कुबेर के मंत्र धनतेरस से पहले कब पूजा करे • जानिए कुबेरदेव के कौन से विशेष मंत्र हैं, जिससे वे प्रसन्न होते हैं। दक्षिण की ओर मुख करके कुबेर मंत्र सिद्ध होता है। • अत्यंत दुर्लभ कुबेर मंत्र इस प्रकार है- मंत्र- ॐ श्रीं, ॐ ह्रीं श्रीं, ॐ ह...

धनतेरस 2022 कब है (Dhanteras 2022) शुभ मुहुर्त पूजा विधि क्या है?

धनतेरस 2022 (Dhanteras 2022) कब है शुभ मुहुर्त पूजा विधि क्या है? कार्तिक मास की अमावस्या तिथि से पूर्व 2 दिन पहले प्रत्येक वर्ष धनतेरस का त्यौहार मनाया जाता है। पुरानी मंतयो के अनुसार इस दिन भगवान धन्वंतरी का जन्म हुआ था। धनतेरस को दिवाली के पांच दिवसीय उत्सव की शुरुआत भी माना जाता है क्योंकि इस दिन से ही सभी घरों में दीए जलने शुरू हो जाते हैं । हिंदू लोगों में धनतेरस का त्यौहार बहुत ही उत्साह से मनाया जाता है। धनतेरस के त्यौहार को धन और समृद्धि का त्योहार माना जाता है इसीलिए धनतेरस के दिन हिंदू लोग सोना और चांदी खरीदते हैं इस दिन यह भी माना जाता है कि धातु को खरीदना बहुत ही शुभ और सौभाग्य की बात होती है। इसके इलावा जो लोग सोना चांदी नहीं खरीद सकते वह लोग पीतल या फिर स्टील के बर्तन भी खरीद लेते हैं। कुछ जगहों पर पुरानी प्रचलित परंपराओं के अनुसार धनतेरस पर कुछ भी खरीदने से उसमें 13 गुना बढ़ोतरी होती है। इस वर्ष त्रयोदशी तिथि 22 अक्टूबर को शाम 6:02 से शुरू होकर 23 शाम 6:03 बजे तक समाप्त होगी। इसी कारण से इस वर्ष धनतेरस 22 ओक्टोबर् और 23 ओक्टोबर् दोनों तरीकों को मनाया जाएगा। 22 अक्टूबर दिन शनिवार को धनतेरस की पूजा धनतेरस की पूजा का शुभ मुहूर्त का समय 7:02 से लेकर 8:18 बजे के के बीच का होगा। प्रदोष काल का समय शाम 5:46 से 8:18 बजे के बीच का होगा। इसके अलावा वृषभ काल शाम 7:02 से 8:58 बजे के बीच होगा। हम सभी जानते हैं कि धनतेरस की पूजा धनतेरस की शाम को होती है। इस दिन धन कुबेर के साथ देवी लक्ष्मी और गणेश जी की घर में पूजा की जाती है जिसमें देवी और धन कुबेर को ताजे फूल और प्रसाद चढ़ाया जाता है। इस दिन लोग अपने घरों को रंग बिरंगी रंगोलियां और लालटेन के साथ सजाते हैं और घर के बाहर ...

Dhanteras 2022 धनतेरस 22 या 23 अक्टूबर कब है जानिए सही तिथि और शुभ मुहूर्त

Dhanteras 2022: धनतेरस 22 या 23 अक्टूबर कब है? जानिए सही तिथि और शुभ मुहूर्त Dhanteras 2022 Date And Time इस साल धनतेरस का पर्व 23 अक्टूबर को मनाया जाएगा। इस दिन शुभ संयोगों के साथ शनि भी मार्गी हो रहे हैं। धनतेरस पर मां लक्ष्मी की पूजा करने के साथ खरीदारी करना शुभ माना जाता है। जानिए धनतेरस का शुभ मुहूर्त और पूजा विधि नई दिल्ली, Dhanteras 2022 Date And Time:पांच दिनों तक चलने वाला दिवाली का पर्व 23 अक्टूबर को धनतेरस के साथ शुरू हो रहा है और समापन भैया दूज के दिन हो रहा है। प्रकाश के इस उत्सव में मां लक्ष्मी, भगवान गणेश की विधिवत पूजा अर्चना की जाती है। वहीं धनतेरस के साथ मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के विभिन्न उपाय किए जाते हैं। इस साल तिथियों का दो दिनों तक होने के कारण धनतेरस की तिथि को लेकर काफी असंजस चल रहा है कि आखिर किस दिन धनतरेस का पर्व मनाना शुभ होगा। बता दें कि कार्तिक मास की त्रयोदशी तिथि 22 अक्टूबर को शाम में 6 बजकर 3 मिनट से शुरू होकर 23 अक्टूबर को शाम 6 बजकर 4 मिनट तक रहेगी। इसलिए धनतेरस 23 अक्टूबर को मनाया जा रहा है। वहीं यमदीप 22 अक्टूबर को जलाना शुभ होगा। जानिए धनतेरस का शुभ मुहूर्त। पूजन का शुभ मुहूर्त - 23 अक्टूबर 2022 को रविवार शाम 5 बजकर 44 मिनट से 6 बजकर 5 मिनट तक प्रदोष काल: शाम 5 बजकर 44 मिनट से रात 8 बजकर 16 मिनट तक। वृषभ काल: शाम 6 बजकर 58 मिनट से रात 8 बजकर 54 मिनट तक। धनतेरस पर बना रहा शुभ योग धनतेरस 2022 पर शुभ योग भी बन रहा है। इस साल 23 तारीख को शनि देव मार्गी हो रहे हैं। ऐसे में कई राशियों को लाभ मिलेगा। इसके अलावा धनतेरस के दिन सर्वार्थ सिद्धि और अमृत सिद्धि योग बन रहा है। धनतेरस का महत्व धनतेरस को धनत्रयोदशी के रूप में भी जाना जाता है। शास...

Dhanteras 2022: साल 2022 में कब है धनतेरस? नोट कर लें तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व

Dhanteras 2022 Shubh Muhurat: हिंदू धर्म में हर त्योहार अपना अलग महत्व है. दिवाली, दशहरा, धनतेरस ये कुछ ऐसे त्योहार हैं, जिनका इंतजार व्यक्ति को साल शुरु होते ही शुरू हो जाता है. दिवाली की शुरुआत धनतेरस के दिन से होती है. धनतेरस का पर्व कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि के दिन मनाया जाता है. इसी दिन से दिवाली के पांच दिवसीय पर्व की शुरुआत हो जाती है. धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरि और धन के देवता कुबेर की पूजा का विधान है. धनतेरस के पर्व का संबंध धन और समृद्धि से है. शास्त्रों के अनुसार इस दिन भगवान धन्वंतरि देव का जन्म हुआ था. इसी कारण इसे धन्वंतरि जयंती या धन त्रयोदशी के नाम से भी जाना जाता है. धनतेरस के दिन बाजार से बर्तन, सोना, चांदी आदि की खरीददारी करने का विधान है. आइए जानें साल 2022 में कब है धनतेरस और इसका शुभ मुहूर्त. ये भी पढ़ें- Diwali 2022: साल 2022 में दिवाली कब है? नोट करें लें तिथि, लक्ष्मी पूजन का टाइम और पूजन विधि धनतेरस 2022 तिथि और शुभ मुहूर्त- पंचाग के अनुसार धनतेरस का त्योहार साल 2022 में 23 अक्टूबर, रविवार के दिन पड़ रहा है. दिवाली से एक दिन पहले ही धनतेरस पर्व मनाया जाता है. इस दिन घर में पूजा कर उनके आगमन की प्रार्थना की जाती है. शास्त्रों में इस दिन खरीददारी का विशेष महत्व है. धनतेरस शुभ मुहूर्त- धनतेरस मुहूर्त - पंचाग के अनुसार धनतेरस का शुभ मुहूर्त 23 अक्टूबर की शाम 05:44 से शुरू होकर 06:05:50 तक होगा. कुल अवधि : 21 मिनट प्रदोष काल- शाम को 05 :44 मिनट से 08:16 मिनट तक. वृषभ काल- 06:58 मिनट से 08:54 मिनट तक. ये भी पढ़ें- Somvati Amavasya 2022: मई माह में है साल 2022 की आखिरी सोमवती अमावस्या, जानें तिथि और पूजन विधि धनतेरस का महत्व- मां लक्ष्...

Dhanteras 2022 Date When Is Dhanteras 2022 Kab Hai Dhantrayodashi Puja Muhurt Significance

Dhanteras 2022 Kab Hai: धनतेरस से दीपावली की शुरुआत हो जाती है. इस साल धनतेरस 23 अक्टूबर 2022 (Dhanteras 2022 date) को है. धनतेरस का पर्व कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि के दिन मनाया जाता है. इस दिन से ही पांच दिवसीय दीपावली का उत्सव शुरू हो जाता है. इस शुभ पर्व पर मां लक्ष्मी के साथ कुबेर देवता और धनवंतरी की भी पूजा का विधान है. धनतेरस सोना, चांदी, बर्तन की खरीदारी करना बेहद शुभ माना जाता है.आइए जानते हैं शुभ मुहूर्त और क्या है धनतेरस का महत्व. धनतेरस 2022 शुभ मुहूर्त (Dhanteras 2022 Shubh Muhurat) • कार्तिक माह कृष्ण पक्ष त्रयोदशी तिथि आरंभ - 22 अक्टूबर 2022, शाम 6.02 से • कार्तिक माह कृष्ण पक्ष त्रयोदशी तिथि समाप्त - 23 अक्टूबर 2022, शाम 6.03 तक • धनवंतरी देव पूजन का शुभ मुहूर्त - 23 अक्टूबर 2022 रविवार, 5.44 PM - 06.05 PM तक. • शुभ मुहूर्त की कुल अवधि - 21 मिनट • प्रदोष काल: 5.44 PM - 8.16 PM • वृषभ काल: 6.58 PM - 8.54 PM धनतेरस 2022 महत्व (Dhanteras Significance) धनत्रयोदशी के दिन भगवान धनवंतरी का जन्म हुआ था और इसीलिए इस दिन को धनतेरस के रूप में पूजा जाता है. मान्यता है कि भगवान धनवंतरी विष्णु जी के अवतार हैं.पौराणिक कथा के अनुसार भगवान धनवंतरी समुद्र मंथन से जब प्रकट हुए थे उस समय उनके हाथ में अमृत से भरा कलश था. यही वजह है कि धन तेरस के दिन बर्तन, सोना, चांदी, गहने खरीदने की परंपरा है. धनतेरस पर भगवान धनवंतरी और मां लक्ष्मी की पूजा से समृद्धि में वृद्धि होती है. इस दिन प्रदोष काल में यम देव के निमित्त दीपदान किया जाता है. मान्यता है कि ऐसा करने से अकाल मृत्यु का डर दूर हो जाता है.भगवान धनवंतरी को चिकित्सा और औषधि के देवता के रूप में भी जाना जाता है.