Bal diwas par nibandh

  1. बाल दिवस पर निबंध हिंदी में : Children's Day Essay in Hindi
  2. बाल पर दिवस निबंध
  3. Bal Diwas par Nibandh
  4. बाल दिवस पर निबंध ( सम्पूर्ण जानकारी )


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बाल दिवस पर निबंध हिंदी में : Children's Day Essay in Hindi

बाल दिवस पर निबंध : Essay on Children's Day in Hindi प्रत्येक वर्ष पूरे भारत में 14 नवंबर को बाल दिवस (Bal Diwas) बड़े हर्षोल्लास के साथ देश के सभी स्कूल और कॉलेजों में मनाया जाता है। बाल दिवस में शिक्षक और छात्र बड़े उत्सुकता से भाग लेते हैं। बाल दिवस पर बच्चों द्वारा अनेक प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। विद्यार्थी अपने अपने कक्ष को रंगबिरंगे कागजों से, गुब्बारों से सजाते हैं। छात्र अपने कक्ष के साथ साथ स्कूल को भी अनेक प्रकार के सजावटी सामान से सजा देते हैं और पाठशाला का माहौल एकदम सुंदर बना देते हैं। 14 नवंबर को बाल दिवस को भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू जी का जन्मदिन है। पंडित जवाहर लाल नेहरू जयंती पर उन्हें याद करते हुए बाल दिवस मनाया जाता है। जवाहरलाल नेहरू को बच्चों के प्रति बहुत लगाव और प्रेम था, बच्चे नेहरू जी को प्यार से चाचा कहते थे। चाचा नेहरू जयंती पर ही बाल दिवस मनाया जाता है। देश को आजाद कराने में चाचा नेहरू ने महत्वपूर्ण योगदान निभाया बाल दिवस पर चाचा नेहरू और उनके महान कार्यों को याद किया जायेगा इसके लिए कई प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन किया जायेगा जैसे नृत्य प्रदर्शन, गीत, कविता पाठ, हिंदी तथा अंग्रेजी में बाल दिवस पर भाषण, बाल दिवस पर निबंध आदि प्रतियोगिकता में बच्चे भाग भी लेते हैं। Short Essay on Children's Day in Hindi : बाल दिवस पर निबंध हिंदी में - Bal Diwas Par Nibandh Hindi Mein - Short Essay on Children's Day - Long Essay on Bal Divas बहुत ही सरल भाषा में यहां पर बच्चों के लिए बाल दिवस पर भाषण हिंदी में दिया गया है, जवाहरलाल नेहरू जयंती पर निबंध हिंदी में साधारण, सरल शब्दों में बाल दिवस पर निबंध 400 शब्दों में : Chi...

बाल पर दिवस निबंध

भारत में बाल दिवस 14 नवंबर को मनाया जाता है। यह दिन भारत के पहले प्रधान मंत्री जवाहरलाल नेहरू की जयंती के रूप में मनाया जाता है। बच्चे उन्हें प्यार से ‘चाचा नेहरू’ कहकर बुलाते थे। यह दिन देश भर के स्कूलों और विभिन्न शिक्षण संस्थानों में मनाया जाता है। इस अवसर पर विद्यार्थियों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम और प्रस्तुतियां दीं। वे अपने शिक्षकों को उपहार और कार्ड भी भेंट करते हैं। बाल दिवस पर हम बचपन की खुशियों और उज्ज्वल भविष्य के वादे का जश्न मनाते हैं। यह हमारे बच्चों को जीवन में सर्वोत्तम संभव शुरुआत देने के महत्व पर चिंतन करने का दिन है।यह हमें अपने बच्चों की रक्षा और पोषण करने की आवश्यकता की याद दिलाने का भी दिन है, ताकि वे बड़े होकर खुश, स्वस्थ और सफल वयस्क बन सकें। कई देशों में, बाल दिवस उसी दिन मनाया जाता है जिस दिन अंतर्राष्ट्रीय बाल दिवस मनाया जाता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि बच्चे किसी भी राष्ट्र का भविष्य होते हैं और उनका पालन-पोषण और देखभाल करना महत्वपूर्ण है। यह बचपन का जश्न मनाने और हर जगह बच्चों के अधिकारों को बढ़ावा देने का दिन है। इस साल बाल दिवस रविवार को पड़ रहा है, ऐसे में कई स्कूल बंद रहेंगे. हालाँकि, अभी भी जश्न मनाने के बहुत सारे तरीके हैं! Contents • • • • • • • • • बाल दिवस क्या है? कई देशों में, बाल दिवस बचपन को मनाने के लिए एक विशेष दिन है। यह आमतौर पर 1 अक्टूबर को या उसके आसपास मनाया जाता है। इस दिन, वयस्क और बच्चे समान रूप से विभिन्न गतिविधियों जैसे पार्टियों, परेड और अन्य मजेदार कार्यक्रमों का आनंद लेते हैं। बाल दिवस की उत्पत्ति का पता 1857 में लगाया जा सकता है जब ब्रिटिश डॉक्टर चार्ल्स वेस्ट ने पहली बार इस विचार का प्रस्ताव रखा था। उनका मानना था कि हर ...

Bal Diwas par Nibandh

नमस्कार दोस्तों स्वागत है हमारे वेबसाइट पर आज की पोस्ट में हमलोग Bal Diwas par Nibandh जानेंगे. जैसा कि आप जानते हैं कि हमारे देश में 14 नवंबर को बाल दिवस मनाया जाता है. इसके पीछे की वजह है कि इस दिन देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू का जन्म हुआ था और जवाहरलाल नेहरू बच्चों से बहुत ज्यादा प्यार करते थे. बच्चे उन्हें चाचा नेहरू भी कहा करते थे. इसीलिए उनके जन्मदिन के उपलक्ष्य को भारत में बाल दिवस के रुप में मनाया जाता है. अब आप Bal Diwas par Nibandh लिखने के बारे में सोच रहे हैं? लेकिन आपको समझ में नहीं आ रहा है कि निबंध की शुरुआत कैसे करें तो मैं आपसे निवेदन करूंगा कि आर्टिकल पर आखिर तक बने रहे. आखिर में हमलोग बाल दिवस पर निबंध से तो चलिए शुरू करते हैं. Table of Contents • • • • • • Bal Diwas par Nibandh | Essay on Children’s Day in Hindi [250 शब्द] Childrens पंडित जवाहरलाल नेहरू को चाचा नेहरू के रूप में क्यों जाना जाता है? पंडित जवाहरलाल नेहरू देश के प्रथम प्रधानमंत्री थे. उनको बच्चों से विशेष लगाव था. इसलिए बच्चे उन्हें चाचा नेहरू कहते हैं. चाचा नेहरू के अनुसार बच्चे देश का भविष्य होते हैं. इसलिए बच्चों का लालन पोषण अच्छी तरह से हो सके, उस दिशा में भी जवाहरलाल नेहरू ने कई काम किए थे. जिसके फलस्वरूप 1956 में इस बात का फैसला किया गया कि जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिन को भारत में बाल दिवस के रूप में मनाया जाएगा. बाल दिवस क्यों आवश्यक है? बच्चों के उज्ज्वल भविष्य को बनाने के लिये उनमें सुधार के साथ देश में बच्चों के महत्व, वास्तविक स्थिति के बारे में लोगों को जागरूक करने के लिये हर साल बाल दिवस मनाया जाना बहुत जरूरी है. इसके द्वारा लोगों के मन में जागृति लाई जाती है कि छोटे ...

बाल दिवस पर निबंध ( सम्पूर्ण जानकारी )

आज के लेख में हम बाल दिवस पर निबंध स्वरूप एक लेख प्रस्तुत कर रहे हैं। देश के बच्चों को समर्पित बाल दिवस भारत देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिन के उपलक्ष में मनाया जाता है। जिसमें आपको निबंध, बाल दिवस का महत्व, विद्यालय में हुए बाल दिवस कार्यक्रम की रिपोर्ट आदि की जानकारी मिलेगी। इसका अध्ययन आप अपने परीक्षा के लिए भी कर सकते हैं। Table of Contents • • • • • • • बाल दिवस पर निबंध बच्चे कल का भविष्य होते हैं, जिस देश में युवा की तादाद ज्यादा होती है उसे युवा देश कहा जाता है। जैसा कि हम जानते हैं आज के नन्हें बालकों के कंधों पर ही कल का भविष्य टिका रहता है। देश की उन्नति प्रगति किस प्रकार हो यह बालकों पर ही निर्भर करता है, अतः बालकों के समग्र विकास के लिए उचित शिक्षा व्यवस्था, वातावरण आदि का ध्यान रखते हुए बालकों के सर्वांगीण विकास पर ध्यान देने की आवश्यकता है। बाल दिवस जवाहरलाल नेहरू जी के जन्मदिन के उपलक्ष में मनाया जाता है। पंडित जवाहरलाल नेहरू भारत देश के प्रथम प्रधानमंत्री थे, उन्हें बालकों से विशेष लगाव था। अतः उन्होंने अपने जन्मदिन को बाल दिवस के रूप में मनाया। उनका मानना था एक व्यक्ति शरीर से उम्र से चाहे कितना भी बड़ा हो जाए उसके भीतर एक बालक का होना आवश्यक है। यही कारण है कि वह सदैव बालकों के बीच बालक ही बन जाया करते थे। वह अपनी पुत्री प्रियदर्शनी (इंदिरा गांधी) से भी बेहद प्रेम करते थे। कुछ दिनों दूर रहने पर वह अपनी पुत्री को पत्र लिखा करते थे। उनके द्वारा लिखे गए पत्र आज वात्सल्य की निशानी के तौर पर उपलब्ध है। बाल दिवस का इतिहास पंडित जवाहरलाल नेहरू का जन्म 14 नवंबर 1889 को बाल भवन इलाहाबाद में हुआ था। वह बचपन से ही एक बड़े वकील बनना चाहते थ...