Janan kise kahate hain

  1. गलनांक किसे कहते है
  2. जनन किसे कहते हैं? janan kise kahate hain
  3. जनन क्या है, जनन के प्रकार, मनुष्य जनन कैसे करते हैं, मानव जनन तंत्र (Janan kise kahate hain)


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गलनांक किसे कहते है

Table of Contents • • • Galnank Kise Kahate Hain In Hindi गलनांक किसे कहते है :- एक ऐसा ताप जिस पर ठोस पिघल जाता है और द्रव में बदल जाता है , जिस ताप पर कोई ठोस पदार्थ पिघलकर , द्रव अवस्था में बदल जाता है उस ताप को उस पदार्थ का गलनांक कहते है। जब किसी ठोस पदार्थ को गर्म किया जाता है तो इस ठोस पदार्थ के कणों की गतिज ऊर्जा में वृद्धि होने लगती है , और ठोस के कणों की गतिज ऊर्जा में वृद्धि के कारण ये कण तेजी के साथ कंपन करने लगते है। ऊष्मा के कारण ठोस के कणों को ऊर्जा प्राप्त हो जाती है जिसके कारण ये ठोस के कणों के मध्य पाए जाने वाले आकर्षण बल को पार कर जाती है और दूर दूर जाने का प्रयास करते है और इसके कारण ठोस पदार्थ के कण अपनी नियत स्थिति को छोड़कर स्वतंत्र गति करने लगते है और दूर दूर चले जाते है। सामान्यता ठोस पदार्थ के कणों के मध्य बहुत कम दूरी होती है अर्थात कण पास पास स्थित होने लगते है लेकिन ताप देने के कारण जब इन कणों में कम्पन्न बढ़ने लगता है तो ठोस पदार्थ के कणों के मध्य की दूरी भी बढ़ने लगती है। किसी ठोस पदार्थ का गलनांक वह तापमान होता है जिस पर वह अपनी ठोस अवस्था से पिघलकर द्रव अवस्था में पहुँच जाता है। गलनांक पर ठोस और द्रव प्रावस्था साम्य अवस्था में होती हैं। जब किसी पदार्थ की अवस्था द्रव से ठोस अवस्था में परिवर्तित होती है तो जिस तापमान पर यह होता है उस तापमान को हिमांक कहा जाता है। कई पदार्थों में परम शीतल होने की क्षमता होती है, इसलिए हिमांक को किसी पदार्थ की एक विशेष गुण नहीं माना जाता है। इसके विपरीत जब कोई ठोस एक निश्चित तापमान पर ठोस से द्रव अवस्था ग्रहण करता है वह तापमान उस ठोस का गलनांक कहलाता है। Barf Ka Galnank Kitna Hota Hai बर्फ का गलनांक कितना होता ...

जनन किसे कहते हैं? janan kise kahate hain

जनन की परिभाषा (Janan kya hai) प्रत्येक प्राणी अपनी जाति को बढ़ाने के लिए जनन करता है, चाहे वह मनुष्य हो, या पेड़ पौधे हो या फिर पशु पक्षी, सभी के जनन करने की तरीके अलग-अलग हैं मनुष्य बच्चों को जन्म देते हैं, तो पक्षी अंडे और पेड़-पौधे के बीज होते हैं तथा और भी अनेक प्रकार से जीव अपने अपने तरीकों से जनन करते है। $ads=

जनन क्या है, जनन के प्रकार, मनुष्य जनन कैसे करते हैं, मानव जनन तंत्र (Janan kise kahate hain)

Table of Contents • • • • • • • • • • • • • • • • मानव जनन ( Janan kise kahate hain-) Janan kise kahate hain-“जनन वह प्रक्रम है जिसके द्वारा जीव अपनी ही जैसी अन्य उर्वर संतानों की उत्पत्ति करता है और इस प्रकार अपनी संख्या में वृद्धि कर, अपनी जाति के अस्तित्व को बराबर बनाए रखकर, उसे विलुप्त होने से बचाए रखता है।” जनन से कुछ महत्त्वपूर्ण लाभ होते हैं जो निम्नलिखित हैं। आबादी में वृद्धि (Increase in population) – जातियों का अनुरक्षण (Maintenance of species) – जनन द्वारा ही जीवों की एक पीढ़ी अपनी अगली पीढ़ी को तैयार करती है एवं यह प्रक्रम प्रकृति में निरंतर चलता रहता है। इससे जीव तो मर जाता है, परंतु उसकी जाति सदैव कायम रहती है। अतः जीव-जातियाँ विलुप्त (extinct) होने से बच जाती हैं। जीवों के लाभकारी गुणों की वंशागति (Inheritance of useful characters) – जीव अपने जनकों के लाभकारी गुणों की युग्मकों (शुक्राणुओं और अंडाणुओं) द्वारा जनकों से प्राप्त कर अगली पीढ़ी की संतानों में स्थानांतरित करते हैं। इससे ये संतान अपने वातावरण से अधिक बेहतर तरीके से अनुकूलित होते हैं फलस्वरूप ये जीव बेहतर प्रकार से जीवन-यापन करते हैं। मानव जननतंत्र (Human Reproductive System hindi) मानव में जननतंत्र अन्य जंतुओं की अपेक्षा बहुत अधिक विकसित और जटिल है। मनुष्य नर जननद को वृषण या टेस्टिस (testes) कहते हैं और मादा जननद को अंडाशय या ओवरी (ovary)। साथ ही दोनों (नर और मादा) में सहायक लैंगिक अंग ( accessory sex organs) और सहायक ग्रंथियाँ (accessory glands) भी मौजूद होती हैं, जो युग्मकों के परिपक्वन, पोषण और परिवहन में सहायता करते हैं। Read More- नर-जनन अंग (Male reproductive organs in hindi) वृषण पुरुष का प्र...