पूर्णिमा कब है 2023 april

  1. Chaitra Purnima April 2023: चैत पूर्णिमा महत्व, शुभ मुहूर्त व पूजा विधि, Chaitra Purnima April 2023 Date, time, tithi, shubh muhurat, puja rituals.
  2. Purnima 2023 Date: When is Purnima in 2023 See list date from January to December
  3. Chaitra Purnima 2023: किस दिन रखा जाएगा चैत्र पूर्णिमा व्रत
  4. कब है कामदा एकादशी, हनुमान जयंती, गुड फ्राइडे, अक्षय तृतीया, ईद? देखें अप्रैल के व्रत और त्योहार
  5. chaitra Purnima April 2023 Confirm Date 5 or 6 april pooja Vidhi shubh muhurat Upay importance in hindi
  6. Guru Purnima 2023:इस साल कब है गुरु पूर्णिमा? जानें तिथि, महत्व और पूजा विधि


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Chaitra Purnima April 2023: चैत पूर्णिमा महत्व, शुभ मुहूर्त व पूजा विधि, Chaitra Purnima April 2023 Date, time, tithi, shubh muhurat, puja rituals.

Chaitra purnima 2023: चैत्र पूर्णिमा 5 या 6 अप्रैल 2023 कब? • पंचांग के अनुसार इस साल चैत्र पूर्णिमा 05 अप्रैल को सुबह 09 बजकर 19 मिनट पर शुरू होकर 6 अप्रैल को सुबह 10 बजकर 04 मिनट पर समाप्त होगी. • चैत्र पूर्णिमा का व्रत आज 5 अप्रैल रखा जाएगा लेकिन उदया तिथि के अनुसार पूर्णिमा स्नान 06 अप्रैल को किया जाएगा. • सत्यनारायण की पूजा का समय - सुबह 10.50 - दोपहर 12.24 (5 अप्रैल 2023) • चंद्रोदय समय - शाम 06.01 • मां लक्ष्मी की पूजा का समय - प्रात: 12.01 - प्रात: 12.46 (6 अप्रैल 2023) Chaitra Purnima Puja vidhi: चैत्र पूर्णिमा पूजा विधि • चैत्र पूर्णिमा व्रत वाले दिन सुबह शुभ मुहूर्त में भगवान सत्यनारायण का पूजन और कथा करें. • कथा के बाद ब्राह्मण भोजन जरुर कराएं, इससे व्रत का पूर्ण फल प्राप्त होता है. • पूर्णिमा पर तीर्थ स्नान बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है. • स्नान-पूजन के बाद जरुरतमंदों को जल से भरा कलश, मिट्‌टी की सुराई, चावल, छाता दान करें. • पूर्णिमा तिथि मां लक्ष्मी का अवतरण दिवस मानी जाती है. • चैत्र पूर्णिमा की मध्यरात्रि महालक्ष्मी के मंत्र ॐ श्रीं ल्कीं महालक्ष्मी महालक्ष्मी एह्येहि सर्व सौभाग्यं देहि मे स्वाहा।। का 108 बार जाप करना करना चाहिए.

Purnima 2023 Date: When is Purnima in 2023 See list date from January to December

Purnima 2023 Dates: हिंदू पंचांग के अनुसार, हर महीने की शुक्ल पक्ष की अंतिम तिथि को पूर्णिमा कहते हैं। इस दिन चंद्रमा अपने पूर्ण रूप में होता है। अलग-अलग जगहों पर पूर्णिमा को कई अलग तरह के नामों से जाना जाता है। कहीं इसे पौर्णिमी और कुछ जगहों को पूर्णमासी कहते हैं। पूर्णिमा के दिन कई लोग व्रत रखते हैं और सत्यनारायण की कथा व पूजा रखते हैं। वैदिक ज्योतिष में चन्द्रमा को मन का कारक माना गया है। इसलिए चंद्रमा के अपने पूरे रूप में होने की वजह से उसका असर सीधे जातक के मन पर पड़ता है। कहते हैं कि ऐसा करने सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है। पूर्णिमा तिथि हर महीने में एक बार आती है। जानें साल 2023 में कब-कब पड़ेगी पूर्णिमा तिथि- साल 2023 में कब-कब रखा जाएगा विनायक व संकष्टी चतुर्थी व्रत, देखें पूरे साल की सही तारीखें शुक्रवार, 06 जनवरी- पौष पूर्णिमा व्रत रविवार, 05 फरवरी- माघ पूर्णिमा व्रत मंगलवार, 07 मार्च- फाल्गुन पूर्णिमा व्रत गुरुवार, 06 अप्रैल- चैत्र पूर्णिमा व्रत शुक्रवार, 05 मई- वैशाख पूर्णिमा व्रत रविवार, 04 जून- ज्येष्ठ पूर्णिमा व्रत सोमवार, 03 जुलाई- आषाढ़ पूर्णिमा व्रत मंगलवार, 01 अगस्त- श्रावण पूर्णिमा व्रत (अधिक) गुरुवार, 31 अगस्त- श्रावण पूर्णिमा व्रत शुक्रवार, 29 सितंबर- भाद्रपद पूर्णिमा व्रत शनिवार, 28 अक्टूबर- अश्विन पूर्णिमा व्रत सोमवार, 27 नवंबर- कार्तिक पूर्णिमा व्रत मंगलवार, 26 दिसंबर- मार्गशीर्ष पूर्णिमा व्रत

Chaitra Purnima 2023: किस दिन रखा जाएगा चैत्र पूर्णिमा व्रत

• • Faith Hindi • Chaitra Purnima 2023: 5 या 6 अप्रैल! किस दिन रखा जाएगा चैत्र पूर्णिमा का व्रत, नोट करें पूजा का शुभ मुहूर्त Chaitra Purnima 2023: 5 या 6 अप्रैल! किस दिन रखा जाएगा चैत्र पूर्णिमा का व्रत, नोट करें पूजा का शुभ मुहूर्त Chaitra Purnima 2023: पंचांग के अनुसार चैत्र माह की पूर्णिमा और हनुमान जयंती एक ही दिन होते हैं. लेकिन पूर्णिमा के व्रत की डेट को लेकर लोगों के बीच कंफ्यूजन है. आइए जानते हैं सही डेट. चैत्र पूर्णिमा 2023 आज Chaitra Purnima 2023 Date and Timing: हिंदू पंचांग के अनुसार प्रत्येक माह के आखिरी दिन को पूर्णिमा तिथि होती है और इस दिन व्रत करने का विशेष महत्व है. फिलहाल चैत्र माह चल रहा है और इस माह आने वाली पूर्णिमा को चैत्र पूर्णिमा कहा जाता है. इसी दिन हनुमान जयंती भी मनाई जाती है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार पूर्णिमा का व्रत और स्नान-दान काफी महत्व रखता है. कहते हैं कि इस दिन व्रत रखने वाले व्यक्ति पर मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है. ( Chaitra Purnima 2023 Puja Vidhi) लेकिन इस बार चैत्र पूर्णिमा की तिथि को लेकर लोगों के मन में काफी कंफ्यूजन है. यहां हम आपकी इसी कंफ्यूजन को दूर करेंगे. आइए जानते हैं किस दिन रखा जाएगा चैत्र पूर्णिमा का व्रत और पूजा का शुभ मुहूर्त. Also Read: • • • 5 या 6 अप्रैल, कब है चैत्र पूर्णिमा? हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि 5 अप्रैल को सुबह 9 बजकर 19 मिनट पर शुरू होगी और इसका समापन अगले दिन 6 अप्रैल को सुबह 10 बजकर 4 मिनट पर होगा. वैसे तो व्रत उदयातिथि के अनुसार रखा जाता है. लेकिन इस बार 5 अप्रैल को पूर्णिमा तिथि अधिक समय तक रहेगी और इसलिए 5 अप्रैल को ही चैत्र पूर्णिमा का व्रत रखना शुभ है. लेकिन यहां स्पष्ट...

कब है कामदा एकादशी, हनुमान जयंती, गुड फ्राइडे, अक्षय तृतीया, ईद? देखें अप्रैल के व्रत और त्योहार

वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को अक्षय तृतीया मनाई जाती है. चैत्र पूर्णिमा तिथि को हनुमान जी का जन्म हुआ था. गुड फ्राइडे को ईसाई लोग ईसा मसीह को याद करते हैं. अप्रैल 2023 की शुरुआत होने वाली है. पूजा पाठ की दृष्टि से देखें तो यह माह काफी महत्वपूर्ण हैं. अप्रैल में हिंदू धर्म के साथ मुस्लिम और ईसाई धर्म के भी त्योहार आने वाले हैं. अप्रैल में कामदा एकादशी, हनुमान जयंती, गुड फ्राइडे, अक्षय तृतीया, ईद, शिवरात्रि, प्रदोष, आमवस्या और पूर्णिमा जैसे व्रत और त्योहार आने वाले हैं. अप्रैल में सूर्य की मेष संक्रांति है. सूर्य के मेष राशि में प्रवेश करने से नया सौर वर्ष प्रारंभ होगा. श्री कल्लाजी वैदिक विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभागाध्यक्ष डॉ. मृत्युञ्जय तिवारी से जानते हैं अप्रैल के प्रमुख व्रत और त्योहार. अप्रैल 2023 व्रत और त्योहार 1 अप्रैल, दिन: शनिवार: कामदा एकादशी 3 अप्रैल, दिन: सोमवार: सोम प्रदोष व्रत 4 अप्रैल, दिन: मंगलवार: महावीर जयंती 6 अप्रैल, दिन: गुरुवार: हनुमान जयंती, चैत्र पूर्णिमा स्नान दान 7 अप्रैल, दिन: शुक्रवार: गुड फ्राइडे, वैशाख माह प्रारंभ 9 अप्रैल, दिन: रविवार: वैशाख संकष्टी चतुर्थी 14 अप्रैल, दिन: शुक्रवार: मेष संक्रांति, सूर्य गोचर 16 अप्रैल, दिन: रविवार: बरूथिनी एकादशी 17 अप्रैल, दिन: सोमवार: सोम प्रदोष व्रत 18 अप्रैल, दिन: मंगलवार: मासिक शिवरात्रि यह भी पढ़ें: कब है हनुमान जयंती? शुभ-उत्तम मुहूर्त में करें बजरंगबली की पूजा, पूरे परिवार की होगी उन्नति 20 अप्रैल, दिन: गुरुवार: वैशाख अमावस्या 22 अप्रैल, दिन: शनिवार: परशुराम जयंती, ईद 23 अप्रैल, दिन: रविवार: अक्षय तृतीया, वैशाख विनायक चतुर्थी 29 अप्रैल, दिन: शनिवार: सीता नवमी हनुमान जयंती 2023: 6 अप्रैल ...

chaitra Purnima April 2023 Confirm Date 5 or 6 april pooja Vidhi shubh muhurat Upay importance in hindi

chaitra Purnima April 2023 Confirm Date 5 or 6 april pooja Vidhi shubh muhurat Upay importance in hindi | Chaitra Purnima 2023 Confirm Date: 5 या 6 अप्रैल कब है चैत्र पूर्णिमा, इन उपायों से मां लक्ष्मी की बरसेगी विशेष कृपा | Hindi News, Uttar Pradesh Chaitra Purnima 2023 Confirm Date: 5 या 6 अप्रैल कब है चैत्र पूर्णिमा, इन उपायों से मां लक्ष्मी की बरसेगी विशेष कृपा Chaitra Purnima 2023 Confirm Date: चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि का हिंदू धर्म में खास महत्व होता है. हिंदू कैलेंडर के मुताबिक यह साल की पहली पूर्णिमा होती है, जिसे हनुमान जयंती के रूप में भी मनाया जाता है. इस दिन स्नान-दान के साथ ही सत्यनारायण भगवान के साथ ही हनुमान जी की पूजा की जाती है. मान्यता है कि ऐसा करने से सुख-समृद्धि आती है. इस बार चैत्र पूर्णिमा कब है, इसको लेकर कुछ लोगों में कंफ्यूजन है. जानिए इसकी सही डेट, पूजा विधि, शुभ मुहूर्त और उपाय क्या हैं. 5 या 6 अप्रैल? कब है चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि (chaitra Purnima 2023 Confirm Date) इस साल चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि 5 अप्रैल या 6 अप्रैल को मनाई जाएगी. इसको लेकर कई लोगों के मन में कंफ्यूजन है. बता दें कि हिंदू पंचांग के मुताबिक 5 अप्रैल सुबह 9 बजकर 19 मिनट पर चैत्र पूर्णिमा तिथि शुरू होगी जो 6 अप्रैल सुबह 10 बजकर 04 मिनट तक रहेगी. 5 अप्रैल को ही पूर्णिमा तिथि का ज्यादा समय रहेगा, ऐसे में इस दिन व्रत रखना बेहतर रहेगा. वहीं उदयातिथि के अनुसार 6 अप्रैल को स्नान-दान किया जाएगा. इसी दिन हनुमान जयंती भी है. चैत्र पूर्णिमा पूजा विधि (chaitra Purnima 2023 pooja Vidhi) - सुबह सूर्योदय से पहले उठकर स्नान करें. - इसके बाद सूर्य मंत्रों का जाप कर सूर्य देव की उपासना कर...

Guru Purnima 2023:इस साल कब है गुरु पूर्णिमा? जानें तिथि, महत्व और पूजा विधि

Guru Purnima 2023 Date, Puja Muhurat, Importance : आषाढ़ माह की पूर्णिमा को गुरु पूर्णिमा के नाम से जाना जाता है। इसी दिन महर्षि वेद व्यास जी का जन्म हुआ था। गुरु पूर्णिमा को वेदव्यास पूर्णिमा भी कहा जाता है। महर्षि वेद व्यास जी ने ही पहली बार मानव जाति को चारों वेदों का ज्ञान दिया था, इसलिए महर्षि वेदव्यास जी को प्रथम गुरु माना जाता है। हिंदू धर्म में गुरु को भगवान से भी श्रेष्ठ माना जाता है, क्योंकि गुरु ही भगवान के बारे में बताते हैं और भगवान की भक्ति का मार्ग दिखाते हैं। ऐसे में प्रत्येक वर्ष आषाढ़ माह की पूर्णिमा तिथि को आषाढ़ पूर्णिमा, व्यास पूर्णिमा और गुरु पूर्णिमा के तौर पर बड़े ही उत्साह और श्रद्धा के साथ मनाया जाता है। चलिए जानते हैं इस साल गुरु पूर्णिमा की तिथि, शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि... गुरु पूर्णिमा पूजा विधि • गुरु पूर्णिमा वाले दिन गुरु की पूजा की जानी चाहिए। • इस दिन सुबह सबसे पहले स्नानादि के बाद साफ कपड़े पहनें। • फिर अपने घर के पूजा स्थल में लगे देवी-देवताओं की प्रतिमा को प्रणाम करते हुए उनकी विधिवत रूप से पूजा-अर्चना करें। • इसके बाद पूजा स्थल पर रखें अपने गुरु की तस्वीर को माला फूल अर्पित कर उनका तिलक करें। • पूजन के बाद अपने गुरु के घर जाकर उनका पैर छूकर आशीर्वाद जरूर लें। Disclaimer हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर और व्यक्तिगत अनुभव प्रदान कर सकें और लक्षित विज्ञापन पेश कर सकें। अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्...