आगमन


आज वारिस शाह से कहती हूँ अपनी कब्र में से बोलो और इश्क की किताब का कोई नया वर्क खोलो पंजाब की एक बेटी रोई थी तूने एक लंबी दास्तान लिखी आज लाखों बेटियाँ रो.