श्री सत्य साईं यूनिवर्सिटी भोपाल

  1. श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय
  2. भारत में विश्वविद्यालयों की सूची
  3. Tarikh Story of Sathya sai baba, godman or a fraud
  4. श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय
  5. Tarikh Story of Sathya sai baba, godman or a fraud
  6. भारत में विश्वविद्यालयों की सूची
  7. Tarikh Story of Sathya sai baba, godman or a fraud
  8. भारत में विश्वविद्यालयों की सूची
  9. श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय


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श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय

23 नवंबर जन्मदिन है उस विशिष्ट शख्स का, जो जीवन भर रहस्यों से घिरा रहा, शख्स जो चमत्कारों से चौंकाता रहा, शख्स, जिसके सेवा कार्यों का देश-विदेश में विशाल साम्राज्य स्थापित है। करोड़ों लोगों के लिए ईश्वर का साक्षात अवतार रहें श्री सत्य साईं बाबा को 24 अप्रैल सन् 2011को नहीं बचाया जा सका था। लगभग 40 हजार करोड़ की (घोषित) संपत्ति के मालिक श्री सत्य साईं बाबा का नाम दुनिया के किसी भी कोने में अपरिचित नहीं है। आज विश्व के 148 देशों में सत्य साईं केंद्र स्थापित हैं। भारत में सभी प्रदेशों के लगभग सभी शहरों व गाँवों तक में साईं संगठन हैं। जहाँ साईं भक्त श्री सत्य साईं बाबा के आध्यात्मिक नियमों का पालन करते हुए बाबा के आध्यात्मिक संदेशों का प्रसार कर रहे हैं। श्री सत्य साईं बाबा के पूरे विश्व भर में करोड़ों की संख्या में अनुयायी हैं जिनमें राजनीतिज्ञ, बड़े औद्योगिक घराने, कलाकार, बुद्धिजीवी आदि शामिल हैं। श्री सत्य साईं का जन्म 23 नवंबर 1926 सोमवार कार्तिक मास, अक्षय वर्ष आद्रा नक्षत्र में, पूर्णिमा के बाद तृतीय तिथि ब्रह्म मुहूर्त में हुआ था। वे आंध्र प्रदेश के जिले अनंतपुर के अति दूरस्थ अल्पविकसित गाँव पुट्टपर्ती के श्री पेदू वेंकप्पाराजू एवं माँ ईश्वराम्मा की आठवीं संतान थे। जिस क्षण नवजात श्री सत्य ने जन्म लिया, उस समय घर में रखे सभी वाद्ययंत्र स्वत: बजने लगे और एक रहस्यमय नाग बिस्तर के नीचे से फन निकालकर छाया करता पाया गया। सत्यनारायण भगवान की पूजा का प्रसाद ग्रहण करने के पश्चात शिशु का जन्म हुआ था, इसलिए शिशु का नाम सत्यनारायण रखा गया। श्री सत्यनारायण (सत्या) की प्रारंभिक शिक्षा पुट्टपर्ती के प्राइमरी स्कूल में हुई थी। आठ वर्ष की अल्प आयु से ही सत्या ने सुंदर भजनों की रचना शु...

भारत में विश्वविद्यालयों की सूची

अनुक्रम • 1 राज्यानुसार विश्वविद्यालय • 1.1 आंध्र प्रदेश • 1.2 अरुणाचल प्रदेश • 1.3 असम • 1.4 बिहार • 1.5 चंडीगढ़ • 1.6 छत्तीसगढ़ • 1.7 दिल्ली • 1.8 गुजरात • 1.9 हिमाचल प्रदेश • 1.10 हरियाणा • 1.11 जम्मू और कश्मीर • 1.12 झारखंड • 1.13 कर्नाटक • 1.14 केरल • 1.15 मध्यप्रदेश • 1.16 महाराष्ट्र • 1.17 मणिपुर • 1.18 मेघालय • 1.19 मिज़ोरम • 1.20 नागालैंड • 1.21 उड़ीसा • 1.22 पांडिचेरी • 1.23 पंजाब • 1.24 राजस्थान • 1.25 तमिल नाडु • 1.26 तेलंगाना • 1.27 त्रिपुरा • 1.28 उत्तर प्रदेश • 1.29 उत्तराखंड • 1.30 पश्चिम बंगाल • 2 सन्दर्भ • 3 इन्हें भी देखें • 4 बाहरी कड़ियाँ राज्यानुसार विश्वविद्यालय [ ] [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • भक्त कवि नरसिंह मेहता विश्वविद्यालय, [ ] • • • • • • • इटर्नल विश्वविद्यालय, बारू साहिब, जिला.सिरमोर [ ] • • भगत फूल सिंह महिला विश्वविद्यालय • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट बेंगलूर, बेंगलूर • • • • • • • • • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • ● • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • [ ] • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • [ ] यूनिवर्सिटी ऑफ़ कोटा , कोटा • • कृषि विश्...

Tarikh Story of Sathya sai baba, godman or a fraud

एक किस्सा से शुरुआत करते हैं. मशहूर जादूगर पीसी सरकार(P.C. Sorcar) कई महीनों तक श्री सत्य साईं बाबा(Sathya Sai Baba) से मिलने की फिराक में थे. उन्होंने मीटिंग के लिए कई अर्जियां दीं. लेकिन सभी अर्जियां रिजेक्ट हो गईं. तब पी सी सरकार ने एक तरकीब निकाली. उन्होंने खुद को बंगाल के एक बड़े व्यापारी का बेटा बताया और बाबा से मिलने पहुंच गए. बाबा ने अंदर बुलाया. मुलाक़ात के बाद पीसी सरकार ने बाबा से आशीर्वाद मांगा. बाबा एक कमरे में गए. और दो मिनट बाद लौटे. इसके बाद उन्होंने अपना हाथ हवा में घुमाया और सन्देश मिठाई का एक टुकड़ा पीसी सरकार के हाथ में थमा दिया. पीसी सरकार बोले, ‘बाबा मुझे संदेश नहीं, रसगुल्ला पसंद है.’ इसके बाद पीसी सरकार ने बिलकुल बाबा की माफिक हाथ हवा में घुमाया और सन्देश को रसगुल्ले में बदल दिया. इस बात से सत्य साईं इतने नाराज़ हुए कि पीसी सरकार को आश्रम से बाहर निकाल दिया गया. श्री सत्य साईं बाबा से जुड़ी ये कहानी अब किंवदंतियों का हिस्सा है. लेकिन इसके बरअक्स ऐसी भी हजारों कहानियां हैं, जिनमें बाबा के भक्त बताते हैं कि कैसे बाबा के चमत्कार से उनकी बीमारियां ठीक हो गई. तो क्या है रत्नाकरम सत्यनारायण राजू, उर्फ़ सत्य साईं बाबा की असली कहानी? यहां पढ़ें-ग्वालियर किले के तहखाने में छुपे ख़ज़ाने का राज! शिरडी के साईं बाबा का दूसरा अवतार सत्य साईं बाबा की पैदाइश 23 नवंबर, 1926 को पुट्टपर्ति नाम के एक गांव में हुई थी, जो तब मद्रास प्रेसिडेंसी के अंदर आता था. सत्यनारायण राजू, सत्य साईं बाबा कैसे बने, इसको लेकर उनके भक्त एक कहानी बताते हैं. 8 मार्च, 1940 की तारीख थी जब सत्यनारायण राजू को अपने अवतार होने का अहसास हुआ. हुआ यूं कि जब उनकी उम्र 14 साल थी, उन्हें एक बिच्छू ने डंक मार ...

श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय

23 नवंबर जन्मदिन है उस विशिष्ट शख्स का, जो जीवन भर रहस्यों से घिरा रहा, शख्स जो चमत्कारों से चौंकाता रहा, शख्स, जिसके सेवा कार्यों का देश-विदेश में विशाल साम्राज्य स्थापित है। करोड़ों लोगों के लिए ईश्वर का साक्षात अवतार रहें श्री सत्य साईं बाबा को 24 अप्रैल सन् 2011को नहीं बचाया जा सका था। लगभग 40 हजार करोड़ की (घोषित) संपत्ति के मालिक श्री सत्य साईं बाबा का नाम दुनिया के किसी भी कोने में अपरिचित नहीं है। आज विश्व के 148 देशों में सत्य साईं केंद्र स्थापित हैं। भारत में सभी प्रदेशों के लगभग सभी शहरों व गाँवों तक में साईं संगठन हैं। जहाँ साईं भक्त श्री सत्य साईं बाबा के आध्यात्मिक नियमों का पालन करते हुए बाबा के आध्यात्मिक संदेशों का प्रसार कर रहे हैं। श्री सत्य साईं बाबा के पूरे विश्व भर में करोड़ों की संख्या में अनुयायी हैं जिनमें राजनीतिज्ञ, बड़े औद्योगिक घराने, कलाकार, बुद्धिजीवी आदि शामिल हैं। श्री सत्य साईं का जन्म 23 नवंबर 1926 सोमवार कार्तिक मास, अक्षय वर्ष आद्रा नक्षत्र में, पूर्णिमा के बाद तृतीय तिथि ब्रह्म मुहूर्त में हुआ था। वे आंध्र प्रदेश के जिले अनंतपुर के अति दूरस्थ अल्पविकसित गाँव पुट्टपर्ती के श्री पेदू वेंकप्पाराजू एवं माँ ईश्वराम्मा की आठवीं संतान थे। जिस क्षण नवजात श्री सत्य ने जन्म लिया, उस समय घर में रखे सभी वाद्ययंत्र स्वत: बजने लगे और एक रहस्यमय नाग बिस्तर के नीचे से फन निकालकर छाया करता पाया गया। सत्यनारायण भगवान की पूजा का प्रसाद ग्रहण करने के पश्चात शिशु का जन्म हुआ था, इसलिए शिशु का नाम सत्यनारायण रखा गया। श्री सत्यनारायण (सत्या) की प्रारंभिक शिक्षा पुट्टपर्ती के प्राइमरी स्कूल में हुई थी। आठ वर्ष की अल्प आयु से ही सत्या ने सुंदर भजनों की रचना शु...

Tarikh Story of Sathya sai baba, godman or a fraud

एक किस्सा से शुरुआत करते हैं. मशहूर जादूगर पीसी सरकार(P.C. Sorcar) कई महीनों तक श्री सत्य साईं बाबा(Sathya Sai Baba) से मिलने की फिराक में थे. उन्होंने मीटिंग के लिए कई अर्जियां दीं. लेकिन सभी अर्जियां रिजेक्ट हो गईं. तब पी सी सरकार ने एक तरकीब निकाली. उन्होंने खुद को बंगाल के एक बड़े व्यापारी का बेटा बताया और बाबा से मिलने पहुंच गए. बाबा ने अंदर बुलाया. मुलाक़ात के बाद पीसी सरकार ने बाबा से आशीर्वाद मांगा. बाबा एक कमरे में गए. और दो मिनट बाद लौटे. इसके बाद उन्होंने अपना हाथ हवा में घुमाया और सन्देश मिठाई का एक टुकड़ा पीसी सरकार के हाथ में थमा दिया. पीसी सरकार बोले, ‘बाबा मुझे संदेश नहीं, रसगुल्ला पसंद है.’ इसके बाद पीसी सरकार ने बिलकुल बाबा की माफिक हाथ हवा में घुमाया और सन्देश को रसगुल्ले में बदल दिया. इस बात से सत्य साईं इतने नाराज़ हुए कि पीसी सरकार को आश्रम से बाहर निकाल दिया गया. श्री सत्य साईं बाबा से जुड़ी ये कहानी अब किंवदंतियों का हिस्सा है. लेकिन इसके बरअक्स ऐसी भी हजारों कहानियां हैं, जिनमें बाबा के भक्त बताते हैं कि कैसे बाबा के चमत्कार से उनकी बीमारियां ठीक हो गई. तो क्या है रत्नाकरम सत्यनारायण राजू, उर्फ़ सत्य साईं बाबा की असली कहानी? यहां पढ़ें-ग्वालियर किले के तहखाने में छुपे ख़ज़ाने का राज! शिरडी के साईं बाबा का दूसरा अवतार सत्य साईं बाबा की पैदाइश 23 नवंबर, 1926 को पुट्टपर्ति नाम के एक गांव में हुई थी, जो तब मद्रास प्रेसिडेंसी के अंदर आता था. सत्यनारायण राजू, सत्य साईं बाबा कैसे बने, इसको लेकर उनके भक्त एक कहानी बताते हैं. 8 मार्च, 1940 की तारीख थी जब सत्यनारायण राजू को अपने अवतार होने का अहसास हुआ. हुआ यूं कि जब उनकी उम्र 14 साल थी, उन्हें एक बिच्छू ने डंक मार ...

भारत में विश्वविद्यालयों की सूची

अनुक्रम • 1 राज्यानुसार विश्वविद्यालय • 1.1 आंध्र प्रदेश • 1.2 अरुणाचल प्रदेश • 1.3 असम • 1.4 बिहार • 1.5 चंडीगढ़ • 1.6 छत्तीसगढ़ • 1.7 दिल्ली • 1.8 गुजरात • 1.9 हिमाचल प्रदेश • 1.10 हरियाणा • 1.11 जम्मू और कश्मीर • 1.12 झारखंड • 1.13 कर्नाटक • 1.14 केरल • 1.15 मध्यप्रदेश • 1.16 महाराष्ट्र • 1.17 मणिपुर • 1.18 मेघालय • 1.19 मिज़ोरम • 1.20 नागालैंड • 1.21 उड़ीसा • 1.22 पांडिचेरी • 1.23 पंजाब • 1.24 राजस्थान • 1.25 तमिल नाडु • 1.26 तेलंगाना • 1.27 त्रिपुरा • 1.28 उत्तर प्रदेश • 1.29 उत्तराखंड • 1.30 पश्चिम बंगाल • 2 सन्दर्भ • 3 इन्हें भी देखें • 4 बाहरी कड़ियाँ राज्यानुसार विश्वविद्यालय [ ] [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • भक्त कवि नरसिंह मेहता विश्वविद्यालय, [ ] • • • • • • • इटर्नल विश्वविद्यालय, बारू साहिब, जिला.सिरमोर [ ] • • भगत फूल सिंह महिला विश्वविद्यालय • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट बेंगलूर, बेंगलूर • • • • • • • • • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • ● • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • [ ] • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • [ ] यूनिवर्सिटी ऑफ़ कोटा , कोटा • • कृषि विश्...

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एक किस्सा से शुरुआत करते हैं. मशहूर जादूगर पीसी सरकार(P.C. Sorcar) कई महीनों तक श्री सत्य साईं बाबा(Sathya Sai Baba) से मिलने की फिराक में थे. उन्होंने मीटिंग के लिए कई अर्जियां दीं. लेकिन सभी अर्जियां रिजेक्ट हो गईं. तब पी सी सरकार ने एक तरकीब निकाली. उन्होंने खुद को बंगाल के एक बड़े व्यापारी का बेटा बताया और बाबा से मिलने पहुंच गए. बाबा ने अंदर बुलाया. मुलाक़ात के बाद पीसी सरकार ने बाबा से आशीर्वाद मांगा. बाबा एक कमरे में गए. और दो मिनट बाद लौटे. इसके बाद उन्होंने अपना हाथ हवा में घुमाया और सन्देश मिठाई का एक टुकड़ा पीसी सरकार के हाथ में थमा दिया. पीसी सरकार बोले, ‘बाबा मुझे संदेश नहीं, रसगुल्ला पसंद है.’ इसके बाद पीसी सरकार ने बिलकुल बाबा की माफिक हाथ हवा में घुमाया और सन्देश को रसगुल्ले में बदल दिया. इस बात से सत्य साईं इतने नाराज़ हुए कि पीसी सरकार को आश्रम से बाहर निकाल दिया गया. श्री सत्य साईं बाबा से जुड़ी ये कहानी अब किंवदंतियों का हिस्सा है. लेकिन इसके बरअक्स ऐसी भी हजारों कहानियां हैं, जिनमें बाबा के भक्त बताते हैं कि कैसे बाबा के चमत्कार से उनकी बीमारियां ठीक हो गई. तो क्या है रत्नाकरम सत्यनारायण राजू, उर्फ़ सत्य साईं बाबा की असली कहानी? यहां पढ़ें-ग्वालियर किले के तहखाने में छुपे ख़ज़ाने का राज! शिरडी के साईं बाबा का दूसरा अवतार सत्य साईं बाबा की पैदाइश 23 नवंबर, 1926 को पुट्टपर्ति नाम के एक गांव में हुई थी, जो तब मद्रास प्रेसिडेंसी के अंदर आता था. सत्यनारायण राजू, सत्य साईं बाबा कैसे बने, इसको लेकर उनके भक्त एक कहानी बताते हैं. 8 मार्च, 1940 की तारीख थी जब सत्यनारायण राजू को अपने अवतार होने का अहसास हुआ. हुआ यूं कि जब उनकी उम्र 14 साल थी, उन्हें एक बिच्छू ने डंक मार ...

भारत में विश्वविद्यालयों की सूची

अनुक्रम • 1 राज्यानुसार विश्वविद्यालय • 1.1 आंध्र प्रदेश • 1.2 अरुणाचल प्रदेश • 1.3 असम • 1.4 बिहार • 1.5 चंडीगढ़ • 1.6 छत्तीसगढ़ • 1.7 दिल्ली • 1.8 गुजरात • 1.9 हिमाचल प्रदेश • 1.10 हरियाणा • 1.11 जम्मू और कश्मीर • 1.12 झारखंड • 1.13 कर्नाटक • 1.14 केरल • 1.15 मध्यप्रदेश • 1.16 महाराष्ट्र • 1.17 मणिपुर • 1.18 मेघालय • 1.19 मिज़ोरम • 1.20 नागालैंड • 1.21 उड़ीसा • 1.22 पांडिचेरी • 1.23 पंजाब • 1.24 राजस्थान • 1.25 तमिल नाडु • 1.26 तेलंगाना • 1.27 त्रिपुरा • 1.28 उत्तर प्रदेश • 1.29 उत्तराखंड • 1.30 पश्चिम बंगाल • 2 सन्दर्भ • 3 इन्हें भी देखें • 4 बाहरी कड़ियाँ राज्यानुसार विश्वविद्यालय [ ] [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • [ ] • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • भक्त कवि नरसिंह मेहता विश्वविद्यालय, [ ] • • • • • • • इटर्नल विश्वविद्यालय, बारू साहिब, जिला.सिरमोर [ ] • • भगत फूल सिंह महिला विश्वविद्यालय • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • • • [ ] • • • • • • इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट बेंगलूर, बेंगलूर • • • • • • • • • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • • • [ ] • • • • • • • • • • राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान • • • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • ● • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • [ ] • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • • • • • • • [ ] • • [ ] • • • • • • • • • • • • [ ] यूनिवर्सिटी ऑफ़ कोटा , कोटा • • कृषि विश्...

श्री सत्य साईं बाबा : चमत्कार, आध्यात्म और सेवा के पर्याय

23 नवंबर जन्मदिन है उस विशिष्ट शख्स का, जो जीवन भर रहस्यों से घिरा रहा, शख्स जो चमत्कारों से चौंकाता रहा, शख्स, जिसके सेवा कार्यों का देश-विदेश में विशाल साम्राज्य स्थापित है। करोड़ों लोगों के लिए ईश्वर का साक्षात अवतार रहें श्री सत्य साईं बाबा को 24 अप्रैल सन् 2011को नहीं बचाया जा सका था। लगभग 40 हजार करोड़ की (घोषित) संपत्ति के मालिक श्री सत्य साईं बाबा का नाम दुनिया के किसी भी कोने में अपरिचित नहीं है। आज विश्व के 148 देशों में सत्य साईं केंद्र स्थापित हैं। भारत में सभी प्रदेशों के लगभग सभी शहरों व गाँवों तक में साईं संगठन हैं। जहाँ साईं भक्त श्री सत्य साईं बाबा के आध्यात्मिक नियमों का पालन करते हुए बाबा के आध्यात्मिक संदेशों का प्रसार कर रहे हैं। श्री सत्य साईं बाबा के पूरे विश्व भर में करोड़ों की संख्या में अनुयायी हैं जिनमें राजनीतिज्ञ, बड़े औद्योगिक घराने, कलाकार, बुद्धिजीवी आदि शामिल हैं। श्री सत्य साईं का जन्म 23 नवंबर 1926 सोमवार कार्तिक मास, अक्षय वर्ष आद्रा नक्षत्र में, पूर्णिमा के बाद तृतीय तिथि ब्रह्म मुहूर्त में हुआ था। वे आंध्र प्रदेश के जिले अनंतपुर के अति दूरस्थ अल्पविकसित गाँव पुट्टपर्ती के श्री पेदू वेंकप्पाराजू एवं माँ ईश्वराम्मा की आठवीं संतान थे। जिस क्षण नवजात श्री सत्य ने जन्म लिया, उस समय घर में रखे सभी वाद्ययंत्र स्वत: बजने लगे और एक रहस्यमय नाग बिस्तर के नीचे से फन निकालकर छाया करता पाया गया। सत्यनारायण भगवान की पूजा का प्रसाद ग्रहण करने के पश्चात शिशु का जन्म हुआ था, इसलिए शिशु का नाम सत्यनारायण रखा गया। श्री सत्यनारायण (सत्या) की प्रारंभिक शिक्षा पुट्टपर्ती के प्राइमरी स्कूल में हुई थी। आठ वर्ष की अल्प आयु से ही सत्या ने सुंदर भजनों की रचना शु...