Thyroid symptoms in female in hindi

  1. 11 thyroid symptoms in hindi
  2. Thyroid Symptoms In Women In Hindi , महिलाओं में थायराइड के लक्षण
  3. Thyroid Cancer
  4. थायराइड के लक्षण, कारण, इलाज, दवा, उपचार
  5. हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण, कारण, उपचार, दवा, इलाज
  6. थायराइड रोग में सपने में भी न खाएं ये आहार
  7. कम थायराइड बनना (Hypothyroidism): लक्षण, कारण और उपचार


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11 thyroid symptoms in hindi

पुरुषों में थायराइड गर्दन के सामने तितली के आकार की ग्रंथि होती है। यह थायराइड हार्मोन को स्रावित करता है, जो शरीर के कई महत्वपूर्ण कार्यों को विनियमित करने के लिए जिम्मेदार होते हैं। जबकि पुरुषों और गले में थायराइड के लक्षण की अधिक जानकारी के लिए पढ़ें। Thyroid Symptoms In Hindi 1. थायराइड के लक्षण और उपचार (Thyroid symptoms and treatment) 2. थायराइड के प्रकार (types of thyroid in Hindi) थायरॉइड के निमलिखित दो प्रकार है हाइपरथायराइडिज्म और हाइपोथायराइडिज्म। 3. थायराइड क्या है पुरुषों में कैसे होता है? (What is thyroid, how does it happen in men in Hindi?) पुरुषों में, थायरॉइड ग्रंथि एडम के सेब के ठीक नीचे गर्दन में स्थित एक छोटी, तितली के आकार की ग्रंथि होती है। यह अंतःस्रावी तंत्र का एक अनिवार्य हिस्सा है, जो हार्मोन पैदा करता है जो शरीर में चयापचय, हृदय गति और अन्य महत्वपूर्ण कार्यों को नियंत्रित करता है। थायरॉयड ग्रंथि दो मुख्य हार्मोन उत्पन्न करती है: थायरोक्सिन (जिसे टी4 भी कहा जाता है) और ट्राईआयोडोथायरोनिन (जिसे टी3 भी कहा जाता है)। ये हार्मोन शरीर के चयापचय को रेगुलेटर करने में मदद करते हैं, इस प्रक्रिया द्वारा शरीर भोजन को ऊर्जा में परिवर्तित करता है। थायरॉयड ग्रंथि भी कैल्सीटोनिन का उत्पादन करती है, यह हार्मोन जो शरीर में कैल्शियम के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। पुरुषों में, महिलाओं की तरह, थायरॉयड ग्रंथि कभी-कभी ज्यादा सक्रिय या कम सक्रिय हो सकती है, जिससे शरीर में चयापचय और अन्य कार्यों में समस्या हो सकती है। उदाहरण के लिए, एक ज्यादा सक्रिय थायरॉयड (जिसे हाइपरथायरायडिज्म भी कहा जाता है) वजन घटाने, तेजी से हृदय गति, कंपकंपी और चिंता जैसे लक्षण पैदा क...

Thyroid Symptoms In Women In Hindi , महिलाओं में थायराइड के लक्षण

महिलाओं में थायराइड के लक्षण। Thyroid in hindi थायराइड आजकल महिलाओं में होने वाला एक गंभीर रोग बन गया है जिसकी वजह से महिलाओं को बहुत सारी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है थायराइड हमारी गले मे पाई जाने वाली एक बड़ी ग्रंथि होती है जो अंतः स्रावी तंत्र का हिस्सा भी मानी जाती है थायराइड ग्रंथि का नियंत्रण TSH हारमोंस के द्वारा किया जाता है और यह मानव के विकास को भी नियंत्रित करती है तथा मानव की उम्र बढ़ाने वाले कारक भी इसके द्वारा स्रावित किए जाते हैं इसके द्वारा स्रावित हार्मोन मानव के पेट में चयापचय का नियंत्रण भी करते हैं अर्थात यह ग्रंथि आपकी पाचन क्रिया में भी हिस्सा लेती है। Symptoms of Thyroid in Wemens in hindi तो आइए जानते हैं कि महिलाओं में थायराइड होने के क्या क्या लक्षण होते हैं क्योंकि महिलाओं को जल्दी से इस रोग का पता चलने नहीं पाता है और भी जब इस रोग से पूर्ण रूप से ग्रस्त हो जाती हैं तभी वह डॉक्टर के पास इलाज के लिए जाती है। दरअसल थायराइड दो प्रकार का होता है पहला हाइपो थायराइड तथा दूसरा हाइपर थायराइड इनमें से महिलाओं को सर्वाधिक रूप से प्रभावित करने वाला थायराइड हाइपर थायराइड के नाम से जाना जाता है और इसके लक्षण निम्नलिखित हो सकते हैं महिलाओं में Hyperthyroidism के निम्न लक्षण शामिल हो सकते हैं। • *वजन घटना • *गर्मी सहन न कर पाना • *बार-बार मल त्याग करना • *कपकपाहट/झटके • *घबराहट और चिड़चिड़ापन • *थायरॉइड ग्रंथि का बढ़ जाना • *अनिद्रा • *थकान • *माँसपेशियों में कमजोरी आना • *चिंता विकार • *पेट झड़ना यदि निम्न लक्षण महिलाओं में थायराइड के रूप में सामने आते हैं तो महिलाओं को तुरंत ही किसी योग्य चिकित्सक से परामर्श अवश्य करना चाहिए।

Thyroid Cancer

थायरॉइड कैंसर (Thyroid Cancer), थायरॉयड में होने वाली एक गंभीर और खतरनाक बीमारी है जो कभी-कभी जानलेवा भी हाे सकती है। हालांकि, यदि इस बीमारी का समय रहते और सही तरीके से इलाज करवाया जाए, ताे इससे बचा जा सकता है। इस पोस्ट के माध्यम से आप महिलाओं में थायराइड कैंसर के लक्षण, कारण और इलाज के बारे में जानेंगे। तो आइये Thyroid Cancer in Hindi पोस्ट शुरू करते हैं। 11 सन्दर्भ (References) थायराइड क्या है? (What is Thyroid in Hindi) थायरॉयड तितली के आकार की एक ग्रंथि (gland) है जो गर्दन के अंदर और कॉलरबोन के ठीक ऊपर स्थित रहती है। यह ग्रंथि थायराइड हार्मोन उत्पन्न करती है जो मेटाबाॅलिज्म को नियंत्रित करने में मदद करती है। इसके अलावा थायराइड हार्मोन शरीर के तापमान, रक्तचाप और हृदय गति को नियंत्रित करने में भी मदद करती है। ( थायराइड कैंसर क्या है? (What is Thyroid Cancer in Hindi) थायराइड कैंसर कोशिकाओं की असामान्य वृद्धि है जो थायरॉयड में शुरू होती है। शुरुवाती चरण में थायराइड कैंसर के लक्षण दिखाई नहीं देते हैं। लेकिन जैसे-जैसे बीमारी आगे बढ़ती है, यह आपकी गर्दन में सूजन, आवाज में बदलाव और निगलने में कठिनाई जैसे लक्षण पैदा कर सकती है। ( पुरुषों के मुकाबले महिलों में थायराइड कैंसर काफी आम है। यदि थायराइड कैंसर का समय रहते इलाज करवाया जाए, तो डॉक्टर इस बीमारी को पूरी तरह ठीक कर सकते हैं। और पढ़ें – क्या थायराइड कैंसर जानलेवा है? ( Is Thyroid Cancer Deadly in Hindi?) वैसे ताे थायरॉइड कैंसर एक गंभीर बीमारी है। यह जानलेवा भी हाे सकती है। लेकिन अगर समय पर और सही तरीके से इसका इलाज करवाया जाए, ताे मरीज काे बचाया जा सकता है। पैपिलरी थायराइड कैंसर और फॉलीक्यूलर थायराइड कैंसर से पीड़ित लोग यदि सह...

थायराइड के लक्षण, कारण, इलाज, दवा, उपचार

थायराइड तितली के आकार की ग्रंथि होती है। यह गर्दन के अंदर और कॉलरबोन के ठीक ऊपर स्थित होती है। थायराइड एक प्रकार की एंडोक्राइन ग्रंथि (नलिकाहीन ग्रन्थियां) है, जो प्रमुख तौर पर थायराइड दो प्रकार का होता है – हाइपरथायराइड और थायराइड ग्रंथि से जुडीअन्‍य गंभीर समस्‍याओंमें थायराइड उचित उपचार की मदद से थायराइड ग्रंथि ठीक तरह से काम कर सकती है। जीवनशैली में कुछ बदलाव लाकर जैसे कि थायराइड एक एंडोक्राइन ग्रंथि है जो ट्राईआयोडोथायरोनिन (टी3) और थायरोक्सिन (टी4) नामक दो हार्मोन बनाती है। इन हार्मोनों का उत्‍पादन और स्राव थायराइड-स्टिमुलेटिंग हार्मोन (टीएसएच) द्वारा नियंत्रित किया जाता है। टीएसएच पिट्यूटरी में बनता है जिसके स्राव को थायराइड रिलीज करने वाले हार्मोन या टीआरएच द्वारा नियंत्रित किया जाता है। ये हार्मोन शरीर की सामान्‍य चयापचय प्रक्रिया के लिए जिम्‍मेदार होते हैं। थायराइड ग्रंथि के ज्‍यादा या कम मात्रा में हार्मोनबनाने पर थायराइड की समस्‍या उत्‍पन्‍न होने लगती है। ऑटोइम्‍यून या थायराइड ग्रंथि में कैंसरयुक्तया कैंसर रहितकोशिकाओं के बनने या ग्रंथि में वैश्विक स्‍तर पर पुरुषों से ज्‍यादा महिलाएं इस बीमारी से ग्रस्‍त होती हैं। 0.5% पुरुषों की तुलना में 5% महिलाएं थायराइड का शिकार होती हैं। थायराइड हार्मोन का कम या ज्‍यादा बनना, शरीर की प्रत्‍येक कोशिका को प्रभावित करता है। थायराइड हार्मोन मेटाबोलिक रेट, भोजन ग्रहण करने और थर्मोजेनेसिस को नियंत्रित करने में अहम भूमिका निभाता है। थायराइड का दूसरा प्रकार है हाइपोथाइराडिज्‍म जिसमें थायराइड हार्मोन कम बनने लगता है और टी3 एवं टी4 का सीरम लेवल घटने तथा टीएसएच का स्‍तर बढ़ने लगता है। थायराइड से जुड़ी सामान्‍य समस्‍याएं: • हाइपरथायरा...

हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण, कारण, उपचार, दवा, इलाज

हाइपोथायरायडिज्म (थायराइड कम होना) क्या है? हाइपोथायरायडिज्मको अंडरएक्टिव ऐसे कई विकार हैं, जिनके कारण थायराइड हो सकता है। इनमें ऑटोइम्यून डिसऑर्डर (Autoimmune Disorders, प्रतिरक्षा विकार), थायरॉयड रिमूवल (निकालना), पिट्यूटरी रोग (Pituitary disease) और थायरॉयड ग्रंथि (Thyroid gland) एक अन्य ग्रंथि द्वारा नियंत्रित की जाती है, जिसको पिट्यूटरी ग्रंथि (Pituitary gland) के नाम से जाना जाता है। हमारे शरीर में हार्मोन्स, पिट्यूटरी ग्रंथि(Pituitary gland) द्वारा रक्तप्रवाह के माध्यम से जारी किए जाते हैं। हार्मोन्स के जारी होने से हमारे शरीर के लगभग सभी अंग प्रभावित होते हैं, जिनमें हमारे दिल और दिमाग से लेकर मासपेशियां और त्वचा भी शामिल हैं। इस तरह से थायरॉयड हार्मोन्स का मुख्य उद्देश्य शरीर के चयापचय (Metabolism) को नियंत्रित करना होता है। हाइपोथायरायडिज्मके TSH (थायरॉयड के उत्तेजक हार्मोन) लेवल पिट्यूटरी ग्रंथि आपके शरीर में हो रहे हार्मोन के उत्पादन को नियंत्रित करती है। इसका काम थायरॉयड उत्तेजक हार्मोन यानि टीएसएच बनाना होता है, जो थायरॉयड ग्रंथि को यह बताती है कि कितनी मात्रा में थायरॉयड हार्मोन्स (जिन्हें टी3 और टी4 कहा जाता है) बनाने हैं। अगर आपका टीएसएच स्तर असामान्य रूप से बढ़ रहाहै, तो इसका मतलब आप अंडरएक्टिव थायरॉयड यानि हाइपोथायरायडिज्मसे प्रभावित हैं। (और पढ़ें - निम्न TSH लेवल चार्ट, TSHकी विभिन्न रीडिंग्स क्या बताती हैं उसे प्रस्तुत कर रहा है। टीएचएस का स्तर टी3 और टी4 का स्तर रोग ज्यादा ज्यादा पिट्यूटरी ग्रंथि का ट्यूमर (Tumor of Pituitary gland) कम कम मध्यम हाइपोथायरायडिज्म(Secondary Hypothyroidism) कम ज्यादा ग्रेव रोग (Grave’s disease) ज्यादा कम हाशिमोटो की बीमीरी...

थायराइड रोग में सपने में भी न खाएं ये आहार

हर रोग का रोगी के खान-पान से बहुत बड़ा नाता होता है, ठीक इसी तरह थायराइड रोग और खान-पान के बीच अटूट संबंध है। रोगी द्वारा खाया जाने वाला आहार स्थिति को बिगाड़ भी सकता है और सुधार भी सकता है। इस लेख में आप जानेंगे कि थायराइड रोग में आपको क्या नहीं खाना चाहिए? थायराइड के बारे में- थायराइड एक ग्रंथि है, जो टी2 और टी3 नाम के दो हार्मोन का उत्पादन करती है और शरीर की कई गतिविधियों को नियंत्रित करने में अपना योगदान निभाती है। जब थायराइड हॉर्मोन का उत्पादन अधिक या कम मात्रा होने लगता है तो इसका शरीर के कई क्रियाकलापों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। पढ़ें- थायराइड रोग क्या है? Thyroid In Hindi Table of Contents • • • • • • • • • • • • थायराइड रोग में क्या नहीं खाना चाहिए? – Thyroid me kya kya nahi khana chahiye थायराइड रोग को मुख्य रूप से दो वर्ग में विभाजित किया गया है- जब थायराइड हार्मोन का उत्पादन अधिक होता है तो उस स्थिति को हाइपरथायरायडिज्म कहते हैं, और यदि हार्मोन का कम उत्पादन होता है तो उसे हाइपोथायरायडिज्म कहा जाता है। दोनों ही स्थिति में रोगी को शारीरिक और मानसिक वेदना मिलती है। पढ़ें – हाइपरथायरायडिज्म के लक्षण पढ़ें- हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण चलिए जानते हैं कि थायराइड के दोनों प्रकार में क्या नहीं खाएं- हाइपरथायरायडिज्म में क्या नहीं खाना चाहिए – Hyperthyroidism me kya nahi khaye आयोडीन से भरपूर खाद्य पदार्थ आयोडीन के कारण थायराइड का अधिक उत्पादन होता है और कई बार आपकी परिस्थिति के लिए यही जिम्मेदार होता है। ऐसे में यदि आप आयोडीन का अधिक सेवन करते हैं तो समस्या बढ़ सकती है। इसलिए आपको आयोडीन युक्त खाद्य पदार्थों से परहेज करना पड़ेगा। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार एक...

कम थायराइड बनना (Hypothyroidism): लक्षण, कारण और उपचार

Contents • 1 कम थायराइड बनना (हाइपोथायरायडिज्म) क्या है? Kam Thyroid Banana (Hypothyroidism) Kya Hai? • 1.1 हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण • 1.2 • 1.3 हाइपोथायरायडिज्म का कारण • 1.4 हाइपोथायरायडिज्म का निदान • 1.5 हाइपोथायरायडिज्म का उपचार • 1.6 हाइपोथायरायडिज्म को नियंत्रित करने के उपाय • 1.7 सावधानियां • 1.8 उपचार के लिए जीवनशैली में बदलाव • 2 मंत्रा केयर – Mantra Care कम थायराइड बनना (हाइपोथायरायडिज्म) क्या है? Kam Thyroid Banana (Hypothyroidism) Kya Hai? आमतौर पर कम थायराइड बनना एक ऐसी स्थिति है, जहां थायराइड ग्रंथि पर्याप्त थायरोक्सिन हार्मोन का उत्पादन नहीं करती है। चिकित्सीय भाषा में इस स्थिति को हाइपोथायरायडिज्म के नाम से जाना जाता है। जब भी थायराइड की बात आती है, तो हम कम (हाइपो) और ज्यादा (हाइपर) थायराइड बनने सहित दोनों के संबंध में बात करते हैं। हाइपो का मतलब कम है और हाइपर मतलब है ज्यादा। अगर आपका थायराइड ठीक से काम कर रहा है, तो यह दोनों के बीच एक आदर्श संतुलन में होता है। हालांकि, आपके पास कोई स्पष्ट लक्षण नहीं होना चाहिए, क्योंकि अगर आपके पास हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण हैं, तो आपके हाइपोथायरायडिज्म के लक्षण आपके पास मौजूद कम थायराइड बनने के कई लक्षण आपके शारीर में अलग-अलग समस्याएं पैदा कर सकते हैं, जैसेः शारीरिक समस्याएं कम थायराइड बनना यानी हाइपोथायरायडिज्म के सबसे आम लक्षणों में थकान का अनुभव, वजन के बढ़ने या वजन कम होने जैसी समस्याएं शामिल है। फिर भले ही आपने अपने आहार और व्यायाम की दिनचर्या में किसी तरह का बदलाव नहीं किया हो। महिलाओं में बालों का झड़ना खासतौर से खोपड़ी के बालों का पतला होना और पूरे शरीर में महीन बालों में बढ़ोतरी के कारण पीला दिखना शामिल हैं। ...