मर्द फिल्म मिथुन की

  1. मिमोह चक्रवर्ती बोले
  2. गंगा जमुना सरस्वती (1988 फ़िल्म)


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मिमोह चक्रवर्ती बोले

June 09, 2023 | 05:03 pm 1 मिनट में पढ़ें मिमोह की डेब्यू फिल्म फ्लॉप होने पर टूट गए थे मिथुन (तस्वीर: इंस्टा/@mimohchakraborty) दिग्गज अभिनेता 2008 में फिल्म 'जिमी' से अपने सफर की शुरुआत करने वाले मिमोह की पहली फिल्म ही असफल रही थी। ऐसे में डेब्यू फिल्म के बॉक्स ऑफिस पर ढेर होने की वजह से उन्हें आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था। अब उन्होंने खुलासा किया है कि कैसे इसका असर उनके माता-पिता पर पड़ा और वे टूट गए। फिल्म का रिव्यू पढ़कर दुखी हुए थे मिमोह सिद्धार्थ कन्नन के साथ चैट शो में बातचीत करते हुए मिमोह ने बताया कि 'जिमी' की रिलीज के बाद उनका परिवार भावनात्मक रूप से कठिन समय से गुजर रहा था। इस दौरान एक कॉमेडी शो ने उनकी मां का मजाक बनाया था, जिससे वह काफी नाराज हो गए थे। उन्होंने कहा, "मुझे याद है कि मैं जिमी का एक रिव्यू पढ़कर दुखी हो गया था क्योंकि उसमें लिखा था कि मिमोह जूनियर कलाकार होने के लिए भी फिट नहीं हैं।" मां पर कॉमेडी करने से भड़क गए थे मिमोह मिमोह ने कहा, "एक कॉमेडी शो था जहां किसी ने कहा कि मिमोह की फिल्म देखने के बाद ऐसा लगता है कि योगिता की योग्यता में समस्या हो गई है।" इस पर नाराजगी जताते हुए उन्होंने कहा, "मेरी मां के बारे में मत बोलो। मेरे पिता इंडस्ट्री से हैं, वह एक लेजेंड हैं। मां ने आपका क्या बिगाड़ा है? मैंने कहा कि आप मेरा मजाक उड़ा सकते हैं, आप मेरे पिता पर भी हंस सकते हैं, लेकिन मेरी मां क्यों?" फिल्म फ्लॉप होने पर रोए थे सभी- मिमोह जब मिमोह से सवाल किया गया कि क्या उनकी पहली ही फिल्म 'जिमी' के असफल हो जाने के बाद उनके माता-पिता कभी रोए थे? इस पर मिमोह ने हां में जवाब देते हुए कहा, "मां, मैं और डैड, हम सब रोए थे। इसके बाद हम सभी को ब्रेकडाउन हो गया ...

गंगा जमुना सरस्वती (1988 फ़िल्म)

अनुक्रम • 1 संक्षेप • 2 चरित्र • 3 मुख्य कलाकार • 4 दल • 5 संगीत • 6 परिणाम • 6.1 बौक्स ऑफिस • 6.2 समीक्षाएँ • 7 नामांकन और पुरस्कार • 8 बाहरी कड़ियाँ संक्षेप [ ] चरित्र [ ] मुख्य कलाकार [ ] • • • • • • • • • दल [ ] संगीत [ ] 1988 मे 23 दिसंबर को बॉक्स ऑफिस पर रिलीज़ हुई फिल्म“गंगा जमुना सरस्वती” कुछ बदलावों के कारण बुरी तरह फ्लॉप रही थी। ये मसाला मूवीज के मास्टर डायरेक्टर कहे जाने वाले मनमोहन देसाई की आखिरी निर्देशित फ़िल्म थी । इस फ़िल्म के कंपलीट होने से पहले ही मनमोहन देसाई ने फ़िल्म इंडस्ट्री से अपने रिटायरमेंट की घोषणा कर दी थी। कादर ख़ान ने इस फ़िल्म की स्क्रिप्ट तीन अभिनेताओं अमिताभ बच्चन, जितेंद्र और ऋषि कपूर को ध्यान में रखकर लिखी थी। ये तीनों अभिनेता इस सीक्वेल के लिए फाइनल भी हो गए थे लेकिन ऐन मौके पर जितेंद्र कुछ पर्सनल कारणों के चलते इस फ़िल्म से बाहर हो गए। जितेंद्र के बाहर जाते ही उनकी जगह मिथुन चक्रवर्ती आ गए। मिथुन चक्रवर्ती उस वक्त काफ़ी बड़े स्टार बन चुके थे और वो पहली बार इस फ़िल्म के जरिए मनमोहन देसाई के साथ काम करने जा रहे थे। सब ठीक चल रहा था , “अमर अकबर एंथोनी 2” में अमिताभ बच्चन का गंगा राम, मिथुन का जमना दास और ऋषि कपूर का सरस्वती चंद्र कैरेक्टर फिक्स कर दिया गया था और फ़िल्म की शूटिंग भी शुरू हो गईं थी। 12 जुलाई 1985 को इसके टाइटल सॉन्ग का मुहूर्त हो गया था मनमोहन देसाई ने अब प्रयागराज की लिखी नई स्क्रिप्ट पर फ़िल्म बनाने का फैसला किया और “गंगा जमुना सरस्वती” नाम की नई फ़िल्म का जन्म हुआ। “हिफाजत” वाला पाकिस्तानी कव्वाल वाला रोल इस फ़िल्म में शंकर कव्वाल नाम से मिथुन के लिए लिखा गया। अमिताभ बच्चन को गंगा प्रसाद, मीनाक्षी शेषाद्री को जमुना और जया...