सर्वाइकल क्या होता है

  1. जानिये क्या होता है सर्वाइकल कैंसर और इससे बचाव के तरीके
  2. Cervical Effacement: सर्वाइकल अफेसमेंट क्या होता है? जाने इसके बारे में
  3. सर्वाइकल कैंसर : कारण, लक्षण, चरण और रोकथाम
  4. सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के कारण, लक्षण, उपचार
  5. Cervical Cancer Symptoms, Signs, Causes, Stages & Treatment
  6. कितना खतरनाक है सर्वाइकल कैंसर? वैक्‍सीन आने के बाद कितना फायदा होगा, डॉक्टर से समझिए 10 से 14 की उम्र का क्या है रोल?
  7. Cervical Spondylosis Know How To Check Is Neck Pain Because Of Cervical Spondylosis


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जानिये क्या होता है सर्वाइकल कैंसर और इससे बचाव के तरीके

मानव शरीर में कई तरह की बीमारियां होने की संभावनाएं होती है। इनमें से कुछ तो इतनी खतरनाक होती हैं कि व्यक्ति की जान तक निकल जाती है। ऐसी ही एक घातक बीमारी है, कैंसर। वैसे तो यह कैंसर भी कई तरह के होते हैं और अलग अलग अंगों पर अपना प्रभाव डालते हैं। सर्वाइकल कैंसर भी ऐसा ही एक घातक कैंसर है, जो जानलेवा होता है। आज अपने इस लेख के माध्यम से हम आपको सर्वाइकल कैंसर से जुडी कई अहम जानकारी देंगे। सबसे पहले हम आपको बताते हैं कि यह सर्वाइकल कैंसर होता क्या है। क्या होता है सर्वाइकल कैंसर दरअसल, कैंसर का नाम हमेशा शरीर के उस हिस्से के नाम पर रखा जाता है जहां से यह शुरू होता है, भले ही यह बाद में शरीर के अन्य अंगों में फैल गया हो। जब कैंसर सर्विक्स में शुरू होता है तो उसे सर्वाइकल कैंसर कहते हैं। यह महिलाओं को होने वाला एक विशेष प्रकार का कैंसर है, जो पीड़ित महिलाओं की मौत का कारण बन सकता है। यह गर्भाशय के सबसे निचले हिस्से में एक घातक ट्यूमर के रूप में उभरता है। इस कैंसर की शुरुआत गर्भाशय के निचले हिस्से से होती है लेकिन यह गर्भाशय ग्रीवा (गर्भाशय का मुख) से संपर्क करता है। यह कोशिकाओं में असामान्य वृद्धि के कारण होता है, जो दूसरी कोशिकाओं को भी अपनी जद में ले लेता है। मानव पेपिलोमावायरस टीका (एचपीवी) की पहुंच की कमी के कारण ज्यादातर देशों में महिलाओं में मौत का एक आम कारण सर्वाइकल कैंसर ही है। यह कैंसर 30-45 वर्ष के बीच की महिलाओं को ज़्यादा होता है। सर्वाइकल कैंसर होने के कारण गर्भाशय ग्रीवा वाले किसी भी व्यक्ति को सर्वाइकल कैंसर का खतरा होता है। यह 30 वर्ष से अधिक आयु के लोगों में सबसे अधिक होता है। कुछ प्रकार के मानव पेपिलोमावायरस (एचपीवी) के साथ लंबे समय तक चलने वाला संक्रमण सर्वा...

Cervical Effacement: सर्वाइकल अफेसमेंट क्या होता है? जाने इसके बारे में

सर्वाइकल अफेसमेंट (Cervical effacement) से मतलब सर्विक्स के छोटा होने और पतला होने से है। इस प्रक्रिया की सहायता से सर्विक्स वजायनल यानी नॉर्मल डिलिवरी के लिए प्रिपेयर होता है। सर्विक्स यूट्रस के निचले हिस्से को वजायना से जोड़ने का काम करता है। साधारण तौर पर सर्विक्स की लेंथ 2.5 सेमी के आसपास होती है, और ये बंद स्थिति में होता है। सर्वाइकल अफेसमेंट एक प्रक्रिया है जो वजायनल डिलिवरी को आसान बनाने का काम करती है। इस आर्टिकल के माध्यम से सर्वाइकल अफेसमेंट (Cervical effacement) और डायलेशन (Dilation) के बारे में जानिए। सर्वाइकल अफेसमेंट की प्रक्रिया (Process of Cervical effacement) और पढ़ें: सर्वाइकल अफेसमेंट और डायलेशन में क्या संबंध है? (Relation between Cervical effacement and Dilation) वजायनल डिलिवरी के लिए फुल अफेसमेंट और फुल डायलेशन जरूरी होता है। ये दोनों प्रक्रिया एक साथ ही होती है। जब 100 % अफेसमेंट और डायलेशन होता है तो बच्चा आसानी से बर्थ कैनाल के बाहर आ जाता है। डायलेशन और सर्वाइकल अफेसमेंट की साथ में होने वाले प्रॉसेस को सर्वाइकल राइपनिंग (Cervical ripening) कहते हैं। और पढ़ें: ऐसे समझें सर्वाइकल अफेसमेंट का गणित लेबर की फर्स्ट स्टेज में सर्विक्स खुलता है और पतला होता है। खुलने को डायलेशन और पतले होने की प्रक्रिया को सर्वाइकल अफेसमेंट कहा जाता है। इस प्रक्रिया से बच्चा बर्थ कैनाल के बाहर आने की कोशिश करता है। पहले सर्विक्स मजबूती के साथ बंद रहता है। फिर सर्विक्स 60 परसेंट अफेस होता है और 1 से 2 सेमी डायलेट होता है। फिर दूसरी बार में सर्विक्स 90 प्रतिशत तक अफेस होता है और 4 से 5 सेमी डायलेट होता है। वजायनल डिलिवरी के समय सर्विक्स का 100 प्रतिशत तक अफेसमेंट और 10 सेम...

सर्वाइकल कैंसर : कारण, लक्षण, चरण और रोकथाम

सर्वाइकल कैंसर सर्वाइकल कैंसर महिलाओं में मौत का एक आम कारण है। हर महिला के लिए इन बीमारियों के बारे में कुछ न कुछ जानना जरूरी है। इस लेख में सर्वाइकल कैंसर के बारे में वह सब कुछ है जो आपको जानना चाहिए। सर्वाइकल कैंसर क्या है सर्वाइकल कैंसर एक प्रकार का कैंसर है जो गर्भाशय के निचले सिरे से शुरू होता है जो ऊपरी योनि से संपर्क करता है जिसे गर्भाशय ग्रीवा कहा जाता है। मानव पेपिलोमावायरस (एचपीवी) के खिलाफ स्क्रीनिंग और टीकों तक पहुंच की कमी के कारण अधिकांश विकासशील देशों में महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर मौत का एक आम कारण है। सर्वाइकल कैंसर के कारण सर्वाइकल कैंसर का सबसे आम कारण पैपिलोमावायरस (एचपीवी) में से एक के साथ लंबे समय से संक्रमण है। एचपीवी संक्रमण आम है, और सभी एचपीवी संक्रमण से कैंसर नहीं होता है। एचपीवी कई प्रकार के होते हैं, 100 से अधिक प्रकार और केवल कुछ ही प्रकार के कैंसर से जुड़े होते हैं। अन्य एचपीवी प्रकार आमतौर पर जननांगों या त्वचा पर सौम्य मस्से का कारण बनते हैं। उच्च जोखिम वाले एचपीवी पुरुषों में गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर के साथ-साथ लिंग के कैंसर का कारण साबित हुए हैं। सर्वाइकल कैंसर के संकेत और लक्षण सर्वाइकल कैंसर कोई संकेत या लक्षण उत्पन्न नहीं कर सकता है, ज्यादातर इसकी प्रारंभिक अवस्था में। लक्षण तब विकसित हो सकते हैं जब कैंसर कोशिकाएं आसपास के ऊतकों पर हमला करना शुरू कर दें। कुछ संकेतों और लक्षणों में असामान्य योनि से रक्तस्राव , सामान्य से अधिक या अधिक मासिक धर्म , सेक्स के बाद योनि से रक्तस्राव, संभोग के दौरान दर्द अन्य असामान्य योनि स्राव आदि शामिल हैं। सर्वाइकल कैंसर के चरण क्या हैं? किसी भी कैंसर की स्टेज यह होती है कि जब इसका पता चला तो यह शरीर में कि...

सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के कारण, लक्षण, उपचार

सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस (spondylosis) जिसे स्पॉन्डिलाइटिस भी कहा जाता है बहुत आम है पर उम्र के साथ इसकी स्तिथि बदतर होती जाती है। 60 वर्ष से अधिक आयु के 85 प्रतिशत से अधिक लोग इससे प्रभावित होते हैं। ज्यादातर लोगों में इस समस्या का कोई लक्षण नहीं होता है। जब लक्षण होते हैं, तो नॉनसर्जिकल उपचार (nonsurgical treatments) अक्सर प्रभावी होते हैं। • • 6. 7. सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के लक्षण क्या हैं – Symptoms of Cervical spondylosis in Hindi अधिकांश लोगों के लिए स्पोंडिलोसिस का कोई लक्षण नहीं होता है जब लक्षण होते हैं, तो उनमे आमतौर पर गर्दन में दर्द और कठोरता शामिल होती है। लक्षण दिन के अंत में और फिर सुबह में सबसे ज्यादा गंभीर होते हैं। सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस के लक्षणों में निम्नलिखित शामिल हैं: • गर्दन में कठोरता और दर्द • • सिर को पूरी तरह से घुमाने या गर्दन को मोड़ने में असमर्थता, यह कभी-कभी ड्राइविंग में परेशानी भी करता है • गर्दन घुमाने पर आवाज़ या • बाहों, हाथों, पैरों, या पैरों में झुकाव, संयम, में कमजोरी • समन्वय की कमी और चलने में कठिनाई • असामान्य प्रतिबिंब • मांसपेशियों की ऐंठन • (और पढ़े – सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के कारण – Cervical spondylosis Causes in Hindi जैसे ही आप उम्रदराज होते हैं, हड्डियों और उपास्थि जो आपकी रीढ़ की हड्डी और गर्दन के ढांचे को बनाती है, उनकी स्तिथि बिगड़ती जाती है। नीचे दिए ये परिवर्तन इसके कारणों में शामिल हो सकते हैं: निर्जलित डिस्क ( Dehydrated disk) – डिस्क आपकी रीढ़ की हड्डी के बीच कुशन की तरह कार्य करते हैं। 40 साल की उम्र तक, अधिकांश लोगों की रीढ़ की हड्डी की डिस्क सूखने और कम होने लगती हैं, जिसके कारण हड्डियों का आपस में अधिक संपर्क होता है ...

Cervical Cancer Symptoms, Signs, Causes, Stages & Treatment

नई दिल्ली: क्या आपको मालूम है कि भारतीय महिलाओं में भारत में ग्रीवा कैंसर के लगभग 1,22,000 नए मामले सामने आते हैं, जिसमें लगभग 67,500 महिलाएं होती हैं. कैंसर से संबंधित कुल मौतों का 11.1 प्रतिशत कारण सर्वाइकल कैंसर ही है. यह स्थिति और भी खराब इसलिए हो जाती है कि देश में मात्र 3.1 प्रतिशत महिलाओं की इस हालत के लिए जांच हो पाती है, जिससे बाकी महिलाएं खतरे के साये में ही जीती हैं. सर्वाइकल कैंसर सर्विक्स की लाइनिंग, यानी यूटरस के निचले हिस्से को प्रभावित करता है. सर्विक्स की लाइनिंग में दो तरह की कोशिकाएं होती हैं- स्क्वैमस या फ्लैट कोशिकाएं और स्तंभ कोशिकाएं. गर्भाशय ग्रीवा के क्षेत्र में जहां एक सेल दूसरे प्रकार की सेल में परिवर्तित होती है, उसे स्क्वेमो-कॉलमर जंक्शन कहा जाता है. यह ऐसा क्षेत्र है, जहां कैंसर के विकास की सबसे अधिक संभावना रहती है. गर्भाशय-ग्रीवा का कैंसर धीरे-धीरे विकसित होता है और समय के साथ पूर्ण विकसित हो जाता है. हार्ट केयर फाउंडेशन ऑफ इंडिया (एचसीएफआई) के अध्यक्ष पद्मश्री डॉ. के.के. अग्रवाल ने बताया कि सर्वाइकल कैंसर ज्यादातर मानव पैपीलोमा वायरस या एचपीवी के कारण होता है. लगभग सभी ग्रीवा कैंसर एचपीवी में से एक के साथ दीर्घकालिक संक्रमण के कारण होता है. उन्होंने कहा कि एचपीवी संक्रमण यौन संपर्क या त्वचा संपर्क के माध्यम से फैलता है. कुछ महिलाओं में गर्भाशय-ग्रीवा की कोशिकाओं में एचपीवी संक्रमण लगातार बना रहता है और इस रोग का कारण बनता है. इन परिवर्तनों को नियमित ग्रीवा कैंसर स्क्रीनिंग (पैप परीक्षण) द्वारा पता लगाया जा सकता है. पैप परीक्षण के साथ, गर्भाशय ग्रीवा से कोशिकाओं का एक सतही नमूना नियमित पेल्विक टैस्ट के दौरान एक ब्रश से लिया जाता है और कोशिका...

कितना खतरनाक है सर्वाइकल कैंसर? वैक्‍सीन आने के बाद कितना फायदा होगा, डॉक्टर से समझिए 10 से 14 की उम्र का क्या है रोल?

आज का दिन भारत के लिए बेहद खास है. आज देश को सर्वाइकल कैंसर के खिलाफ स्‍वदेशी वैक्‍सीन मिली है. इस वैक्‍सीन को सीरम इंस्‍टीट्यूट ऑफ इंडिया और भारत सरकार के बायोटेक्‍नोलॉजी विभाग ने मिलकर बनाया है. केन्‍द्रीय राज्‍य मंत्री जितेन्‍द्र सिंह ने आज गुरुवार को इस वैक्‍सीन को लॉन्‍च किया. WHO की मानें तो भारत में हर साल 1.23 लाख मामले सर्वाइकल कैंसर के आते हैं. इस मामले में दुनियाभर में भारत का पांचवा स्‍थान है. ऐसे में माना जा रहा है कि ये वैक्‍सीन देश में सर्वाइकल कैंसर के खिलाफ बहुत बहुत बड़ा हथियार साबित होगी. आइए जयपुर के एसएमएस हॉस्पिटल के स्‍टेट कैंसर इंस्‍टीट्यूट के मेडिकल सुप्रिटेंडेंट (BMT) और PHOD मेडिकल ऑकोलॉजी, डॉ. संदीप जसूजा से जानते हैं सर्वाइकल कैंसर होता क्‍या है और ये कितना खतरनाक है और सर्वाइकल कैंसर की वैक्‍सीन आने के बाद क्‍या फायदा मिलेगा ? यूट्रस के निचले भाग का हिस्सा सर्विक्‍स यूट्रस कहलाता है जो वजाइना से जुड़ा होता है. सर्वाइकल कैंसर में सर्विक्‍स यूट्रस के सेल्‍स प्रभावित होते हैं. डॉ. संदीप जसूजा की मानें तो सवाईकल कैंसर महिलाओं में होने वाला सेकंड मोस्‍ट कॉमन कैंसर है. ब्रेस्‍ट कैंसर के बाद महिलाओं में सबसे ज्‍यादा मामले इसी के आते हैं. सर्वाइकल कैंसर के दौरान पीरियड्स लंबे समय तक चलना, पीरियड्स के दौरान बहुत ज्‍यादा दर्द, वजाइना से व्‍हाइट डिस्‍चार्ज जैसे लक्षण सामने आते हैं. लक्षण बेहद सामान्‍य होने के कारण ज्‍यादातर महिलाओं को इसका अंदाज नहीं लग पाता. सर्वाइकल कैंसर की वजह डॉ. संदीप जसूजा बताते हैं सर्वाइकल कैंसर के 80 से 90 फीसदी मामलों में ह्यूमन पैपिलोमा वायरस (HPV) के16 और 18 स्‍ट्रेन को जिम्‍मेदार माना जाता है. HPV एक आम यौन रोग है, जो प्राइ...

Cervical Spondylosis Know How To Check Is Neck Pain Because Of Cervical Spondylosis

भागदौड़ भरी जिंदगी में हम सब इतना बिज़ी हो चुके हैं कि खुद से जुड़ी चीजों पर ध्यान देना बंद कर दिया है. अक्सर कोई भी हेल्थ दिक्कत को हम ये बोलकर टाल देते है कि ये कुछ दिन में ठीक हो जाएगी. लेकिन हम ये नहीं सोचते कि आज जो समस्या हम टाल रहें हैं वो आगे चलकर क्या रिजल्ट देगा. कुछ ऐसा ही सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस (Cervical Spondylosis) के साथ भी होता है, जिसकी शुरुआत गर्दन के दर्द से शुरु होती है और आगे चलकर यह गंभीर रूप ले लेती है. सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस एक गंभीर समस्या है जो हमारी गर्दन के पीछे रीढ़ में देखने को मिलती है. इसमें गर्दन का दर्द काफी परेशान कर सकता है. सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस गर्दन में स्पाइनल डिस्क बढ़ने के साथ होने वाली समस्या है. इस स्थिति में जैसे-जैसे आपकी डिस्क डिहाइड्रेट होती है और सिकुड़ने लगती है, तो ऑस्टियोआर्थराइटिस के लक्षण दिखने शुरू हो जाते हैं. यह बहुत आम समस्या है और उम्र बढ़ने के साथ अधिक गंभीर हो जाती है. 85% लोगों में जिनकी 60 से अधिक उम्र है यह समस्या देखने को मिलती है. आमतौर पर कुछ लोग पेन किलर्स दवाएं लेकर दर्द से छुटकारा पाने की कोशिश करते हैं, साथ ही कुछ घरेलू उपाय भी ट्राई करते हैं जैसे सिकाई, मालिश आदि. आइए जानते हैं कि सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस होने का क्या कारण हो सकता है और इसके क्या लक्षण होते हैं. क्या है सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस? सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस एक गंभीर बीमारी है जिसमें रीढ़ की हड्डी में सूजन आ जाती है. यह बीमारी मुख्य रूप से गर्दन में स्थित सर्वाइकल स्पाइन को प्रभावित करती है. इसे सर्वाइकल ऑस्टियोअर्थराइटिस और गर्दन के गठिया के रूप में भी जाना जाता है. इस बीमारी में गर्दन की हड्डी, रीढ़ की हड्डी और डिस्क सबसे ज्यादा प्रभावित होती है. सर...