पतंजलि आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे

  1. आरोग्यवर्धिनी वटी के 12 फायदे
  2. Medha Vati Patanjali Benefits In Hindi
  3. पतंजलि आरोग्य वटी के 9 फायदे और नुकसान
  4. आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे, नुकसान, उपयोग विधि और प्राइस
  5. पतंजलि आरोग्य वटी के फायदे और नुकसान
  6. आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और नुकसान गुण व उपयोग
  7. आरोग्य वटी पतंजलि के फायदे : Arogya Vati Patanjali Benefits In Hindi
  8. Medha vati patanjali benefits in hindi
  9. आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और नुकसान


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आरोग्यवर्धिनी वटी के 12 फायदे

• Facebook • Twitter • Copy Link Arogyavardhini Vati ke Fayde in Hindi-आरोग्यवर्धिनी वटी पित्त, कुष्ट रोग, वात, बुखार के लिए फायदेमंद होती है साथ ही यह वटी पाचन, पथ्यकारक, हृदय से सम्बन्धित बिमारियों, मोटापे को कम करने, कब्ज को हटाने के लिए, भूख बढ़ाने में और कई अन्य बिमारियों में भी लाभदायक होती है। Table of Contents • • • • • • • • • • • • • आरोग्यवर्धिनी वटी क्या है-What is Arogyvardhini vati? आरोग्यवर्धिनी वटी एक आयुर्वेदिक दवाई है। आयुर्वेद में वटी अर्थात कल्पना का प्रयोग भिन्न शारीरिक रोगों को खत्म करने लिए किया जाता है| आरोग्यवर्धिनी वटी का शाब्दिक अर्थ आरोग्य का वर्द्धन करने वाला है अर्थात रोगों को समाप्त करने वाला| इसे आरोग्यवर्धिनी रस भी कहा जाता है। यह वटी हमारी पाचन शक्ति् को बढ़ाता है, दीपन, पथ्य, हृदय सम्बन्धी रोगों, मलशोधन औषधीय कर्मों से युक्त है| इसी लिए इस आरोग्यवर्धिनी वटी का इस्तेमाल हर प्रकार के ज्वर—बुखार में किया जाता है| जैसे — वातिज ज्वर, पित्तज ज्वर, कफज ज्वर एवं सनिपताज ज्वर में इसका प्रयोग आयुर्वेद में किया जाता है| लिवर से सम्बंधित बिमारियों जैसे लीवर सिरोसिस, पीलिया आदि रोगों में आरोग्यवर्धिनी वटी का प्रयोग लाभकारी होता है| साथ ही तेज बुखार, संक्रमण, त्वचा के रोगों, आंतो से सम्बन्धित बिमारियों और कुष्ठ रोग आदि में आयुर्वेदिक डॉक्टर इसका वटी के प्रयोग की सलाह देते हैं। इसको शुद्ध गंधक व शुद्ध पारद के साथ अन्य सहयोगी पदार्थो को आपस में मिलाने से इसको बनाया जाता है। आज कल बाजार में भी यह आसानी से मिल जाती है। जैसे – दिव्य आरोग्यवर्धिनी, डाबर आरोग्यवर्धिनी आदि। आरोग्यवर्धिनी वटी को बनाने के घटक -आरोग्यवर्धिनी वटी Ingredients इसके निर्माण की विधि र...

Medha Vati Patanjali Benefits In Hindi

विषय सूची • • • • • • • • • • • • • • Medha Vati Patanjali Benefits पतंजलि दिव्य मेधा वटी को प्रमुख रूप से दिमागी रोगियों को ध्यान में रखकर बनाया गया है एवं इसके लाभ भी मानसिक स्थिति को अच्छा बनाए रखने के लिए हैं इसके फायदे निम्नलिखित हैं 1. स्मरण शक्ति को मजबूत बनाता है वर्तमान समय में व्यस्त दिनचर्या होने के कारणअधिकतर लोगों की स्मरण शक्ति बहुत कम हो गई है अगर आपकी भी दिनचर्या बहुत व्यस्त है और आप की स्मरण शक्ति कम हो गई है या आप चीजों को जल्दी-जल्दी भूल जा रहे हैं तो आप पतंजलि दिव्य मेधा वटी का सेवन करें जिससे आपका स्मरण शक्ति बढ़ जाएगा। यह हमारे मस्तिष्क में जाने वाले सभी कोशिकाओं को अच्छे रूप से पोषण प्रदान करती है जिससे हमारा दिमाग बहुत स्वस्थ एवं तंदुरुस्त रहता है। पतंजलि दिव्य मेधा वटी दिमाग से संबंधित सभी समस्याओं के इलाज में बहुत ही प्रभावी माना गया है। इसके रोजाना इस्तेमाल से आपके दिमाग की याद रखने की क्षमता बढ़ जाती है जिससे आप चीजों को लंबे समय तक याद रख पाते हैं। 2. घबराहट को दूर रखता है वर्तमान समय में सभी की अपनी-अपनी चिंताएं हैं औरहम लोग अपनी समस्याओं को हमेशा दिमाग में सोचते रहते हैं जिससे हमारे दिमाग पर नकारात्मक असर पड़ता है और हमारा मानसिक स्थिति कमजोर हो जाता है जिसके कारण हम लोगों को घबराहट होती है। इसलिए आपको अपने मस्तिष्क का पूर्ण रूप से ध्यान रखना है एवं उसे मजबूत बनाए रखना है जिसके लिए आप पतंजलि दिव्य मेधा वटी का सेवन कर अपने दिमाग को मजबूत बना सकते हैं यह आपके दिमाग को मजबूत बनाता है जिससे आपको घबराहट नहीं होती है। 3. मिर्गी के रोगों को ठीक करता है मिर्गी एक बहुत बड़ी मानसिक बीमारी है जो अक्सर अधिक मानसिक दबाव वाले लोगोंमैं देखने को मिलता है। अध...

पतंजलि आरोग्य वटी के 9 फायदे और नुकसान

पतंजलि आरोग्य वटी के लाभ – Patanjali Arogya Vati Ke Fayde आप सभी ने पतंजलि कंपनी का नाम तो सुना होगा, यह बहुत ही लाभदायक आयुर्वेदिक उत्पाद बनाने के लिए प्रसिद्ध है। कभी ना कभी आपने पतंजलि के प्रोडक्ट जैसे दंत कांति मंजन, दृष्टि आई ड्रॉप्स या फिर किसी और प्रोडक्ट का यूज़ तो किया होगा। आज हम आपको पतंजलि के ही एक बेहतरीन वटी या टेबलेट के बारे में बताएंगे। जो है तो सिर्फ अकेली लेकिन कई रोगों को ठीक करने के काम आती है हम बात कर रहे हैं पतंजलि आरोग्य वटी की। Table of Contents • • • • • • • • • पतंजलि आरोग्य वटी क्या है ( Patanjali Arogya Vati in Hindi ) आरोग्य वटी का निर्माण पतंजलि कंपनी द्वारा किया गया है। इस वटी को बनाने के पीछे मुख्य कारण यह था कि एक ऐसी दवाई बनाई जाए जो बहुत से लोगों को ठीक कर सके। आरोग्य वटी में गिलोय तथा तुलसी का भी मिश्रण है जिस कारण यह बहुत अधिक गुणों से भरी है ।जब हम इसका नियमित तौर पर सेवन करते हैं तो यह ना केवल हमें बीमारियों से बचाती है बल्कि लोगों को जल्दी से ठीक भी करती है। जैसे हम आगे आरोग्य वटी के लाभ के बारे में जानकारी प्राप्त करेंगे आपको इसकी उपयोगिता के बारे में पता चल जाएगा। पतंजलि आरोग्य वटी में उपलब्ध सामग्री ( Patanjali Arogya Vati Ingredients ) पतंजलि आरोग्य वटी को बनाने में कुछ जड़ी बूटियों का इस्तेमाल किया गया है जिनमें से कुछ निम्नलिखित है – • गिलोय • नीम पाउडर • तुलसी पाउडर पतंजलि आरोग्य वटी के फायदे ( Patanjai Arogya Vati Benefits in Hindi ) जैसे कि आपने जाना कि आरोग्य वटी टेबलेट गिलोय, नीम तथा तुलसी के मिश्रण से बनी है। हम सब जानते हैं कि इन सभी जड़ी बूटियों के कितने लाभ होते हैं, इसीलिए आरोग्य बटी भी एक बहुत ही लाभकारी टेबलेट की त...

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे, नुकसान, उपयोग विधि और प्राइस

क्योंकि यह आरोग्य (बिना रोग) का वर्धन (बढ़ाती) करती है इसलिए आरोग्य वर्धिनी कहलाती है। आरोग्यवर्धिनी वटी, को आरोग्यवर्धिनी गुटिका, आरोग्यवर्धिनी रस और केवल आरोग्यवर्धिनी के नाम से भी जाना जाता है। आरोग्यवर्धिनी वटी को सैकड़ों साल से लीवर-तिल्ली के रोगों, पीलिया, त्वचा रोगों, कृमि, मूत्राशय, गुर्दे, गर्भाशय, आंत, हृदय, जीर्ण ज्वर, जलोदर, पीलिया आदि के इलाज में प्रयोग किया जाता रहा है। इसे कुटकी, क्योंकि यह आरोग्य (बिना रोग) का वर्धन (बढ़ाती) करती है इसलिए आरोग्य वर्धिनी कहलाती है। आरोग्यवर्धिनी वटी, को आरोग्यवर्धिनी गुटिका, आरोग्यवर्धिनी रस और केवल आरोग्यवर्धिनी के नाम से भी जाना जाता है। एक आयुर्वेदिक रस-औषधि है जिसमें रस, पारा है। पारे को ही आयुर्वेद में रस या पारद कहा जाता है और बहुत सी दवाओं के निर्माण में प्रयोग किया जाता है। रस औषधियां शरीर पर शीघ्र प्रभाव डालती हैं। इन्हें डॉक्टर की देख-रेख में ही लेना सही रहता है। रस औषधियों के निर्माण में शुद्ध पारे और शुद्ध गंधक को मिलाकर पहले कज्जली बनायी जाती है जो की काले रंग की होती है। रासायनिक रूप से कज्जली, ब्लैक सल्फाइड ऑफ़ मरक्युरी है। कज्जली को रसायन माना गया है जो की त्रिदोष को संतुलित करती है। यदि इसे अन्य उपयुक्त घटकों के साथ मिलाकर दवा बनाई जाती है तो यह लगभग हर रोग को दूर कर सकती है। कज्जली वाजीकारक, रसायन, योगवाही है। जब यकृत सही से काम नहीं करता तब पाचन की विकृति, खून न बनने, लीवर रोग होने पर शरीर पीला लगता है ऐसे में इस दवा का सेवन शरीर को आरोग्य देता है। यह लीवर फंक्शन को सही करती है इसके सेवन से कोलेस्ट्रोल, ट्राइग्लिसराइड लेवल, LDL लेवल कम होता है। आरोग्यवर्धिनी आंतों से विषाक्तता बाहर करती है। यह पाचक पित्त (अग्न...

पतंजलि आरोग्य वटी के फायदे और नुकसान

पतंजलि की बहुत सारी आयुर्वेदिक दवाएं मार्केट में उपलब्ध हैं। जिनमे से एक हैं पतंजलि आरोग्य वटी Patanjali arogya vati in hindi जो कि तीन ओषधियो से मिलकर बनी है नीम, तुलसी और गिलोय यह तीनों ओषधियां बहुत है गुणकारी है यह हमारे शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाती हैं, वायरल संक्रमण और तेज ज्वर में भी लाभकारी है। स्वासथ्यवर्धक, जीवाणु एवं वायरल संक्रमण से बचाव, Table of Contents • • • • • • पतंजलि आरोग्य वटी के फ़ायदे patanjali arogya vati benefits in hindi ● रोग प्रतिरोधक क्षमता बढाने में ● त्वचा विकारों में लाभकारी ● डेंगू, चिकनगुनिया और मलेरिया में लाभकारी ● लीवर प्रकिया को सुधारने में ● फ्री रेडिकल को कम करने में ● पाचन क्रिया को मजबूत करने मे ● शरीर से गन्दगी बाहर निकालने में ● कोलेस्ट्रोल, ट्राइग्लिसराइड, और एलडीएल लेवल कम करने में आरोग्य वटी मुख्य घटक arogya vati ingredients in hindi ● गिलोय (Tinospora Cordifolia) ● नीम (Azadirachta Indica) ● तुलसी (Ocimum Sanctum) यह भी देखें- गिलोय – गिलोय को गुडूची, टिनोस्पोरा आदि नामों से जाना जाता है। गिलोय, सभी प्रकार के ज्वर जैसे कि टायफायड, डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के लिए गिलोय को सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। अगर आपको ताजा गिलोय नहीं मिल रही है तो आप , गिलोय की गोलियों का सेवन भी कर सकते हैं। गिलोय वात पित्त और कफ में भी लाभकारी है। नीम – नीम बैक्टेरियल इंफेक्शन को दूर करती हैं और हमारी स्किन से सम्बन्धित सभी रोगों को ठीक करने में मदगार है। अगर आप नीम की पत्तियों का काढा पीते हैं तो यह बैक्टीरिया और वायरस से बचाता हैं ज्वर में भी नीम अत्यन्त प्रभावशाली है। तुलसी – तुलसी में एंटीऑक्सिडेंट गुण पाए जाते हैं तुलसी के पत्ते से सर...

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और नुकसान गुण व उपयोग

6 आरोग्यवर्धिनी वटी के नुकसान : arogyavardhini vati side effects in hindi आरोग्यवर्धिनी वटी क्या है ? arogyavardhini vati in hindi आरोग्यवर्धिनी वटी एक आयुर्वेदिक दवा है। इसका उपयोग सूजन, हृदय रोग, पाण्डु रोग, जलोदर, पाचन शक्ति बढाने, कुष्ठ रोग आदि के आयुर्वेदिक उपचार में प्रयोग किया जाता है। आरोग्यवर्धिनी वटी के घटक : arogyavardhini vati ingredients • शुद्ध पारा • शुद्ध गन्धक • लौह भस्म • अभ्रक भस्म • ताम्र भस्म • हर्रे • बहेड़ा • आँवला • शुद्ध शिलाजीत • शुद्ध गुग्गुलु • चित्रकमूल छाल • कुटकी आरोग्यवर्धिनी वटी बनाने की विधि : arogyavardhini vati bnane ki vidhi माप : 1 तोला = 12 ग्राम , 1 रत्ती = 0.1215 ग्राम शुद्ध पारा 1 तोला, शुद्ध गन्धक 1 तोला, लौह भस्म 1 तोला, अभ्रक भस्म 1 तोला, ताम्र भस्म 1 तोला, हर्रे, बहेड़ा, आँवला प्रत्येक 2-2 तोला, शुद्ध शिलाजीत 3 तोला, शुद्ध गुग्गुलु 4 तोला, चित्रकमूल छाल 4 तोला और कुटकी 22 तोला लें। प्रथम पारद गन्धक की कजली बना उसमें अन्य भस्मों तथा शुद्ध शिलाजीत और शेष द्रव्यों का कपड़छन चूर्ण मिलावें। पीछे गुग्गुलु को नीम की ताजी पत्ती के रस में दो दिन तक भिगों, हाथ से मसल, कपड़े से छान, उसमें अन्य दवा मिलाकर मर्दन करें। नीम की ताजी पत्ती के रस में मर्दन कर 2-2 रत्ती की गोलियाँ बना सुखा लें – र. र. स. सेवन की मात्रा और अनुपान : arogyavardhini vati dosage 2 से 4 गोली रोगानुसार जल, दूध, पुनर्नवादि क्वाथ या केवल पुनर्नवा का क्वाथ, दशमूल-क्वाथ के साथ दें। आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और उपयोग : arogyavardhini vati uses and benefits 1. यह रसायन उत्तम पाचन, दीपन, शरीर के स्त्रोतों का शोधन करनेवाला, 2. यकृत्-प्लीहा, बस्ति, वृक्क, गर्भाशय, आन्त, हृदय आद...

आरोग्य वटी पतंजलि के फायदे : Arogya Vati Patanjali Benefits In Hindi

आरोग्य का मतलब होता है बिना रोग के। इसके नाम से ही पता चलता है कि यह दवा रोगों से मुक्त करती है या फिर आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाती है। यह दवा पतंजलि फार्मेसी द्वारा बनाई जाती है और इसकी कीमत भी बहुत कम है। इसमें मुख्य तीन घटक ही डाले गए हैं गिलोय, नीम और तुलसी। जानते हैं आरोग्य वटी पतंजलि के फायदे। पतंजलि आरोग्य वटी दवा लेने के कई फायदे होते हैं। लोग यह दवा मुख्यतौर पर वायरस इन्फेक्शन रोकने के लिए प्रयोग में लाते है। इसके अलावा यह एक कई तरह के बैक्टीरिया से बचाव के लिए भी उपचारात्मक प्रय़ोग की जाती है। इस दवा को त्वचा की कुछ बीमारियों में भी प्रय़ोग करने से फायदा होता है। ठंड या बुखार से बचाव के लिए भी इसका प्रय़ोग किया जाता है। दवा की खुराक - अगर कोई पतंजलि आरोग्य वटी की खुराक ले रहा है तो इस की बात का ध्यान रहे कि इसकी एक या दो गोली दिन में दो बार सुबह और शाम प्रयोग की जाती है। वहीं यह दवा खाना खाने के बाद ली जाती है और यह अधिकतर मामलों में दी जाने वाली पतंजलि नीम घनवटी की खुराक है। लेकिन इस बात का ध्यान दें कि हर रोगी और उनका मामला अलग हो सकता है। इसलिए रोग, दवाई देने के तरीके, रोगी की आयु, रोगी का चिकित्सा इतिहास और अन्य कारकों के आधार पर पतंजलि आरोग्य वटी की खुराक अलग हो सकती है। अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।

Medha vati patanjali benefits in hindi

Patanjali Medha vati benefits in hindi ( पतंजलि दिव्य मेधा वटी ) : Medha vati patanjali benefits in hindi, Patanjali Medha vati एक आयुर्वेदिक दवा है जिसे बिना डॉक्टर के पर्चे के भी उपयोग में लाया जा सकता है। Patanjali Medha vati बहुत से प्राकृतिक घटकों से निर्मित है जिसे मुख्यतः मानसिक विकारों के लिए उपचार के लिए इस्तेमाल किया जाता है। Patanjali Medha vati की खुराक व्यक्ति की आयु, लिंग और स्वास्थ्य के अनुसार दी जाती है। Patanjali Medha vati के बेहतर परिणामों के लिए Patanjali Medha vati की निर्धारित खुराक का इस्तेमाल करें। दिव्य मेधा वटी के फायदे एवं नुकसान, Patanjali Medha vati की पूरी जानकारी नीचे दी गयी है – पतंजलि मेधा वटी के घटक | Patanjali Medha vati ingredients in hindi पतंजलि मेधा वटी के घटक है – • अश्वगंधा • • जटामांसी • जहर मोहरा भस्म पतंजलि मेधा वटी सेवन विधि | Patanjali Medha vati uses in hindi • पतंजलि मेधा वटी सेवन विधि : पतंजलि मेधा वटी के बेहतर परिणामों के लिए पतंजलि मेधा वटी की निर्धारित खुराक का इस्तेमाल करना जरुरी होता है। • पतंजलि मेधा वटी के फायदे (Patanjali Medha vati benefits in hindi) वयस्क पुरुष और महिलाओं के लिए है। • पतंजलि मेधा वटी की खुराक खाना खाने के बाद लेनी चाहिए। • पतंजलि मेधा वटी टैबलेट के रूप में होती है जिसकी एक बार में केवल टैबलेट का सेवन किया जाना चाहिए। • पतंजलि मेधा वटी की टैबलेट का सेवन गुनगुने पानी के साथ किया जाना चाहिए। • पतंजलि मेधा वटी की एक दिन में दो टैबलेट का सेवन किया जाना चाहिए। • दिन में दो बार पतंजलि मेधा वटी का सेवन करना चाहिए। पतंजलि मेधा वटी की सेवन अवधि व्यक्ति के स्वास्थ्य के अनुसार तय की जाती है। पतंजलि मेधा वटी के...

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और नुकसान

आरोग्यवर्धिनी वटी के फायदे और नुकसान अब बात करते है आरोग्यवर्धिनी वटी के बारे में तो ये पतंजलि का प्रोडक्ट है तो आप इसे पतंजलि आरोग्यवर्धिनी वटी भी कह सकते हैं। अब बात करते है इसके प्राइस के बारे में तो इसका प्राइस ₹47 है जिसमें आपको 80 टैबलेट देखने को मिलती है. अगर आप चाहें तो इसे बड़े पैक में भी खरीद सकते हैं जिसका प्राइस ₹89 है उसमें आपको 160 टेबलेट देखने को मिलती है । इसे आप किसी भी पतंजलि स्टोर से आसानी से खरीद सकते हैं या ऑनलाइन ऑर्डर कर सकते हैं। आरोग्यवर्धिनी वटी किसे कहते हैं जैसा कि इसका नाम है आरोग्यवर्धिनी वटी आरोग्य का मतलब होता है रोग से रहित और वर्धनी का मतलब होता है इंप्रूविंग जो आपकी बॉडी को इंप्रूव करता है उसे आरोग्यवर्धिनी कहते हैं । फायदे अब बात करते हैं इसके फायदों के बारे में तो इसके बहुत सारे फायदे हैं मैं आपको एक एक करके बताता हू । • ये त्वचा से संबंधित सभी विकारों जैसे कि एग्जिमा,पिंपल एक्ने वगैरा इस तरह के सभी रोगों को ठीक करने का काम करती है इन सभी में ये काफी यूजफुल मेडिसन है । • ये आपके खून को साफ करती है खून को प्यूरिफाई करने का काम करती है जिसकी वजह से आपकी स्किन से सम्बन्धित जितनी भी समस्याए होती है वे ठीक होती है । • इसके अलावा ये पुराने से पुराने बुखार के इलाज के लिए भी काफी फायदेमंद है ।इसके साथ ही लीवर सिरोसिस फैटी लीवर, पीलिया, किडनी के रोग आदि में इसके सेवन से आपको काफी लाभ मिलते है । • ये लीवर के फंक्शन को बेहतर करती है साथ ही शरीर की सूजन और खून की कमी को दूर करती है । • इसके अलावा अगर आपका पेट ठीक ढंग से काम नहीं करता आपको लूज मोशन लगते है आई .बी.एस अगर आपको है तो उस कंडीशन में भी ये काफी फायदेमंद मेडिसन है । • इसके सेवन से आते साफ ...